बंगाल में भारत-बांग्लादेश सीमा पर भूमि अधिग्रहण से जुड़ी जटिलताओं के कारण लंबे समय से रुके हुए तारबंदी के कार्य के लिए राज्य प्रशासन ने भूमि संबंधी समस्याओं को हल प्रक्रिया को तेजी से पूरा करने में सहायता की है।
Kolkata: केंद्र और सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की लगातार शिकायत रही है कि बांग्लादेश सीमा की सुरक्षा के लिए पश्चिम बंगाल में आवश्यक भूमि उपलब्ध नहीं हो रही है। अब, ममता बनर्जी की सरकार ने इस मुद्दे को गंभीरता से लिया है। भूमि अधिग्रहण से जुड़े जटिलताओं के कारण लंबे समय से रुके हुए तारबंदी के कार्यों को तेज करने के लिए राज्य प्रशासन ने जमीन से संबंधित समस्याओं को हल करने की प्रक्रिया को गति दी है।
केंद्र और राज्य सरकार के बीच हुई विस्तृत चर्चा
बांग्लादेश के वर्तमान हालात को देखते हुए, हाल ही में केंद्र और राज्य सरकार के बीच इस विषय पर एक लंबी चर्चा हुई है। केंद्र और सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की लगातार यह शिकायत रही है कि बांग्लादेश सीमा को सुरक्षित रखने के लिए पश्चिम बंगाल में जरूरी भूमि उपलब्ध नहीं हो रही है।
मालदा में बांग्लादेशी मवेशी तस्करों की गिरफ्तारी
जानकारी के अनुसार, बांग्लादेश के तस्कर अक्सर सीमा पार करके भारत में प्रवेश करते रहते हैं। हाल ही में, मालदा जिले में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर गुरुवार तड़के बांग्लादेशी मवेशी तस्करों के एक समूह ने अवैध रूप से भारतीय सीमा में प्रवेश करते हुए ड्यूटी पर तैनात बीएसएफ जवान पर धारदार हथियारों से जानलेवा हमला किया।
उनका इरादा मवेशी तस्करी का था, लेकिन बीएसएफ जवानों ने प्रभावी जवाबी कार्रवाई कर उनके मंसूबों को नाकाम कर दिया। इस कार्रवाई के दौरान, बीएसएफ ने दो बांग्लादेशी तस्करों को गिरफ्तार करने के साथ-साथ छह मवेशियों को भी तस्करी से बचा लिया।
बीएसएफ के एक बयान में बताया गया कि यह घटना दक्षिण बंगाल फ्रंटियर के अंतर्गत 88वीं सीमा चौकी एचसीपुर के क्षेत्र में बिना तारबंदी वाले नदी के किनारे पर एक घटना हुई।
BSF ने की सीमा पर घेराबंदी
बीएसएफ के जनसंपर्क अधिकारी ने जानकारी दी कि सुबह लगभग 4:45 बजे, नदी के किनारे स्थित बोट नाका दल ने 10-12 तस्करों के एक समूह को कुछ मवेशियों के साथ नदी के रास्ते बांग्लादेश की ओर बढ़ते हुए देखा। जवानों ने तुरंत निकटवर्ती बोट पार्टी को सतर्क किया और बदमाशों को रुकने का आदेश दिया, लेकिन तस्करों ने इसे अनसुना करते हुए आक्रामकता से जवानों की ओर बढ़ना शुरू कर दिया और धारदार हथियारों और लाठियों से हमला करने का प्रयास किया।
जवान ने आत्मरक्षा के लिए चलाई गोलियां
स्थिति को देखते हुए जवान ने आत्मरक्षा में बदमाशों की ओर दो खाली गोलियां चलाईं, लेकिन इसका तस्करों पर कोई असर नहीं पड़ा और वे और अधिक आक्रामकता के साथ जवानों पर हमला करने की कोशिश करने लगे। इस हमले में एक जवान बाल-बाल बच गया। इसके बाद, जवान ने तस्करों की ओर फिर से फायर किया, जिससे तस्कर घबरा गए और मवेशियों के साथ बांग्लादेश की ओर भागने का प्रयास करने लगे।
हालांकि, नाका पार्टी ने उनका पीछा किया और उनमें से एक बांग्लादेशी तस्कर को छह मवेशियों के साथ पकड़ लिया। गहन तलाशी के दौरान जलकुंभी में छिपे एक और बांग्लादेशी तस्कर को भी गिरफ्तार किया गया।