स्क्रीन की लत से बीमार हो रहे टीनएजर्स? जानें सच्चाई

नींद में कमी, बढ़ता तनाव और सोशल कंपैरिजन... स्क्रीन टाइम टीनएजर्स की सेहत पर कैसे कर रहा है वार? जानें इसके खतरनाक इफेक्ट और बचाव के आसान तरीके।

हर सुबह मोबाइल, हर रात सोशल मीडिया

टीनएजर्स दिन की शुरुआत और अंत स्क्रीन के साथ कर रहे हैं, जिससे डिजिटल लत गहराती जा रही है।

नींद हो रही है बर्बाद

स्क्रीन की ब्लू लाइट और ओवर-स्टिमुलेशन से नींद की क्वालिटी बिगड़ रही है, जिससे बच्चे थकान और चिड़चिड़ेपन का शिकार हो रहे हैं।

तनाव और आत्म-संदेह में फंसते किशोर

सोशल मीडिया की परफेक्ट लाइफ देखकर टीनएजर्स खुद की तुलना करने लगते हैं, जिससे स्ट्रेस और एंग्जायटी बढ़ती है।

फिजिकल हेल्थ भी हो रही खराब

स्क्रीन ओवरयूज़ से आंखों की जलन, पीठ दर्द, माइग्रेन और मोटापा जैसी समस्याएं तेजी से बढ़ रही हैं।

क्या है इसका समाधान?

डेली स्क्रीन टाइम लिमिट करें, हफ्ते में एक दिन डिजिटल डिटॉक्स लें और बच्चों को फिजिकल एक्टिविटीज में शामिल करें।

बचपन को बनाएं स्क्रीन-फ्री और हेल्दी

सोने से पहले स्क्रीन से दूरी, सोशल मीडिया पर खुली बातचीत और एक्टिव लाइफस्टाइल से बच्चों की मेंटल और फिजिकल हेल्थ को बचाया जा सकता है।

Next Story