Himachal Pradesh News: कांग्रेस को लगा बड़ा झटका, प्रियंका गांधी के नजदीकी तेजिंदर सिंह बिट्टू ने थामा भाजपा का दामन

Himachal Pradesh News: कांग्रेस को लगा बड़ा झटका, प्रियंका गांधी के नजदीकी तेजिंदर सिंह बिट्टू ने थामा भाजपा का दामन
Last Updated: 21 अप्रैल 2024

 

हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव जीतने के बाद से ही कांग्रेस पार्टी की मुश्किलें लगातर बढ़ती जा रही हैं। कांग्रेस नेताओं का पार्टी छोड़कर जाने का सिलसिला लगातार चल रहा है. इसी क्रम में कांग्रेस पार्टी को नेता तजिंदर सिंह बिट्टू के रूप में बढ़ा झटका लगा हैं।

शिमला: हिमाचल में राज्यसभा चुनाव जीतने के बाद से कांग्रेस की मुश्किलें खत्म होने का नाम नहीं ले रही हैं। इसी क्रम में कांग्रेस को एक और बढ़ा झटका झेलना पड़ेगा। ऑल इंडिया कांग्रेस कमेटी (AICC - अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी) के हिमाचल प्रदेश प्रभारी सचिव और प्रियंका गांधी के काफी करीबी नेता तेजिंदर सिंह बिट्टू ने कांग्रेस पार्टी का हाथ छोड़ते हुए भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लिया हैं। भाजपा महासचिव विनोद कुमार तावड़े और केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने उन्हें भाजपा में शामिल होने की सदस्यता दिलाई।

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को सौंपा त्यागपत्र

सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार Subkuz.com ने बताया कि कांग्रेस नेता तेजिंदर सिंह बिट्टू ने रविवार (२० अप्रेल) को कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को त्यागपत्र सौंपा हैं। पत्र में उन्होंने लिखा है कि मैं भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता और एआईसीसी (अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी), हिमाचल प्रदेश के सचिव सह-प्रभारी पद से अपनी स्वेच्छा से इस्तीफा दे रहा हूं।

जानकारी के मुताबिक लोकसभा चुनाव के अंतिम समय में तेजिंदर सिंह बिट्टू के द्वारा कांग्रेस छोड़ना पार्टी के लिए एक बहुत बड़ा सदमा जैसा है। क्योकि पार्टी की चुनावी रणनीति बनाने में वह अभी तक हिस्सा रहे हैं। कांग्रेस की हर चुनावी बैठक में वह मौजूद रहे थे। कांग्रेस हाईकमान ने साल 2021 में तजेंद्र सिंह को हिमाचल कांग्रेस का सह प्रभारी पद पर विराजमान किया था। तब उन्होंने 2022 के विधानसभा चुनाव में हिमाचल में कांग्रेस को भारी मतों से जीत दिलाने में अहम भूमिका निभाई थी।

कांग्रेस को हिमाचल में मिल सकता था इनका फायदा

सूत्रों ने बताया कि पंजाब के रहने वाले तेजिंदर सिंह पंजाब कांग्रेस के लिए एक बड़ा चेहरा सिद्ध हुए हैं। इसे देखते हुए पार्टी ने उन्हें प्रदेश मामलों का सह प्रभारी नियुक्त किया था। हिमाचल प्रदेश की चार लोकसभा और छह विधानसभा सीटों पर उप चुनाव के दौरान कांग्रेस को उनके अनुभव का बहुत ज्यादा फायदा मिल सकता था। लेकिन किसी कारणवश उन्होंने पार्टी को छोड़ने का ऐलान कर दिया हैं।

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