हरियाणा में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने लगातार तीसरी बार विधानसभा चुनाव जीतकर इतिहास रच दिया है, और यह जीत पिछले दो बार से भी ज्यादा खास है। 10 साल तक सत्ता में बने रहने के बावजूद भाजपा ने 2024 के चुनावों में अपने अब तक के सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन के साथ बाजी मारी है।
Haryana: हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024 में मतदाताओं ने क्षेत्रीय दलों को लगभग पूरी तरह से खारिज कर दिया है। पिछले चुनाव में 10 सीटें जीतने वाली जननायक जनता पार्टी (जजपा) इस बार एक भी सीट जीतने में असफल रही। इसके विपरीत, भाजपा ने कई रिकॉर्ड तोड़े, जिसमें 2014 की मोदी लहर से भी अधिक 39.94 प्रतिशत वोट प्राप्त करते हुए 48 सीटें जीतीं। यह भाजपा का हरियाणा में अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है।
कांग्रेस ने हारकर भी किया कमाल
हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024 में कांग्रेस ने भी अपनी स्थिति को मजबूत किया है। 2019 में कांग्रेस को 31 सीटें और 28.08 प्रतिशत वोट मिले थे, जबकि इस बार कांग्रेस को 37 सीटों पर जीत हासिल हुई और उसका मत प्रतिशत बढ़कर 39.09 प्रतिशत हो गया, जो भाजपा से मामूली ही कम है। भाजपा ने सीटों और वोट प्रतिशत दोनों में बढ़ोतरी दर्ज करते हुए राज्य की सबसे बड़ी और मजबूत पार्टी के रूप में अपनी स्थिति मजबूत की है।
सबसे पीछे रही जजपा
इस चुनाव में जननायक जनता पार्टी की हालत सबसे खराब रही। भाजपा के मुकाबले कांग्रेस की सीटें 11 कम हैं, लेकिन कई सीटों पर भाजपा की जीत का अंतर बेहद कम रहा। इसके बावजूद, क्षेत्रीय दलों में जजपा को सबसे बड़ा झटका लगा। पार्टी के प्रमुख नेता दुष्यंत चौटाला और उनके भाई दिग्विजय चौटाला भी अपनी-अपनी सीटें हार गए। जजपा को इस बार मात्र 0.90 प्रतिशत वोट मिले, जो एक प्रतिशत से भी कम है, और पार्टी को कोई भी सीट हासिल नहीं हुई।
इनेलो को मिली एक सीट
हरियाणा विधानसभा चुनाव 2024 में इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) ने मामूली सुधार किया है। 2019 के चुनाव में इनेलो को एक सीट और 2.44 प्रतिशत वोट मिले थे, जबकि इस बार पार्टी ने दो सीटें जीतीं और वोट प्रतिशत में भी मामूली बढ़ोतरी दर्ज की है।
आम आदमी पार्टी (AAP) का प्रदर्शन निराशाजनक रहा, उसका वोट प्रतिशत केवल 1.72 प्रतिशत तक सिमट गया। वहीं, बहुजन समाज पार्टी (बसपा) का वोट प्रतिशत भी गिरा, जो 2019 में 4.21 प्रतिशत था, अब घटकर 2024 में 1.82 प्रतिशत रह गया है।