मौनी अमावस्या पर महाकुंभ में भगदड़ से 30 श्रद्धालु मृत, 90 घायल। जांच शुरू, सुरक्षा कड़ी। सात नए अफसर तैनात, पूरा मेला क्षेत्र नो-व्हीकल जोन, चार फरवरी तक वाहनों की एंट्री बंद।
Mahakumbh Stampede: मौनी अमावस्या पर संगम क्षेत्र में हुई भगदड़ के बाद शासन स्तर पर जांच शुरू कर दी गई है। इस हादसे में 30 श्रद्धालुओं की मौत हो गई, जबकि 90 से अधिक घायल हो गए हैं। प्रशासन ने महाकुंभ मेले की व्यवस्था को और मजबूत करने के लिए सात नए अफसरों की तैनाती की है।
सात वरिष्ठ अधिकारियों की तैनाती
नई तैनाती में पावर कॉर्पोरेशन के चेयरमैन आशीष गोयल, आईएएस भानुचंद्र गोस्वामी और आशुतोष द्विवेदी समेत सात उच्चाधिकारी शामिल हैं। ये सभी अधिकारी मेला क्षेत्र में पहुंच गए हैं और व्यवस्था सुधारने के निर्देश दिए जा रहे हैं।
वीवीआईपी और मीडिया पास रद्द
पुलिस ने मेला क्षेत्र में सभी तरह के वीवीआईपी और मीडिया वाहन पास रद्द कर दिए हैं। आवश्यक सेवाओं के वाहनों के पास भी रद्द कर दिए गए हैं। मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह और डीजीपी प्रशांत कुमार ने भगदड़ वाले स्थान का निरीक्षण करने का निर्णय लिया है।
मेला क्षेत्र घोषित हुआ नो-व्हीकल जोन
भगदड़ की घटना के बाद पूरे महाकुंभ मेले को नो-व्हीकल जोन घोषित कर दिया गया है। सभी प्रवेश द्वारों पर मजबूत बैरिकेडिंग लगाकर वाहनों की आवाजाही पूरी तरह से प्रतिबंधित कर दी गई है। वीवीआईपी सहित सभी प्रकार के पास को भी निरस्त कर दिया गया है।
प्रयागराज की सीमाओं पर वाहनों की लंबी कतारें
प्रयागराज जिले की सीमा पर वाहनों की लंबी कतारें लग गई हैं, जिससे श्रद्धालुओं को परेशानी हो रही है। मेला क्षेत्र से 20 किलोमीटर दूर ही वाहनों को रोक दिया जा रहा है। प्रशासन ने 4 फरवरी तक चार पहिया वाहनों के प्रवेश पर पूरी तरह रोक लगा दी है।
आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति बाधित
महाकुंभ प्रशासन ने दूध, खाद्य पदार्थ और मेडिकल उपकरणों के वाहनों के प्रवेश पर भी रोक लगा दी है। इससे कल्पवासी और श्रद्धालु खासे परेशान हैं। दूध की उपलब्धता कम होने के कारण इसे दोगुने दामों पर बेचा जा रहा है।
प्रशासनिक आदेशों की अनदेखी
सख्ती के बावजूद कई अधिकारी सरकारी वाहनों में अपने परिवार के सदस्यों और परिचितों को स्नान कराने ले जा रहे हैं। एंबुलेंस का भी गलत इस्तेमाल कर श्रद्धालुओं को लाने-ले जाने में किया जा रहा है।
महाकुंभ प्रशासन ने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वे प्रशासन के निर्देशों का पालन करें और किसी भी तरह की अव्यवस्था से बचने में सहयोग करें।