Waitangi Day 2025: क्यों मनाया जाता है वेटांगी दिवस? जानिए इस दिन का इतिहास और महत्व

Waitangi Day 2025: क्यों मनाया जाता है वेटांगी दिवस? जानिए इस दिन का इतिहास और महत्व
अंतिम अपडेट: 2 घंटा पहले

वेटांगी दिवस, न्यूजीलैंड का राष्ट्रीय दिवस, हर साल 6 फरवरी को मनाया जाता है। यह दिन वेटांगी की संधि पर हस्ताक्षर की वर्षगांठ का प्रतीक है, जो 1840 में ब्रिटिश क्राउन और स्वदेशी माओरी प्रमुखों के प्रतिनिधियों के बीच हुई थी। इस संधि ने ब्रिटिश संप्रभुता की स्वीकृति दी, और इसे न्यूजीलैंड के संस्थापक दस्तावेज़ के रूप में माना जाता हैं।

वेटांगी दिवस की शुरुआत 1934 में हुई थी, और इसे 1974 में राष्ट्रीय सार्वजनिक अवकाश के रूप में घोषित किया गया था। इस दिन को आम तौर पर 6 फरवरी को मनाया जाता है, हालांकि यदि यह तारीख शनिवार या रविवार को पड़ती है, तो छुट्टी को अगले सोमवार को मनाया जाता हैं।

वेटांगी दिवस का इतिहास 

वेटांगी की संधि (माओरी में: ते तिरिति ओ वेटांगी) पर पहली बार 6 फरवरी 1840 को वेटांगी के बे ऑफ आइलैंड्स स्थित जेम्स बुस्बी के घर के मैदान में हस्ताक्षर किए गए थे, जिसे अब संधि हाउस के नाम से जाना जाता है। इस संधि पर ब्रिटिश क्राउन के प्रतिनिधियों और लगभग 45 माओरी प्रमुखों ने हस्ताक्षर किए थे। इसके बाद अगले सात महीनों में, संधि की प्रतियां न्यूजीलैंड के विभिन्न क्षेत्रों में भेजी गईं, और लगभग 540 माओरी प्रमुखों ने इस पर हस्ताक्षर किए।

संधि पर हस्ताक्षर करने का उद्देश्य न्यूजीलैंड में ब्रिटिश संप्रभुता की स्थापना करना था। इसके परिणामस्वरूप, 21 मई 1840 को न्यूजीलैंड के पहले लेफ्टिनेंट-गवर्नर विलियम हॉब्सन ने आधिकारिक तौर पर ब्रिटिश संप्रभुता की घोषणा की, जिससे न्यूजीलैंड द्वीपसमूह पर ब्रिटिश शासन स्थापित हो गया। यह संधि न्यूजीलैंड के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मोड़ था, जिसने माओरी समुदाय और ब्रिटिश साम्राज्य के बीच एक समझौता स्थापित किया।

वेटांगी की संधि को न्यूजीलैंड की राष्ट्रीय पहचान के रूप में देखा जाता है, और इसे न्यूजीलैंड के राजनीतिक और सांस्कृतिक विकास में एक अहम कदम माना जाता हैं।

वेटांगी दिवस का महत्त्व 

1947 से शुरू होकर, वेटांगी दिवस की वार्षिक स्मृति में बदलाव होते रहे, और यह धीरे-धीरे एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय आयोजन बन गया। 1950 के दशक के मध्य से माओरी सांस्कृतिक प्रदर्शन को समारोह में शामिल किया गया, जिससे वेटांगी दिवस के समारोहों में माओरी संस्कृति और परंपराओं का महत्व बढ़ा। इन सांस्कृतिक प्रदर्शनों में माओरी गीत, हाका (परंपरागत नृत्य) और अन्य सांस्कृतिक तत्व शामिल होते थे, जो समारोह की पहचान का हिस्सा बने।

1960 और 1970 के दशकों में, वेटांगी दिवस पर होने वाली चर्चा और कार्यक्रमों का दायरा और बढ़ा। 1970 के दशक के अंत तक, वेटांगी दिवस को एक प्रमुख राष्ट्रीय अवकाश के रूप में मान्यता मिल गई, जब इसे सार्वजनिक अवकाश के रूप में 1974 में औपचारिक रूप से घोषित किया गया।

न्यूजीलैंड के लिए खास है ये दिवस 

यह दिन न्यूजीलैंड के इतिहास, सांस्कृतिक पहचान, और माओरी और ब्रिटिश समुदायों के बीच ऐतिहासिक समझौते का प्रतीक बन गया है। वेटांगी दिवस न केवल एक ऐतिहासिक घटना की स्मृति है, बल्कि यह समय-समय पर माओरी और गैर-माओरी समुदायों के बीच संबंधों, समानता, और साझेदारी को बढ़ावा देने का अवसर भी हैं।

वेटांगी दिवस के समारोह में एक अद्वितीय और समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर की झलक मिलती है, जो माओरी और न्यूजीलैंड के अन्य समुदायों के बीच ऐतिहासिक समझौते और साझेदारी का प्रतीक है। स्मरणोत्सव आमतौर पर वेटांगी दिवस से दो या तीन दिन पहले शुरू होता है, और इस दौरान विभिन्न राजनीतिक, सांस्कृतिक और धार्मिक गतिविधियाँ आयोजित होती हैं।

ते ती वेटांगी मरै में राजनीतिक गणमान्य व्यक्तियों का स्वागत किया जाता है, और माओरी नेताओं द्वारा दिए गए भाषणों में अक्सर दिन के मुद्दों पर चर्चा की जाती है। यह एक अवसर होता है जहां माओरी समुदाय अपने विचारों और चिंताओं को व्यक्त करते हैं, और यह भी देखा जाता है कि कई बार राजनेताओं को बोलने का अधिकार वापस ले लिया जाता है, जब उनके भाषणों या विचारों को मंजूरी नहीं मिलती।

हाल के वर्षों में, प्रधानमंत्री और संसद के सदस्य भी इस आयोजन में भाग लेते हैं। 2018 में, प्रधानमंत्री जैसिंडा अर्डर्न स्मरणोत्सव में भाग लेने वाली पहली प्रधान मंत्री बनीं, और उनकी उपस्थिति ने समारोह में एक सौहार्दपूर्ण और संवादात्मक स्वर प्रदान किया। उन्होंने माओरी नेताओं से उनकी सरकार के प्रति जवाबदेही के बारे में पूछा, जो इस दिन की महत्वपूर्ण परंपरा का हिस्सा बन गया।

वेटांगी दिवस की भोर में वेटांगी नेशनल ट्रस्ट द्वारा आयोजित सार्वजनिक सेवा होती है, जिसमें माओरी बुजुर्ग और नेता, धार्मिक नेता, राजनेता, राजनयिक और सैन्य कर्मी शामिल होते हैं। इस सेवा में हाइमेने (भजन), धार्मिक पाठ और प्रार्थनाएँ शामिल होती हैं, जो इस दिन की आध्यात्मिक और सांस्कृतिक महत्ता को दर्शाती हैं। इसके बाद, मंचों पर कापा हाका (माओरी नृत्य और गीत) और वानांगा (शैक्षिक चर्चा) जैसे सांस्कृतिक प्रदर्शन होते हैं, जो इस ऐतिहासिक दिन को जीवंत बनाए रखते हैं।

दिन का समापन नौसेना द्वारा पारंपरिक ध्वज उतारने के समारोह के साथ होता है, जो इस दिन के समापन और श्रद्धांजलि का एक अहम हिस्सा है। वेटांगी दिवस के आयोजन न केवल न्यूजीलैंड के इतिहास और संस्कृति की झलक प्रस्तुत करते हैं, बल्कि यह राष्ट्र के साथ-साथ माओरी समुदाय की साझेदारी और समानता के महत्व को भी उजागर करते हैं।

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