हाल ही में कई देशों ने Mpox संक्रमण के फैलाव को रोकने के लिए यात्रा संबंधी नियमों को सख्त कर दिया है। इसलिए, उन देशों में जाने से पहले आपको वहां होने वाली स्क्रीनिंग और अन्य प्रक्रियाओं के बारे में जानकारी प्राप्त करनी चाहिए। आइए जानते हैं विदेश यात्रा पर जाने से पहले Mpox से बचाव के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश।
Mpox Virus: स्वीडन में Mpox के नए स्ट्रेन के मामले के उजागर होने के बाद, 14 अगस्त को WHO ने इस बीमारी को वैश्विक स्वास्थ्य आपात स्थिति घोषित किया। इससे पहले, एमपॉक्स के मामले मुख्यतः अफ्रीकी देशों में तेजी से फैल रहे थे। स्वीडन के बाद, पाकिस्तान में तीन मामले सामने आए, और अब थाईलैंड में भी एक मामला पाया गया है।
भारत में Mpox के 30 मामले
2022 से अब तक भारत में भी Mpox के कुल 30 मामले रिपोर्ट हुए हैं, जिनमें से अंतिम मामला मार्च 2024 में सामने आया था, हालांकि ये सभी पुराने स्ट्रेन के थे। वहीं, अफ्रीकी देशों, स्वीडन, पाकिस्तान और थाईलैंड में एमपॉक्स के नए स्ट्रेन के हालिया मामलों का पता चला है, जिसे अधिक संक्रामक और घातक माना जा रहा है। WHO की चेतावनी के मद्देनजर, कई देशों में विदेशी सैलानियों के लिए कुछ दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। यदि आप अक्सर यात्रा करते हैं या विदेश जाने की योजना बना रहे हैं, तो Mpox से संबंधित कुछ महत्वपूर्ण जानकारी आपके लिए आवश्यक है।
एमपॉक्स या मंकी पॉक्स बीमारी
एमपॉक्स या मंकी पॉक्स एक वायरल बीमारी है, जो मंकी पॉक्स वायरस के कारण होती है। यह बीमारी एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैल सकती है, लेकिन यह कोविड की तरह तेजी से नहीं फैलती। एमपॉक्स, स्मॉल-पॉक्स और चिकन पॉक्स के समान है, हालांकि इसके नए स्ट्रेन को अधिक खतरनाक माना जा रहा है। इसके सामान्य लक्षणों में रैशेज, लिम्फ नॉड्स में सूजन और बुखार शामिल हैं। यदि आपको ये लक्षण महसूस होते हैं, तो आपको तुरंत खुद को आइसोलेट कर लेना चाहिए और डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
यात्रियों के लिए गाइडलाइन्स
अलग-अलग देशों में Mpox के फैलाव को रोकने के लिए कई प्रकार के कदम उठाए जा रहे हैं। यदि आप यात्रा करने की योजना बना रहे हैं, तो इन बातों को जानना अत्यंत महत्वपूर्ण है, ताकि आप किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करें और सुरक्षित रहें।
India:-
सबसे पहले, अपने देश में Mpox के प्रति सुरक्षा उपायों के बारे में जानकारी प्राप्त कर लें। भारत सरकार ने सभी हवाई अड्डों, बंदरगाहों और सीमावर्ती क्षेत्रों में प्रशासन को सतर्क रहने के लिए निर्देशित किया है। यदि Mpox का कोई मामला सामने आता है, तो इसके उपचार के लिए सफदरजंग अस्पताल, लेडी हार्डिंग और राम मनोहर लोहिया अस्पताल में सुविधाएं उपलब्ध हैं।
Congo:-
डेमोक्रेटिक रिपब्लिक ऑफ कॉन्गो (DRC) में इस समय स्थिति बेहद गंभीर है। पिछले साल की तुलना में इस साल मामलों में लगभग 160 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इसलिए, इस समय वहां जाना बिल्कुल सुरक्षित नहीं है।
South Africa:-
दक्षिण अफ्रीका में मंकीपॉक्स वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए हवाई अड्डों पर नई स्क्रीनिंग सुविधाएं शुरू की गई हैं। यहां आने वाले प्रत्येक व्यक्ति को इस स्क्रीनिंग प्रक्रिया से गुजरना अनिवार्य है, ताकि मामलों का शीघ्र पता लगाया जा सके।
Nigeria:-
नाइजीरिया ने Mpox संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए एक डिक्लेरेशन फॉर्म जारी किया है। हर यात्री को एयरपोर्ट पर या ऑनलाइन इस फॉर्म को भरना अनिवार्य है, ताकि यदि Mpox का कोई मामला सामने आता है, तो उसे ट्रैक करना आसान हो सके।
Indonesia:-
इंडोनेशिया में प्रवेश करने वाले सभी यात्रियों को अपनी मेडिकल और यात्रा इतिहास के बारे में जानकारी एक फॉर्म के माध्यम से देनी होगी, ताकि Mpox के जोखिम को कम किया जा सके। इसके साथ ही, विदेशी यात्रियों की स्क्रीनिंग भी की जा रही है। इस वायरस का समय पर पता लगाने के लिए 12 राज्य प्रयोगशालाओं को इसकी जिम्मेदारी सौंपी गई है।
Kenya:-
केन्या में Mpox वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने के लिए, बाहर से आने वाले प्रत्येक व्यक्ति की स्क्रीनिंग की जा रही है। यह जल्दी से वायरस को रोकने के उद्देश्य से किया जा रहा है।
Pakistan:-
पाकिस्तान में Mpox को फैलने से रोकने के लिए, यात्रियों का स्वास्थ्य चेकअप किया जा रहा है और विदेश से आने पर उनकी स्क्रीनिंग की जा रही है।
China:-
चीन में यात्रा को लेकर काफी कठोरता बरती जा रही है। यदि किसी व्यक्ति में Mpox के लक्षण दिखाई देते हैं, तो उसे तुरंत वहां के कर्मचारियों को सूचित करना आवश्यक है। इसके साथ ही, एयरपोर्ट पर भी संक्रमित व्यक्तियों या जिन्हें संक्रमण की संभावना है, उन्हें आइसोलेट किया जा रहा है और उनका परीक्षण किया जा रहा है। यह प्रक्रिया अगले 6 महीने तक जारी रहेगी।
Mpox बीमारी से बचने के उपाय
वैक्सीनेशन करवाएं (स्मॉल पॉक्स की वैक्सीन भी एमपॉक्स से सुरक्षा प्रदान करती है, हालांकि, वर्तमान में WHO द्वारा सुझाई गई दो वैक्सीन्स का ही उपयोग किया जा रहा है।)
-संक्रमित व्यक्ति के पास न जाएं और शारीरिक दूरी बनाए रखें।
-उनके तौलिए, बर्तन, कपड़े आदि को न छुएं।
-यदि किसी व्यक्ति में Mpox के लक्षण दिखाई दें, तो उनके साथ शारीरिक संबंध बनाने, किस करने या गले लगने से दूर रहें।
-संक्रमित व्यक्ति के घाव को न छुएं।
-चेहरे पर बार-बार हाथ न लगाएं।
-खाना खाने से पहले हाथों को धोएं।
-अल्कोहल वाले सैनिटाइजर का नियमित रूप से उपयोग करें।