हिंदू धर्म में जन्माष्टमी का पर्व अत्यंत शुभ माना जाता है और इस दिन का विशेष महत्व भी है। यह पर्व भगवान कृष्ण के जन्मोत्सव के अवसर पर हर साल बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। वैदिक पंचांग के अनुसार कृष्ण जन्माष्टमी भाद्रपद महीने के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को मनाई जाती हैं।
धार्मिक न्यूज़: श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर्व का हिंदू धर्म में अत्यधिक महत्व है। इसी पावन दिन भगवान कृष्ण का अवतरण हुआ था। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस विशेष अवसर पर भक्तजन उपवास रखते हैं और श्रद्धा के साथ पूजा-अर्चना करते हैं। हिंदू पंचांग के अनुसार इस वर्ष जन्माष्टमी 26 अगस्त को मनाई जाएगी। ऐसा माना जाता है कि इस दिन श्रद्धा और भक्ति के साथ पूजा करने से सभी की इच्छाओं की पूर्ति होती है। साथ ही यह जीवन में शुभता और समृद्धि का संचार करता हैं।
जन्माष्टमी पर इन बातों का रखें खास ध्यान
1. जन्माष्टमी व्रत के दिन तामसिक भोजन जैसे मांस, अंडे, शराब आदि का सेवन करना निषेध हैं।
2. इस पावन अवसर पर महिलाओं को अपने बालों को खुला नहीं छोड़ना चाहिए।
3. इस विशेष दिन पर गो वंश को परेशान नहीं करना चाहिए, क्योंकि इससे भगवान कान्हा जी नाराज हो सकते हैं।
4. जन्माष्टमी के दिन काले रंग के वस्त्र पहनने से परहेज करना चाहिए।
5. जन्माष्टमी के दिन तुलसी के पत्ते भूलसे भी नहीं तोड़ने चाहिए।
जन्माष्टमी की सही तिथि और समय
वैदिक पंचांग के अनुसार भाद्रपद महीने के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि का आरंभ 25 अगस्त 2024 (रविवार) को रात 03 बजकर 37 मिनट पर होगा। वहीं इस तिथि का समापन 26 अगस्त, 2024 (सोमवार) को रात 02 बजकर 21 मिनट पर होगा। पंचांग के अनुसार जन्माष्टमी का पर्व शुभ मुहर्त में 26 अगस्त को ही मनाया जाएगा।
भगवान कृष्ण को प्रसन्न करनेके मंत्र
* कृष्णाय वासुदेवाय हरये परमात्मने। प्रणत क्लेशनाशाय गोविन्दाय नमो नम:
* हरे कृष्ण हरे कृष्ण, कृष्ण कृष्ण हरे हरे; हरे राम हरे राम, राम राम हरे हरे