केंद्र की मोदी सरकार ने नीतीश कुमार को तगड़ा झटका दिया है। केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज कुमार चौधरी ने जदयू (जनता दल यूनाइटेड) के सांसद रामप्रीत मंडल के सवाल का जवाब देते हुए कहां कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देना असंभव हैं।
पटना: बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिलना कदापि संभव नहीं है। मोदी सरकार की ओर से केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री श्री पंकज कुमार चौधरी ने जदयू सांसद रामप्रीत सिंह मंडल के सवाल पर प्रतिक्रिया दी। पंकज कुमार चौधरी ने अपने लिखित जवाब में कहां कि बिहार विशेष राज्य का दर्जा पाने के मानदंडों को पूरा में अभी सफल नहीं हुआ है, ऐसे में विशेष राज्य का दर्जा देना कदापि संभव नहीं हैं।
केंद्र सरकार के इस जवाब के बाद बिहार का सियासी पारा सातवें आसमान पर पहुंच गया। उसके बाद लालू प्रसाद यादव ने नीतीश कुमार और मोदी सरकार पर तगड़ा निशाना साधा हैं।
लालू यादव ने मोदी-नितीश पर साधा निशाना
लालू यादव ने आरोप लगाते हुए कहां कि "पीएम मोदी और नीतीश ने बड़ी निर्लज्जता के साथ बिहार को 'विशेष राज्य' के नाम पर झुनझुना पकड़ा दिया। जदयू भारतीय जनता पार्टी के सामने यह कहकर नतमस्तक है कि विशेष राज्य का दर्जा नहीं मिला तो कोई बात नहीं, लेकिन विशेष पैकेज के नाम पर बिहार को कुछ तो मिलने की संभावना है। लालू यादव ने इस बात को लेकर नीतीश कुमार से इस्तीफा देने की मांग की हैं।
लालू प्रसाद यादव ने कहां कि नीतीश कुमार ने लोकसभा चुनाव के दौरान बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने के लिए कहां था, लेकिन केंद्र सरकार ने उनकी बात न मानकर मना कर दिया है। इसके बाद नीतीश कुमार तुरंत इस्तीफा दे देना चाहिए।
रामप्रीत के सवाल पर केंद्र सरकार ने दी प्रतिक्रिया
बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने को लेकर जदयू सांसद रामप्रीत मंडल ने संसद में सवाल किया था। इस पर केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज कुमार चौधरी ने लिखित तौर पर जवाब दिया है। अपने जवाब में पंकज चौधरी ने कहां है कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिलना अभी संभव नहीं है। वित्त राज्य मंत्री ने केंद्र सरकार की ओर से जवाब देते हुए कहां है कि बिहार विशेष राज्य के लिए जरूरी मानदंडों को पूरा करने में अभी सक्षम नहीं है। ऐसे में विशेष राज्य का दर्जा देना कदापि संभव नहीं हैं।
बता दें कि बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग काफी पुराने समय से चल रही है। नीतीश कुमार और जदयू समेत तमाम राजनीतिक दल जोर-शोर से इस मुद्दे को संसद में उठाते रहे हैं।