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UP: 23 महीने जेल में रहने के बाद रिहा हुए आजम खान, 80 से अधिक पेंडिंग मामले बने चुनौती

UP: 23 महीने जेल में रहने के बाद रिहा हुए आजम खान, 80 से अधिक पेंडिंग मामले बने चुनौती

उत्तर प्रदेश के वरिष्ठ नेता आजम खान 23 महीने की जेल कैद के बाद रिहा हुए। इलाहाबाद हाईकोर्ट से मिली जमानत के बावजूद उनके 80 से अधिक पेंडिंग मामले हैं, जो उनकी कानूनी स्थिति को चुनौतीपूर्ण बनाए रखेंगे।

उत्तर प्रदेश। समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री आजम खान 23 महीने की लंबी कैद के बाद मंगलवार को जेल से रिहा हो गए। इलाहाबाद हाईकोर्ट से जमानत मिलने के बाद आजम खान सीतापुर जेल से बाहर निकले। उनके बड़े बेटे अदीब आजम समर्थकों के साथ जेल पहुंचे और पिता की रिहाई में शामिल हुए। हालांकि सवाल यह उठता है कि आजम खान कितने दिनों तक जेल से बाहर रह पाएंगे।

योगी सरकार में कानूनी शिकंजा

आजम खान पर कई सालों से कानूनी मामले चल रहे हैं। उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार बनने के बाद उनके खिलाफ कानूनी शिकंजा कसा गया। फरवरी 2020 में आजम खान को पहली बार गिरफ्तार किया गया और सुरक्षा कारणों से उन्हें सीतापुर जेल शिफ्ट कर दिया गया था। मई 2022 में पहली जमानत पर बाहर आए, लेकिन केवल सवा साल ही जेल से बाहर रह पाए। अक्टूबर 2023 में उनके बेटे अब्दुल्ला आजम के फर्जी जन्म प्रमाण पत्र मामले में उन्हें दोबारा जेल जाना पड़ा।

आजम खान पर पेंडिंग मामलों की लंबी सूची

आजम खान पर कुल 104 मामले दर्ज हैं, जिनमें से 12 मामलों में फैसला हो चुका है। इसमें कुछ मामलों में उन्हें सजा मिली है और कुछ में बरी किया गया। अभी 80 से ज्यादा मामले पेंडिंग हैं। इनमें से 59 मामले मजिस्ट्रेट कोर्ट में हैं, 19 मामले सेशन कोर्ट में और तीन मामले जिला अदालत में विचाराधीन हैं। इसके कारण उनके जेल से बाहर रहने की अवधि सीमित हो सकती है।

महत्वपूर्ण मामलों की जानकारी

आजम खान पर कई गंभीर आरोप हैं। इनमें अवैध कब्जा, सरकारी दस्तावेजों में हेराफेरी, लूटपाट, भड़काऊ भाषण, मशीन चोरी, सड़क अवरोध और सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने जैसे मामले शामिल हैं। उनके बेटे अब्दुल्ला आजम पर 43 मामले दर्ज हैं, पत्नी तंजीम फातिमा पर 35 और बड़े बेटे अदीब पर 20 केस दर्ज हैं। पूरे परिवार पर कुल मिलाकर लगभग 200 मामले हैं।

भड़काऊ भाषण और जेल की सजा

2022 में भड़काऊ भाषण देने के मामले में आजम खान को तीन साल की कैद और छह हजार रुपए जुर्माना की सजा सुनाई गई। इसी तरह अब्दुल्ला आजम के फर्जी जन्म प्रमाण पत्र मामले में सात साल की सजा हुई। इसके अलावा डुंगरपुर जबरन जमीन बेदखली के मामले में दस साल की सजा, मशीन चोरी में सात साल और सड़क अवरोध में दो साल की सजा मिली।

जमानत और रिहाई की प्रक्रिया

आजम खान को विभिन्न मामलों में जमानत मिलती रही है। मई 2022 में पहली जमानत के बाद 17 महीने जेल से बाहर रह पाए थे। अक्टूबर 2023 में फिर से जेल जाना पड़ा और अब 23 महीने बाद रिहाई मिली। इलाहाबाद हाईकोर्ट से मिली जमानत के बावजूद यह स्पष्ट नहीं है कि वे कितने दिनों तक जेल से बाहर रह पाएंगे।

कानूनी लड़ाई की जटिलता

आजम खान की कानूनी लड़ाई जटिल है। एक साथ कई अदालतों में मामले विचाराधीन हैं। कुछ मामलों में उन्हें बरी किया गया, जैसे मुरादाबाद में 17 साल पुराने मामले में। वहीं, कई मामलों के फैसले अभी भी आने हैं। उनके पेंडिंग मामलों में सरकारी दस्तावेज में हेराफेरी, भूमि विवाद और व्यक्तिगत अपराध शामिल हैं।

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