Starlink Satellite: एलन मस्क की स्टारलिंक सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस जल्द भारत में हो सकती है लॉन्च, इससे बिना नेटवर्क के कर पाएंगे कॉल और मैसेज

Starlink Satellite: एलन मस्क की स्टारलिंक सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस जल्द भारत में हो सकती है लॉन्च, इससे बिना नेटवर्क के कर पाएंगे कॉल और मैसेज
Last Updated: 2 दिन पहले

एलन मस्क की स्टारलिंक सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस जल्द ही भारत में लॉन्च हो सकती है। यदि ऐसा होता है, तो यह देश के दूर-दराज और ग्रामीण इलाकों में भी तेज़ और स्थिर इंटरनेट कनेक्टिविटी उपलब्ध कराने में मददगार साबित होगी।

नई दिल्ली: एलन मस्क की स्टारलिंक सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस भारतीय बाजार में प्रवेश के लिए पूरी तरह तैयार है। रिपोर्ट्स के अनुसार, भारत में टेलीकॉम रेगुलेटर्स जल्द ही सैटेलाइट इंटरनेट सेवाओं के लिए स्पेक्ट्रम आवंटन की प्रक्रिया शुरू करने वाले हैं। यह कदम उन दूरदराज और ग्रामीण क्षेत्रों में डिजिटल कनेक्टिविटी को सुनिश्चित करने में सहायक होगा, जहां मोबाइल नेटवर्क या ऑप्टिकल फाइबर की सुविधा उपलब्ध नहीं है। स्टारलिंक की इस सेवा से भारतीय यूजर्स बिना नेटवर्क की चिंता किए कॉल और मैसेजिंग जैसी सुविधाओं का लाभ उठा सकेंगे।

स्टारलिंक सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस होगी मददगार 

स्टारलिंक के साथ जियो सैटकॉम, एयरटेल वनवेब और अमेज़न कुइपर जैसी प्रमुख कंपनियां सैटेलाइट ब्रॉडबैंड मार्केट में बढ़-चढ़कर हिस्सा ले रही हैं। रिपोर्ट के अनुसार, दूरसंचार विभाग (DoT) 15 दिसंबर 2024 तक दूरसंचार नियामक से सिफारिशें प्राप्त करने के बाद सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सेवा के लिए स्पेक्ट्रम आवंटन पर निर्णय लेने की तैयारी कर रहा है। स्पेक्ट्रम आवंटन की प्रक्रिया 2G सेवा के समान हो सकती है, लेकिन जियो और एयरटेल स्पेक्ट्रम नीलामी मॉडल को अपनाने की मांग कर रहे हैं।

स्टारलिंक ने पहले ही अमेरिका, यूरोप, और ऑस्ट्रेलिया में सफलतापूर्वक अपनी सैटेलाइट इंटरनेट सेवा लॉन्च की है। भारत में, कंपनी ने 2022 की शुरुआत में सैटेलाइट ब्रॉडबैंड लॉन्च करने की अनुमति के लिए आवेदन किया था और अब तक की प्रगति से पता चलता है कि अधिकांश अनुमति प्राप्त हो चुकी हैं।

रिपोर्ट्स के अनुसार, स्टारलिंक जल्द ही भारत के दूरदराज और ग्रामीण क्षेत्रों में सुपरफास्ट इंटरनेट कनेक्टिविटी प्रदान करने के लिए तैयार है। यह सेवा उन इलाकों में बड़ी राहत साबित होगी, जहां अब तक मोबाइल नेटवर्क या ऑप्टिकल फाइबर उपलब्ध नहीं हैं।

स्टारलिंक सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सर्विस की भारत जल्द होगी एंट्री 

जियो और एयरटेल ने अपनी रेगुलेटरी प्रक्रियाओं को पूरा कर लिया है, जो यह दर्शाता है कि ये दोनों कंपनियां भी भारत में सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सेवा लॉन्च करने की दौड़ में हैं। दूसरी ओर, स्टारलिंक और अमेजन कुइपर पहले से ही इस क्षेत्र में प्रमुख दावेदार हैं। एक बार यह सेवा शुरू होने के बाद, यह भारत में इंटरनेट सेवाओं के लिए गेम-चेंजर साबित हो सकती हैं।

इस तकनीक की खास बात यह है कि यह स्मार्टफोन को सीधे सैटेलाइट से कनेक्ट करेगी। इसके लिए यूजर्स को कोई नया उपकरण खरीदने की जरूरत नहीं होगी, क्योंकि यह मौजूदा स्मार्टफोन पर भी काम करेगी। केंद्रीय संचार मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने पुष्टि की है कि सैटेलाइट इंटरनेट के लिए स्पेक्ट्रम आवंटन पर निर्णय जनवरी 2025 के अंत तक लिया जाएगा। सरकार के इस निर्णय से यह तय होगा कि भारत में सैटेलाइट ब्रॉडबैंड सेवाएं आधिकारिक रूप से कब लॉन्च होंगी।

इस सेवा का सबसे बड़ा लाभ यह होगा कि यह दूरदराज के इलाकों में तेज और निर्बाध इंटरनेट प्रदान करेगी, जहां अभी तक मोबाइल नेटवर्क या ऑप्टिकल फाइबर पहुंच नहीं पाई है। यह तकनीक न केवल डिजिटल समावेशन को बढ़ावा देगी, बल्कि भारत को डिजिटल इंडिया के लक्ष्य के और करीब ले जाएगी।

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