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Karnataka: गड्ढों पर घिरी सरकार, डीके शिवकुमार ने कहा- सिर्फ बेंगलुरु ही नहीं जूझ रहा

Karnataka: गड्ढों पर घिरी सरकार, डीके शिवकुमार ने कहा- सिर्फ बेंगलुरु ही नहीं जूझ रहा

बेंगलुरु की खराब सड़कों पर उठे सवालों पर डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार ने कहा कि गड्ढे केवल कर्नाटक तक सीमित नहीं, बल्कि दिल्ली में पीएम आवास के सामने भी हैं। उन्होंने हर दिन 1000 गड्ढे भरने का दावा किया।

Karnataka: कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु लंबे समय से खराब सड़कों और गड्ढों की वजह से चर्चा में है। अक्सर लोग सोशल मीडिया पर इनकी तस्वीरें साझा करते हैं और सरकार की आलोचना करते हैं। इसी बीच कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने इस मुद्दे पर बयान देकर बहस को और तेज कर दिया है। उन्होंने साफ कहा कि गड्ढे केवल बेंगलुरु तक सीमित नहीं हैं, बल्कि देश की राजधानी दिल्ली में भी यह समस्या मौजूद है। यहां तक कि उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री आवास (PM Residence) के सामने भी गड्ढे हैं।

गड्ढों पर उठे सवाल और शिवकुमार की प्रतिक्रिया

हाल ही में जब बेंगलुरु की सड़कों की स्थिति पर सवाल उठे तो डीके शिवकुमार ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि यह समस्या सिर्फ कर्नाटक की नहीं है। उन्होंने कहा कि अगर कोई गड्ढों की शिकायत करता है तो इसका मतलब यह नहीं है कि केवल बेंगलुरु की सड़कें ही खराब हैं। देशभर में यह समस्या मौजूद है।

शिवकुमार ने मीडिया से अपील की कि वह दिल्ली में भी जाकर जांच करें। उनके मुताबिक, प्रधानमंत्री आवास के सामने भी गड्ढे दिखाई देंगे। उन्होंने यह भी जोड़ा कि गड्ढों की समस्या पर राजनीति करना उचित नहीं है क्योंकि यह राष्ट्रीय स्तर की चुनौती है।

बेंगलुरु में गड्ढे भरने का दावा

उपमुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार दिन-रात इस समस्या को सुलझाने में लगी हुई है। एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के अनुसार, शिवकुमार ने दावा किया कि बेंगलुरु में हर दिन लगभग 1000 गड्ढे भरे जा रहे हैं। इसमें शहर के हर निगम क्षेत्र में करीब 200 गड्ढे शामिल हैं। बारिश जैसी मुश्किल परिस्थितियों के बावजूद भी यह काम तेजी से किया जा रहा है।

बीजेपी पर हमला

डीके शिवकुमार ने बीजेपी को भी इस मामले में आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि अगर पिछली सरकार ने सड़कों का रखरखाव सही तरीके से किया होता तो आज यह हालात नहीं होते। उनके अनुसार, बीजेपी के शासन में भी बेंगलुरु गड्ढों से जूझ रहा था और यह कहना गलत होगा कि यह समस्या केवल मौजूदा सरकार की वजह से है।

दिल्ली का उदाहरण क्यों दिया गया

जब मीडिया ने उनसे पूछा कि वह प्रधानमंत्री आवास का उदाहरण क्यों दे रहे हैं, तो उन्होंने कहा कि यह दिखाने के लिए कि गड्ढे केवल बेंगलुरु की समस्या नहीं हैं। पूरे देश में सड़कें खराब हालत में हैं। उन्होंने कहा कि यह समस्या केवल कर्नाटक की नहीं, बल्कि राष्ट्रीय स्तर की है और इसे राजनीतिक रंग देना गलत है।

नागरिकों की परेशानी

हालांकि सरकार गड्ढे भरने के दावे कर रही है, लेकिन स्थानीय नागरिकों का कहना है कि स्थिति अब भी गंभीर है। कई इलाकों में खराब सड़कों की वजह से हादसे हो रहे हैं और ट्रैफिक जाम आम बात हो गई है। लोग सवाल उठा रहे हैं कि अगर हर दिन 1000 गड्ढे भरे जा रहे हैं तो फिर शिकायतें कम क्यों नहीं हो रहीं।

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