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Bihar Politics: बिहार चुनाव से पहले बड़ा सियासी उलटफेर, RCP सिंह हुए PK के साथ, ‘आसा’ का जसुपा में विलय

बिहार चुनाव से पहले राजनीतिक सरगर्मी बढ़ी। पूर्व केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह जन सुराज पार्टी में शामिल हुए। उनकी पार्टी 'आप सबकी आवाज' का भी जसुपा में विलय हुआ, जिससे नए राजनीतिक समीकरण बन सकते हैं।

Bihar Politics: बिहार में जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे हैं, राज्य की राजनीति में हलचलें तेज होती जा रही हैं। नए समीकरण बन रहे हैं और पुराने रिश्ते टूट रहे हैं। इसी कड़ी में एक बड़ा राजनीतिक घटनाक्रम सामने आया है। पूर्व केंद्रीय मंत्री और पूर्व आईएएस अधिकारी आरसीपी सिंह अब प्रशांत किशोर (PK) की जन सुराज पार्टी (Jansuraj Party - JASUPA) का हिस्सा बन गए हैं। यही नहीं, उन्होंने अपनी पार्टी 'आप सबकी आवाज' (आसा) का भी जन सुराज पार्टी में विलय कर दिया है।

चुनाव से पहले PK को बड़ी मजबूती

राजनीति के चाणक्य कहे जाने वाले प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज को RCP सिंह के जुड़ने से एक बड़ी ताकत मिल गई है। एक समय जेडीयू के बेहद करीबी और केंद्रीय इस्पात मंत्री रह चुके आरसीपी सिंह का पार्टी में आना जसुपा को ground level पर और मज़बूती देगा।

RCP सिंह कौन हैं?

RCP सिंह एक अनुभवी और चर्चित राजनेता हैं। राजनीति में आने से पहले वे एक सफल IAS अधिकारी रह चुके हैं। 1984 बैच के उत्तर प्रदेश कैडर के अफसर रहे आरसीपी सिंह ने भारतीय राजस्व सेवा (IRS) से करियर की शुरुआत की थी। बाद में उन्होंने IAS में चयनित होकर कई महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां संभालीं। जेडीयू के साथ उनका लंबा राजनीतिक सफर रहा है और वे पार्टी के महासचिव से लेकर राज्यसभा सांसद और केंद्रीय मंत्री तक बने।

आसा’ का विलय, क्यों लिया फैसला?

सात महीने पहले ही आरसीपी सिंह ने अपनी नई राजनीतिक पार्टी ‘आप सबकी आवाज’ (आसा) की शुरुआत की थी। उन्होंने दावा किया था कि उनकी पार्टी 140 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ेगी और उनके पास मजबूत संगठन है। लेकिन इतने कम समय में वह ज़मीनी पकड़ नहीं बना पाए। राजनीतिक जानकारों का मानना है कि संगठनात्मक मज़बूती और बिहार की जटिल राजनीति को देखते हुए उन्होंने PK का साथ पकड़ना बेहतर समझा।

PK के विजन से प्रभावित होकर लिया फैसला

RCP सिंह ने अपने बयान में कहा कि वे जन सुराज के विचारों और प्रशांत किशोर की सोच से प्रभावित हैं। उनके मुताबिक, बिहार को एक नया विकल्प देने के लिए जन सुराज जैसी सोच की जरूरत है, जो सिर्फ सत्ता की राजनीति नहीं, बल्कि लोगों के मुद्दों की बात करती हो।

RCP सिंह ने यह भी कहा कि वे बिहार में विकास और साफ-सुथरी राजनीति की दिशा में काम करना चाहते हैं।

RCP समर्थकों की भी एंट्री जसुपा में

केवल आरसीपी सिंह ही नहीं, उनके साथ उनके कई पुराने समर्थक और पार्टी कार्यकर्ता भी जन सुराज पार्टी में शामिल हुए हैं। इससे PK के संगठन को ज़मीन पर और मजबूती मिल सकती है, खासतौर पर जेडीयू से नाराज़ वोटरों और युवा वर्ग में।

बिहार में बनने लगे हैं नए राजनीतिक समीकरण

आरसीपी सिंह के जसुपा में शामिल होने से बिहार की राजनीति में एक नया समीकरण बनता दिख रहा है। पहले ही महागठबंधन और NDA के बीच कांटे की टक्कर मानी जा रही थी, अब PK और RCP सिंह की जोड़ी तीसरे विकल्प के तौर पर सामने आ सकती है। खास बात यह है कि PK लगातार राज्य में ‘जन संवाद यात्रा’ के जरिए जनता से सीधे संपर्क बना रहे हैं।

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