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Prithvi Shaw का धमाका: 20 महीने बाद जड़ा शतक, रणजी ट्रॉफी में रिषभ पंत का रिकॉर्ड तोड़ा

Prithvi Shaw का धमाका: 20 महीने बाद जड़ा शतक, रणजी ट्रॉफी में रिषभ पंत का रिकॉर्ड तोड़ा

भारतीय टीम से लंबे समय से बाहर चल रहे ओपनर पृथ्वी शॉ (Prithvi Shaw) ने एक बार फिर अपने पुराने अंदाज में वापसी के संकेत दे दिए हैं। रणजी ट्रॉफी के मुकाबले में महाराष्ट्र की ओर से खेलते हुए चंडीगढ़ के खिलाफ उन्होंने शानदार बल्लेबाजी करते हुए शतक जड़ा।

स्पोर्ट्स न्यूज़: भारतीय क्रिकेट के प्रतिभाशाली बल्लेबाज पृथ्वी शॉ (Prithvi Shaw) एक बार फिर सुर्खियों में हैं। लंबे अंतराल के बाद उन्होंने बल्ले से शानदार वापसी की है। रणजी ट्रॉफी 2025-26 (Ranji Trophy 2025-26) में महाराष्ट्र की ओर से खेलते हुए उन्होंने चंडीगढ़ के खिलाफ मात्र 72 गेंदों में शतक ठोक दिया। यह शतक न केवल उनके लिए करियर पुनर्जीवन की तरह है, बल्कि रणजी ट्रॉफी के इतिहास में छठा सबसे तेज शतक भी है।

इस पारी के साथ पृथ्वी शॉ ने टीम इंडिया के स्टार विकेटकीपर ऋषभ पंत (Rishabh Pant) का 9 साल पुराना रिकॉर्ड भी तोड़ दिया है, जिन्होंने 2016-17 सीजन में 48 गेंदों पर शतक लगाया था।

20 महीने बाद पृथ्वी शॉ की शानदार वापसी

पृथ्वी शॉ का यह शतक खास इसलिए भी है क्योंकि यह उन्होंने 20 महीनों बाद जड़ा है। उनका पिछला शतक फरवरी 2024 में मुंबई के लिए आया था। तब से अब तक उन्होंने कई चुनौतियों का सामना किया — फिटनेस, अनुशासन और चयन से जुड़ी समस्याओं के कारण उन्हें लंबे समय तक टीम से बाहर रहना पड़ा। लेकिन चंडीगढ़ के खिलाफ उनकी यह पारी यह साबित करती है कि वह एक बार फिर अपनी पुरानी लय में लौट रहे हैं।

पहली पारी में जहां वे मात्र 8 रन पर आउट हो गए थे, वहीं दूसरी पारी में उन्होंने जबरदस्त अंदाज में 13 चौकों की मदद से 72 गेंदों में शतक पूरा किया। इस पारी के दौरान उन्होंने विपक्षी गेंदबाजों पर पूरी तरह हावी रहते हुए रन बटोरने में कोई कसर नहीं छोड़ी।

रणजी ट्रॉफी के इतिहास में सबसे तेज शतक (गेंदों के आधार पर)

  • 48 गेंदें – ऋषभ पंत (दिल्ली, 2016/17)
  • 56 गेंदें – रियान पराग (असम, 2023-24)
  • 56 गेंदें – आर.के. बोरा (असम, 1987/88)
  • 60 गेंदें – एस. रूबेन पॉल (गोवा, 1995/96)
  • 68 गेंदें – रजत पाटीदार (मध्यप्रदेश, 2024-25)
  • 69 गेंदें – नमन ओझा (मध्यप्रदेश, 2015-16)
  • 72 गेंदें – पृथ्वी शॉ (महाराष्ट्र, 2025-26)
  • 72 गेंदें – एकलव्य द्विवेदी (उत्तर प्रदेश, 2015-16)
  • 82 गेंदें – ऋषभ पंत (दिल्ली, 2016-17)

पृथ्वी शॉ के लिए पिछले कुछ साल बेहद कठिन रहे हैं। 2018 में भारत के लिए डेब्यू करने के बाद उनसे बड़ी उम्मीदें थीं, लेकिन फिटनेस, अनुशासन और ऑफ-फील्ड विवादों के चलते उनका करियर उतार-चढ़ाव भरा रहा। 2024 में उन्हें मुंबई की रणजी टीम से भी बाहर कर दिया गया था।

 

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