Margashirsha Purnima 2024: जानिए व्रत की सही तारीख और पूजा विधि, पुण्य प्राप्त करने के लिए करें ये उपाय

Margashirsha Purnima 2024: जानिए व्रत की सही तारीख और पूजा विधि, पुण्य प्राप्त करने के लिए करें ये उपाय
Last Updated: 14 दिसंबर 2024

मार्गशीर्ष पूर्णिमा हिंदू पंचांग के मार्गशीर्ष माह (अगहन मास) के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि को मनाई जाती है। यह दिन हर साल दिसंबर के महीने में आता है। हिंदू पंचांग के अनुसार, मार्गशीर्ष पूर्णिमा, जिसे अगहन पूर्णिमा भी कहा जाता है, का विशेष धार्मिक महत्व है। इस दिन भगवान विष्णु और चंद्र देव की पूजा होती है। मार्गशीर्ष माह की यह पूर्णिमा दत्तात्रेय जयंती के साथ मनाई जाती है। इस दिन गंगा स्नान, दीपदान और व्रत करने से व्यक्ति के सभी कष्ट दूर होते हैं और सुख-शांति की प्राप्ति होती हैं।

मार्गशीर्ष पूर्णिमा 2024 तिथि और मुहूर्त

·       मार्गशीर्ष पूर्णिमा 15 दिसंबर 2024, रविवार

·       पूर्णिमा तिथि प्रारंभ 14 दिसंबर 2024, शाम 7:43 बजे

·       पूर्णिमा तिथि समाप्त 15 दिसंबर 2024, दोपहर 2:31 बजे

·       चंद्रोदय समय 15 दिसंबर 2024, शाम 5:14 बजे

पूजा विधि कैसे करें मार्गशीर्ष पूर्णिमा की पूजा?

·       सुबह जल्दी उठकर पवित्र नदियों में स्नान करें।

·       अगर नदी में स्नान संभव हो, तो घर पर नहाने के पानी में गंगाजल मिलाएं।

·       स्नान के बाद स्वच्छ वस्त्र पहनें और व्रत का संकल्प लें।

·       व्रत के दौरान फलाहार करें या केवल जल ग्रहण करें।

·       भगवान विष्णु की प्रतिमा को पंचामृत (दूध, दही, घी, शहद, और गंगाजल) से स्नान कराएं।

·       उन्हें फूल, चंदन, धूप, दीप, और नैवेद्य अर्पित करें।

·       नमो भगवते वासुदेवायमंत्र का जाप करें।

·       रात में चंद्रमा को अर्घ्य अर्पित करें। इसके लिए दूध, पानी, और फूल मिलाकर अर्घ्य दें।

·       गंगा या किसी अन्य पवित्र नदी में दीपदान करें। इसे अत्यंत पुण्यदायी माना गया हैं।

मार्गशीर्ष पूर्णिमा व्रत के लाभ

·       इस व्रत से मानसिक शांति और भौतिक सुखों की प्राप्ति होती हैं।

·       भगवान विष्णु की कृपा से सभी प्रकार के दुख दूर होते हैं।

·       चंद्रमा को अर्घ्य देने से मानसिक संतुलन और सकारात्मक ऊर्जा मिलती हैं।

दत्तात्रेय जयंती और विशेष अनुष्ठान

मार्गशीर्ष पूर्णिमा के दिन भगवान दत्तात्रेय की जयंती भी मनाई जाती है। इस दिन भगवान दत्तात्रेय की पूजा करने से जीवन में आध्यात्मिक उन्नति होती है। कई स्थानों पर सत्यनारायण कथा का आयोजन भी किया जाता हैं।

पुण्य के उपाय 

·       जरूरतमंदों को दान दें। अनाज, वस्त्र, और धन का दान विशेष फलदायी होता हैं।

·       भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की पूजा में पीले वस्त्र और फूल अर्पित करें।

·       शिवलिंग पर गंगाजल और दूध चढ़ाकर नमः शिवायमंत्र का जाप करें।

मार्गशीर्ष पूर्णिमा आध्यात्मिक उन्नति का पर्व है। गंगा स्नान, दीपदान, और भगवान विष्णु की पूजा करने से केवल आध्यात्मिक लाभ मिलता है, बल्कि जीवन में शांति और समृद्धि भी आती है। इस दिन पूरी श्रद्धा और विधि-विधान से पूजा करें और व्रत का पालन करें।

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