India In UNSC: क्या यूएनएससी का स्थाई सदस्य बना भारत? फ्रांस ने किया पूरा समर्थन, चीन-पाक में मची खलबली

India In UNSC: क्या यूएनएससी का स्थाई सदस्य बना भारत? फ्रांस ने किया पूरा समर्थन, चीन-पाक में मची खलबली
Last Updated: 27 सितंबर 2024

फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में भारत की स्थायी सदस्यता के लिए समर्थन व्यक्त किया है। उन्होंने संयुक्त राष्ट्र महासभा में दिए अपने भाषण में कहा कि जर्मनी, जापान, भारत और ब्राजील को यूएनएससी में स्थायी सदस्यता मिलनी चाहिए।

वॉशिंगटन: फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) में भारत की स्थायी सदस्यता का समर्थन करते हुए कहा है कि सुरक्षा परिषद को अधिक प्रभावी बनाने के लिए इसका विस्तार जरूरी है। न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) के दौरान अपने भाषण में, मैक्रों ने कहा कि जर्मनी, जापान, भारत और ब्राजील जैसे देशों को सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्य के रूप में शामिल किया जाना चाहिए।

यह बयान वैश्विक संस्थानों में सुधार की आवश्यकता को लेकर बढ़ती चर्चा का हिस्सा है, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी कई बार इस बात पर जोर दिया है कि विश्व के मौजूदा ढांचे में सुधार और समावेशिता की आवश्यकता है। भारत की लगातार बढ़ती वैश्विक भूमिका, विशेष रूप से इसके शांति मिशनों और अंतर्राष्ट्रीय योगदान के चलते, कई देशों ने भारत की स्थायी सदस्यता का समर्थन किया है और फ्रांस का यह समर्थन इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम हैं।

भारत लंबे समय से UNSC की स्थायी सदस्यता के लिए प्रयासरत है, और उसे उम्मीद है कि वैश्विक संतुलन को ध्यान में रखते हुए सुरक्षा परिषद का विस्तार होगा, जिससे इसे अधिक प्रभावी और समावेशी बनाया जा सके।

भारत यूएनएससी में है अस्थायी सदस्य

वर्तमान में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) में पांच स्थायी सदस्य हैं: रूस, ब्रिटेन, चीन, फ्रांस, और संयुक्त राज्य अमेरिका (US) इन स्थायी सदस्यों के पास वीटो पावर है, जिससे उन्हें वैश्विक सुरक्षा और शांति के महत्वपूर्ण निर्णयों पर विशेषाधिकार प्राप्त होते हैं। इसके अलावा, UNSC में 10 अस्थायी सदस्य भी होते हैं, जिन्हें क्षेत्रीय आधार पर चुना जाता है। ये सदस्य दो साल के कार्यकाल के लिए चुने जाते हैं और उनके पास स्थायी सदस्यों की तरह वीटो पावर नहीं होती।

भारत भी इन अस्थायी सदस्यों में शामिल रहा है और 2021-22 में उसने एक अस्थायी सदस्य के रूप में अपने कार्यकाल को पूरा किया। भारत ने उस दौरान अंतर्राष्ट्रीय शांति, सुरक्षा, आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई, और कोविड-19 महामारी के दौरान वैश्विक सहयोग के लिए जोर दिया। भारत लगातार UNSC में अपनी स्थायी सदस्यता की दावेदारी पेश कर रहा है, जिसे कई देशों का समर्थन मिल रहा है, जिनमें फ्रांस, रूस, यूएस और ब्रिटेन शामिल हैं।

वैश्विक संस्थानों में बहुत ज्यादा सुधार की जरूरत: पीएम मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'समिट ऑफ फ्यूचर' कार्यक्रम में अपने संबोधन के दौरान वैश्विक शांति और सुरक्षा के लिए ग्लोबल रिफॉर्म की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि आज की दुनिया में आतंकवाद केवल शांति के लिए एक गंभीर खतरा बना हुआ है, बल्कि नए मुद्दे जैसे साइबर सुरक्षा, समुद्री और अंतरिक्ष क्षेत्र में संघर्ष भी उभर रहे हैं।

पीएम मोदी ने इस बात पर जोर दिया कि इन वैश्विक चुनौतियों से निपटने के लिए, वैश्विक कार्रवाई को हमारे वैश्विक महत्वाकांक्षाओं के अनुरूप होना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि वैश्विक शांति और विकास के लिए आवश्यक है कि अंतर्राष्ट्रीय संस्थानों में सुधार किया जाए, ताकि वे आज की चुनौतियों का सामना करने के लिए बेहतर तरीके से तैयार हो सकें।

 

 

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