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भोपाल में गरबा पंडालों में जिहादियों की एंट्री पर विवाद, पंडालों में होर्डिंग लगना शुरू

भोपाल में गरबा पंडालों में जिहादियों की एंट्री पर विवाद, पंडालों में होर्डिंग लगना शुरू

भोपाल में गरबा पंडालों में गैर हिंदुओं की एंट्री रोकने के लिए होर्डिंग लगाई गई है। होर्डिंग में चेतावनी दी गई कि गैर हिंदू आने पर घर वापसी कराई जाएगी। पंडालों में प्रवेश के लिए पांच नियम बनाए गए हैं।

भोपाल: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में नवरात्रि के अवसर पर गरबा उत्सव को लेकर नया विवाद खड़ा हो गया है। शहर के कई पंडालों में होर्डिंग लगाई जा रही है, जिसमें साफ लिखा गया है कि गैर हिंदुओं को प्रवेश नहीं मिलेगा। इस दौरान हिंदू संगठनों ने एंट्री के लिए विशेष नियम भी तय किए हैं, जिससे पंडालों में केवल हिंदू धर्म के अनुयायी ही शामिल हो सकें।

भोपाल पंडाल में सुरक्षा के लिए होर्डिंग में लिखा संदेश

भोपाल के गरबा पंडालों में होर्डिंग लगनी शुरू हो गई हैं। अवधपुरी श्री कृष्ण सेवा समिति द्वारा लगाई गई होर्डिंग में लिखा है, "गरबे के पंडाल में जिहादियों का आना सख्त मना है। पकड़े जाने पर घर वापसी कराई जाएगी या उचित व्यवस्था की जाएगी।" इसके साथ ही लट्ठ और जूते-चप्पल की तस्वीरें भी दिखाई गई हैं, ताकि यह संदेश स्पष्ट रूप से समझा जा सके।

स्थानीय लोगों का कहना है कि होर्डिंग का उद्देश्य केवल पंडाल की सुरक्षा और हिंदू परंपरा का पालन सुनिश्चित करना है। हालांकि, इस कदम ने सामाजिक स्तर पर बहस को जन्म दिया है और लोगों के बीच अलग-अलग प्रतिक्रियाएं देखने को मिल रही हैं।

एंट्री के लिए बनाए गए नियम

हिंदू संगठनों ने गरबा पंडालों में प्रवेश के लिए पांच विशेष नियम तय किए हैं। इनमें माथे पर तिलक, हाथों में कलावा, आधार कार्ड, गंगाजल और गोमूत्र का आचमन, और वराह देवता या मां दुर्गा की तस्वीर के सामने नमन शामिल है। यह नियम सुनिश्चित करने के लिए बनाए गए हैं कि केवल हिंदू धर्म के अनुयायी ही पंडाल में प्रवेश करें।

इन नियमों का उद्देश्य पंडालों में किसी भी प्रकार की गलतफहमी या विवाद को रोकना बताया गया है। आयोजकों का कहना है कि यह कदम धार्मिक आस्था और पंडाल की पवित्रता बनाए रखने के लिए आवश्यक है।

भाजपा नेताओं और मंत्री का बयान

इस विवाद पर भाजपा सांसद आलोक शर्मा ने कहा कि जो लोग नवरात्रि में धार्मिक परंपराओं का पालन नहीं करते, उन्हें पंडाल में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी। उन्होंने कहा कि यह कदम समाज में होने वाली किसी भी तरह की ग़लत गतिविधियों को रोकने के लिए है।

भाजपा विधायक रामेश्वर शर्मा ने कहा कि गरबा में गैर हिंदुओं का प्रवेश नहीं होना चाहिए। वहीं, सरकार के मंत्री विश्वास सारंग ने कहा कि यह पवित्र पर्व केवल हिंदू धर्म के अनुयायियों के लिए है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि गरबा का उद्देश्य मां दुर्गा की स्तुति करना है, और इसलिए केवल सनातनी हिंदू ही इसमें शामिल हो सकते हैं।

विवाद और सुरक्षा व्यवस्था

भोपाल में यह कदम सोशल मीडिया और स्थानीय समाज में बहस का विषय बन गया है। कुछ लोग इसे धार्मिक परंपरा की सुरक्षा के रूप में देख रहे हैं, जबकि अन्य इसे धार्मिक भेदभाव के रूप में देख रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि धार्मिक आयोजनों में शामिल लोगों की पहचान और सुरक्षा सुनिश्चित करना आवश्यक है, लेकिन इसे लागू करने के तरीके विवादों को जन्म दे सकते हैं।

स्थानीय प्रशासन ने कहा है कि पंडालों में सुरक्षा और धार्मिक आस्था बनाए रखना प्राथमिकता है। इसके साथ ही, नागरिकों से शांति बनाए रखने और किसी भी तरह के तनाव से बचने की अपील की गई है। नवरात्रि के दौरान यह बहस और बढ़ सकती है, इसलिए प्रशासन सतर्कता बनाए रखेगा।

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