जौनपुर में 2000 में हुई जनार्दन सिंह की हत्या मामले में बीजेपी नेता विजय सिंह और प्रमोद सिंह को उम्रकैद की सजा सुनाई गई। कोर्ट ने दोनों पर 25-25 हजार का जुर्माना भी लगाया।
UP: उत्तर प्रदेश के जौनपुर जिले में 25 साल पहले हुई जनार्दन सिंह की हत्या के मामले में मंगलवार को अदालत ने बड़ा फैसला सुनाया। इस बहुचर्चित हत्याकांड में बीजेपी नेता विजय सिंह विद्यार्थी और प्रमोद सिंह को दोषी करार देते हुए उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। दोनों आरोपियों पर अदालत ने 25-25 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है।
3 अक्टूबर 2000 को हुई थी हत्या
यह मामला 3 अक्टूबर 2000 का है। सरायख्वाजा थाना क्षेत्र के इटौरी बाजार में जनार्दन सिंह की सरेआम गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इस मामले में वादी अनिरुद्ध सिंह ने पुलिस को तहरीर देकर बताया था कि उनका भाई जनार्दन सिंह अपने भतीजे के साथ बाजार से घर लौट रहा था, तभी बाइक सवार बदमाशों ने रास्ते में रोककर गोली मार दी।
हत्या से पहले मिली थी धमकी
हत्या से कुछ दिन पहले जनार्दन सिंह के भतीजे देवेंद्र सिंह को अजय सिंह नामक युवक ने धमकी दी थी। उसने कहा था कि अगर उसके काम में कोई दखल देगा तो उसे गोली मार दी जाएगी। इसके बाद गांव में पंचायत भी बुलाई गई थी। पंचायत की खबर मिलते ही अजय सिंह और उसके भाई विजय सिंह नाराज़ हो गए थे और हत्या की योजना बना ली थी।
कैसे हुई थी हत्या
घटना के दिन जब जनार्दन सिंह अपने भतीजे के साथ बाइक से बाजार से लौट रहे थे, तब सोनिकपुर गांव निवासी विजय सिंह विद्यार्थी, अजय सिंह और सरायख्वाजा निवासी प्रमोद सिंह ने उन्हें रास्ते में घेर लिया। विजय और प्रमोद ने जनार्दन को पकड़ लिया और ललकारते हुए कहा कि "आज इसे खत्म कर दो"। इसके बाद अजय सिंह ने पिस्तौल निकालकर जनार्दन सिंह पर गोली चला दी।
गोली चलने की आवाज से बाजार में अफरा-तफरी मच गई थी। हमलावरों ने मौके पर मौजूद लोगों को डराते हुए कहा था कि अगर कोई पास आया तो उसे भी जान से मार देंगे। इसके बाद तीनों आरोपी एक ही बाइक पर सवार होकर भाग निकले। दूसरी बाइक घटनास्थल पर ही छूट गई थी।
पहले ही हो चुकी थी अजय सिंह को सजा
इस हत्याकांड में तीन आरोपी थे- अजय सिंह, विजय सिंह विद्यार्थी और प्रमोद सिंह। मुख्य आरोपी अजय सिंह को पहले ही कोर्ट उम्रकैद की सजा सुना चुकी है। लंबे समय तक फरार रहने के कारण विजय सिंह और प्रमोद सिंह की पत्रावली को अदालत ने अलग कर रखा था।
अब विजय सिंह और प्रमोद को भी उम्रकैद
मंगलवार को अपर सत्र न्यायाधीश रंजीत कुमार की अदालत ने दोनों फरार आरोपियों की पत्रावली तलब कर सुनवाई की। सभी गवाहों और साक्ष्यों के आधार पर कोर्ट ने विजय सिंह विद्यार्थी और प्रमोद सिंह को दोषी करार देते हुए उम्रकैद की सजा सुनाई है। इसके साथ ही दोनों पर 25-25 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है।
दोषियों को भेजा गया जेल
सजा सुनाए जाने के बाद विजय सिंह और प्रमोद सिंह को पुलिस अभिरक्षा में जिला कारागार भेज दिया गया है। अदालत का यह फैसला जौनपुर की जनता और मृतक परिवार के लिए राहत भरा माना जा रहा है, क्योंकि 25 वर्षों से वे न्याय की प्रतीक्षा कर रहे थे।