आज के डिजिटल जमाने में युवा ChatGPT जैसे AI चैटबॉट्स पर क्यों निर्भर हो रहे हैं, जानिए इसके पीछे की सच्चाई।
अकेलापन और भावनात्मक दबाव में युवा ChatGPT को अपना भरोसेमंद साथी मान रहे हैं।
ChatGPT पर बातें साझा करना प्राइवेट नहीं, बल्कि सार्वजनिक होता है, जो खतरा बन सकता है।
बच्चों को चाहिए परिवार से खुलकर बातचीत, तभी भावनात्मक जुड़ाव मजबूत होगा।
ChatGPT के सहायक जवाब युवाओं को बार-बार वापसी के लिए प्रेरित करते हैं।
व्यस्त माता-पिता बच्चों को भावनात्मक समय नहीं देते, जिससे ये गैप बढ़ता है।
ये तकनीक सही मार्गदर्शन नहीं दे सकती, असली सपोर्ट परिवार से ही मिलेगा।