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Maharashtra: क्या भाजपा को झटका देंगे राज ठाकरे? विपक्षी एकता पर बयान से राजनीति गर्म, जानें वजह

Maharashtra: क्या भाजपा को झटका देंगे राज ठाकरे? विपक्षी एकता पर बयान से राजनीति गर्म, जानें वजह

प्रशांत जगताप ने कहा कि अगर राज ठाकरे इंडिया गठबंधन में शामिल होते हैं तो विपक्ष को मजबूती मिलेगी। ठाकरे और उद्धव की नजदीकी से अटकलें तेज हुई हैं।

Maharashtra: महाराष्ट्र की राजनीति में एक बार फिर हलचल तेज हो गई है। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) प्रमुख राज ठाकरे के इंडिया (INDI) गठबंधन में शामिल होने की संभावना पर चर्चाएं गर्म हो चुकी हैं। इस बार चर्चा को हवा दी है राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) शरद पवार गुट के वरिष्ठ नेता और पुणे के पूर्व महापौर प्रशांत जगताप ने।

प्रशांत जगताप का बड़ा बयान

प्रशांत जगताप ने हाल ही में एक मीडिया बातचीत में कहा कि अगर राज ठाकरे इंडिया गठबंधन में शामिल होने का फैसला करते हैं, तो उनका स्वागत किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सिर्फ वे ही नहीं, बल्कि गठबंधन में शामिल अन्य दलों के नेता भी इस कदम का समर्थन करेंगे।

जगताप ने कहा, "राज ठाकरे अगर विपक्षी गठबंधन से जुड़ते हैं तो भाजपा के खिलाफ विपक्ष को मजबूत आधार मिलेगा। इससे महाराष्ट्र में राजनीतिक समीकरण बदल सकते हैं।"

राज-उद्धव की नजदीकी बढ़ा रही अटकलें

राज ठाकरे और उद्धव ठाकरे के बीच लंबे समय तक पारिवारिक और राजनीतिक दूरियां बनी रहीं। लेकिन हालिया महीनों में दोनों नेताओं की सार्वजनिक मंचों पर एक साथ मौजूदगी और मेल-मिलाप ने इस संभावना को और बल दिया है कि आने वाले चुनावों में दोनों भाई एक साथ आ सकते हैं।

शिवसेना (उद्धव गुट) और मनसे की एकजुटता का असर ना सिर्फ मुंबई बल्कि राज्य के अन्य शहरी इलाकों में भी देखने को मिल सकता है, जहां मराठी वोट बैंक का प्रभावी असर होता है।

विपक्ष के लिए अहम हो सकते हैं राज ठाकरे

राज ठाकरे की छवि एक तेजतर्रार और मुखर नेता की रही है। उनकी पार्टी भले ही राज्य स्तरीय बड़ी ताकत नहीं बन सकी, लेकिन कुछ शहरी क्षेत्रों में मनसे का वोट बैंक आज भी असरदार माना जाता है।

अगर वे इंडिया गठबंधन से जुड़ते हैं तो इससे न केवल मराठी अस्मिता की राजनीति को बल मिलेगा, बल्कि भाजपा विरोधी मोर्चे को भी एक नया चेहरा मिल सकता है जो आक्रामक ढंग से सरकार पर हमला कर सकता है।

चुनावों से पहले समीकरणों की खोज

महाराष्ट्र में निकाय और स्थानीय चुनाव नजदीक हैं। ऐसे में सभी दल गठजोड़ और नई रणनीतियों पर काम कर रहे हैं। कांग्रेस, एनसीपी (शरद गुट) और शिवसेना (उद्धव गुट) पहले ही इंडिया गठबंधन में साथ आ चुके हैं। अब अगर मनसे भी इस गठबंधन से जुड़ती है, तो विपक्ष की ताकत और संगठित हो सकती है।

राज ठाकरे की चुप्पी बनी रहस्य

इस पूरे मामले में अब तक न तो राज ठाकरे और न ही उनकी पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की ओर से कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने आई है। हालांकि इससे पहले भी वे विपक्ष के कुछ मुद्दों पर शिवसेना (उद्धव गुट) और एनसीपी के सुर में सुर मिलाते देखे गए हैं।

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