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दिल्ली-एनसीआर में दिवाली पर ग्रीन पटाखों की अनुमति, सुप्रीम कोर्ट ने तय की शर्तें

दिल्ली-एनसीआर में दिवाली पर ग्रीन पटाखों की अनुमति, सुप्रीम कोर्ट ने तय की शर्तें

सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में दिवाली 2025 पर ग्रीन पटाखे जलाने की अनुमति दी। केवल 18 से 21 अक्टूबर, रात 8 से 10 बजे तक फोड़ने की छूट। गुणवत्ता और सुरक्षा की निगरानी के लिए गश्ती दल बनाए जाएंगे।

Delhi: दिल्ली-एनसीआर के निवासियों के लिए दिवाली 2025 के मौके पर बड़ी राहत की खबर है। सुप्रीम कोर्ट ने कुछ शर्तों के साथ हरित (ग्रीन) पटाखे जलाने की अनुमति दी है। इस आदेश से दिल्ली, नोएडा, गाजियाबाद, गुरुग्राम और फरीदाबाद के लोगों को दिवाली पर सुरक्षित और प्रदूषण-मुक्त (pollution-free) तरीके से उत्सव मनाने का अवसर मिलेगा। कोर्ट ने यह निर्णय पर्यावरण और सुरक्षा दोनों को ध्यान में रखते हुए लिया है।

पटाखे जलाने की अवधि 

सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया कि ग्रीन पटाखे केवल 18 से 21 अक्टूबर 2025 के बीच ही जलाए जा सकते हैं। इसके अलावा पटाखों को रात 8 बजे से 10 बजे तक ही फोड़ने की अनुमति होगी। कोर्ट ने यह भी कहा कि एनसीआर क्षेत्र में बाहर से पटाखे लाना मना है। ऐसे मामलों में कड़ी कार्रवाई की जाएगी। कोर्ट ने यह सुनिश्चित किया कि दिवाली के अवसर पर हवा और पर्यावरण पर नकारात्मक प्रभाव न्यूनतम हो।

ग्रीन पटाखों की गुणवत्ता

सुप्रीम कोर्ट ने ग्रीन पटाखों की गुणवत्ता (quality) और सुरक्षा के लिए कड़े निर्देश दिए हैं। हर ग्रीन पटाखे पर क्यूआर कोड होगा, जिसे संबंधित वेबसाइट पर अपलोड किया जाएगा। इससे उपभोक्ताओं को यह सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी कि वे केवल प्रमाणित और सुरक्षित पटाखे ही खरीद रहे हैं। कोर्ट ने यह भी कहा कि नकली या कम गुणवत्ता वाले पटाखे पाए जाने पर उनका लाइसेंस तुरंत निलंबित कर दिया जाएगा।

गश्ती दल की जिम्मेदारी

सुप्रीम कोर्ट ने यह निर्देश दिया कि ग्रीन पटाखा निर्माताओं और विक्रेताओं की नियमित जांच के लिए विशेष गश्ती दल (patrolling teams) बनाए जाएंगे। ये दल सुनिश्चित करेंगे कि सभी निर्माताओं और विक्रेताओं द्वारा सुप्रीम कोर्ट के नियमों का पालन किया जा रहा है। गश्ती दल की निगरानी से दिवाली के दौरान लोगों की सुरक्षा और प्रदूषण नियंत्रण सुनिश्चित किया जाएगा।

सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में 14 अक्टूबर 2024 का हवाला दिया, जब दिल्ली सरकार ने पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध (complete ban) लगा दिया था। उस समय यह प्रतिबंध पूरे एनसीआर में लागू किया गया था। इस बार कोर्ट ने संतुलित दृष्टिकोण (balanced approach) अपनाते हुए ग्रीन पटाखों को सीमित अवधि और समय के लिए अनुमति दी है। इससे लोग पर्यावरण के प्रति जागरूक रहते हुए त्योहार मना सकेंगे।

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