Columbus

सीकर में ट्रेन हादसा: मालगाड़ी के 36 डिब्बे पटरी से उतरे, रेल यातायात ठप

सीकर में ट्रेन हादसा: मालगाड़ी के 36 डिब्बे पटरी से उतरे, रेल यातायात ठप

सीकर के श्रीमाधोपुर में फुलेरा-रेवाड़ी मालगाड़ी के 36 डिब्बे पटरी से उतर गए। दिल्ली-मुंबई फ्रेट कॉरिडोर ठप हो गया, रेलवे और पुलिस ने राहत कार्य शुरू किया, हादसे में किसी के घायल होने की खबर नहीं है।

सीकर: राजस्थान के सीकर जिले के श्रीमाधोपुर इलाके में फुलेरा-रेवाड़ी मालगाड़ी के 36 डिब्बे पटरी से उतर गए। न्यू रेलवे स्टेशन के पास यह हादसा हुआ और कई डिब्बे एक-दूसरे पर चढ़ गए। इस वजह से दिल्ली-मुंबई डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पूरी तरह बंद हो गया। रेलवे और पुलिस की टीम ने राहत कार्य तुरंत शुरू कर दिया।

रेलवे अधिकारियों ने बताया कि दुर्घटना में कोई जान-माल का नुकसान नहीं हुआ, लेकिन ट्रैक पर यातायात पूरी तरह बाधित है। पटरी से डिब्बों को हटाने और मरम्मत कार्य में अभी कई घंटे लग सकते हैं।

फुलेरा-रेवाड़ी हादसे से रेल यातायात प्रभावित

हादसे के कारण रींगस-श्रीमाधोपुर कॉरिडोर पर रेल संचालन ठप हो गया। कई मालगाड़ियां रुक गईं और कुछ को वैकल्पिक मार्गों से डायवर्ट किया गया। रेलवे अधिकारियों ने यात्रियों और स्थानीय लोगों से अपील की कि वे रेलवे ट्रैक और आसपास के क्षेत्र में न जाएं और केवल आधिकारिक सूचना पर भरोसा करें।

उत्तर पश्चिम रेलवे के मंडल रेल प्रबंधक रवि जैन ने कहा कि दुर्घटना के कारणों का पता लगाने के लिए तकनीकी टीम मौके पर मौजूद है। उन्होंने कहा कि राहत और मरम्मत कार्य प्राथमिकता के आधार पर जारी हैं।

हादसे में राहत कार्य तेज़ी

रेलवे ने क्रेन और भारी मशीनों की मदद से पटरी से उतरे डिब्बों को हटाने का काम रातभर जारी रखा। कुछ डिब्बों में भरे चावल को खाली किया गया ताकि आगे की सफाई और मरम्मत आसानी से की जा सके।

उत्तर पश्चिम रेलवे के अधिकारी प्रवीण कुमार ने बताया कि राहत कार्य में रेलवे और पुलिस के सहयोग से तेजी लाई गई है। उन्होंने लोगों से अफवाहों पर ध्यान न देने और केवल आधिकारिक जानकारी पर भरोसा करने का आग्रह किया।

रेलवे की टीम ने ट्रैक की सुरक्षा और मरम्मत सुनिश्चित करने के लिए लगातार मौके पर निगरानी रखी। अधिकारियों ने कहा कि जल्द से जल्द ट्रैक को बहाल करने की कोशिश की जाएगी ताकि रेल यातायात सामान्य हो सके।

हादसे के कारण की जाँच 

अभी तक हादसे के सटीक कारण का पता नहीं चल पाया है। प्रारंभिक जांच में तकनीकी और मानव त्रुटि दोनों पहलुओं को देखा जा रहा है। इस हादसे से एक दिन पहले ही बीकानेर से जैसलमेर जा रही मालगाड़ी के 37 डिब्बे डिरेल हो गए थे, लेकिन उस घटना में किसी को चोट नहीं आई थी।

रेलवे अधिकारियों ने बताया कि पिछले घटनाक्रमों के अनुभव के आधार पर दुर्घटना रोकने के लिए सुरक्षा और निगरानी प्रक्रिया को और मजबूत किया जाएगा।

स्थानीय प्रशासन और रेलवे ने राहत कार्य तेज़ किया

स्थानीय प्रशासन और रेलवे ने मिलकर राहत और सुरक्षा उपाय सक्रिय किए हैं। रेलवे अधिकारियों ने बताया कि ट्रैक पर मलबा हटाने और मरम्मत कार्य तेजी से जारी है। उन्होंने यात्रियों और ग्रामीणों से कहा कि वे रेलवे ट्रैक के पास न जाएं और सुरक्षा निर्देशों का पालन करें।

इस दौरान, दिल्ली-मुंबई फ्रेट कॉरिडोर की वैकल्पिक योजना तैयार की गई है ताकि मालगाड़ियों का संचालन कम से कम प्रभावित हो। अधिकारी लगातार ट्रैक और आसपास के इलाके की निगरानी कर रहे हैं।

Leave a comment