अशोक गहलोत ने बिहार महागठबंधन में सीट बंटवारे के मतभेद को दोस्ताना बताया। उन्होंने कहा कि गठबंधन मजबूत है और सभी दल भाजपा और जद(यू) के खिलाफ मिलकर चुनाव लड़ेंगे। गहलोत वरिष्ठ चुनाव पर्यवेक्षक के रूप में काम कर रहे हैं।
Patna: बिहार विधानसभा चुनाव से पहले वरिष्ठ कांग्रेस नेता अशोक गहलोत पटना पहुंचे और उन्होंने महागठबंधन में चल रहे विवादों को लेकर साफ बयान दिया। गहलोत ने कहा कि महागठबंधन में 5 से 10 सीटों पर मतभेद होना सामान्य बात है, खासकर जब गठबंधन 243 सीटों पर चुनाव लड़ रहा हो। उन्होंने स्पष्ट किया कि यह मतभेद किसी भी तरह का विवाद नहीं है बल्कि दोस्ताना मुकाबला है। गहलोत ने कहा कि इस गठबंधन का उद्देश्य भाजपा और जद(यू) के खिलाफ मजबूती से खड़ा रहना है।
दोस्ताना मुकाबले को बताया सामान्य
अशोक गहलोत ने मीडिया से बातचीत में कहा कि किसी भी बड़े राज्य स्तरीय गठबंधन में कुछ सीटों को लेकर मतभेद होना स्वाभाविक है। उन्होंने कहा कि यह दोस्ताना मुकाबला है और इससे गठबंधन की मजबूती या एकजुटता पर कोई असर नहीं पड़ेगा। गहलोत ने यह भी कहा कि विपक्ष के लिए यह जरूरी है कि वे सभी सीटों पर ध्यान केंद्रित करें और गठबंधन को मजबूत बनाकर चुनाव लड़ें।
महागठबंधन के भीतर सहयोगियों की भूमिका
गहलोत ने कहा कि बिहार महागठबंधन में राष्ट्रीय जनता दल (राजद), कांग्रेस, रालोसपा और अन्य सहयोगी दल शामिल हैं। उन्होंने यह भी कहा कि गठबंधन में शामिल हर दल ने चुनावी रणनीति और सीटों के बंटवारे में सहयोग किया है। कुछ सीटों पर दोस्ताना मुकाबला होना इस गठबंधन की ताकत को कमजोर नहीं करता। गहलोत ने कहा कि सभी दल मिलकर भाजपा और जद(यू) के खिलाफ चुनाव मैदान में पूरी ताकत से खड़े हैं।
तेजस्वी यादव से बैठक की संभावना
अशोक गहलोत के पटना आगमन का एक उद्देश्य यह भी था कि वे बिहार महागठबंधन के नेताओं से मुलाकात करें और दोस्ताना मुकाबले के मुद्दों को सुलझाएं। गहलोत के बिहार के विपक्षी नेता और राजद प्रमुख तेजस्वी यादव से मिलने की संभावना है। तेजस्वी यादव राघोपुर निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे हैं और गहलोत का कहना है कि इस बैठक के बाद सभी भ्रम दूर हो जाएंगे।
वरिष्ठ चुनाव पर्यवेक्षक के रूप में गहलोत की भूमिका
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (एआईसीसी) ने अशोक गहलोत को बिहार विधानसभा चुनाव के लिए वरिष्ठ चुनाव पर्यवेक्षक नियुक्त किया है। यह नियुक्ति 6 और 11 नवंबर को होने वाले पहले और दूसरे चरण के चुनाव को लेकर की गई है। गहलोत का काम यह सुनिश्चित करना है कि कांग्रेस के उम्मीदवार और महागठबंधन के सहयोगी दल चुनाव प्रक्रिया में संतुलित और निष्पक्ष रूप से भाग लें।
छत्तीसगढ़ के भूपेश बघेल की जिम्मेदारी
गहलोत के साथ, छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को भी वरिष्ठ चुनाव पर्यवेक्षक नियुक्त किया गया है। उनका काम है कि वे विभिन्न जिलों में जाकर चुनावी तैयारियों और उम्मीदवारों की सूची की समीक्षा करें। दोनों वरिष्ठ पर्यवेक्षक मिलकर गठबंधन के रणनीतिक निर्णयों और चुनाव प्रबंधन में मार्गदर्शन देंगे।
उम्मीदवारों की सूची जारी
महागठबंधन के सहयोगी दल राजद ने सोमवार को बिहार विधानसभा चुनाव के लिए अपने उम्मीदवारों की आधिकारिक सूची जारी की। इस सूची में राज्य भर से 143 उम्मीदवार मैदान में हैं, जिनमें 24 महिला उम्मीदवार शामिल हैं। सूची दूसरे चरण के नामांकन के आखिरी दिन जारी की गई। गहलोत ने कहा कि उम्मीदवारों की घोषणा और तैयारियाँ पूरी तरह से पारदर्शी और निष्पक्ष ढंग से की गई हैं।
सीटों पर ध्यान केंद्रित
गहलोत ने कहा कि महागठबंधन का मुख्य ध्यान 243 सीटों पर है। उन्होंने कहा कि यह महत्वपूर्ण है कि गठबंधन के सभी दलों का सहयोग बना रहे और चुनाव में पूरी ताकत लगाई जाए। उन्होंने जोर देकर कहा कि विपक्षी गठबंधन में दोस्ताना मुकाबले का मुद्दा समय रहते सुलझ जाएगा और इसका चुनाव परिणाम पर कोई नकारात्मक प्रभाव नहीं पड़ेगा।