Canada: कनाड़ा की टुड्रो सरकार ने बदला कानून, भारतीयों की बढ़ी मुश्किलें, विदेशी कामगारों की नौकरी पर संकट

Canada: कनाड़ा की टुड्रो सरकार ने बदला कानून, भारतीयों की बढ़ी मुश्किलें, विदेशी कामगारों की नौकरी पर संकट
Last Updated: 28 अगस्त 2024

कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो (Justin Trudeau: Prime Minister of Canada) के हालिया फैसले से कनाडा में अस्थायी नौकरी करने वाले लाखों विदेशियों पर बड़ा प्रभाव पड़ने वाला है। इस फैसले का सबसे बड़ा असर उन छात्रों पर पड़ेगा जो अपनी पढ़ाई के दौरान कनाडा में नौकरी करते हैं। 

Jobs In Canada: कनाडा में चुनाव नजदीक आते ही, प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने कई फैसले लेना शुरू कर दिए हैं। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो (Justin Trudeau) ने अपने 10 साल के कार्यकाल के अंतिम साल में एक बड़ा फैसला लिया है। उन्होंने अस्थायी विदेशी कर्मचारियों की संख्या पर अंकुश लगाने का ऐलान किया है। यह फैसला कम वेतन वाले, अस्थायी विदेशी कर्मचारियों की संख्या कम करने पर केंद्रित है, जिसका सीधा प्रभाव कनाडा में काम करने वाले लाखों विदेशियों पर पड़ेगा।

भारतीय छात्रों पर पड़ेगा असर

हालांकि, आपको बता दें कि, इस फैसले का सबसे ज्यादा असर कनाडा में पढ़ाई करने वाले विदेशी छात्रों पर पड़ेगा। गणना के मुताबिक, इन छात्रों में सबसे ज्यादा संख्या भारतीयों की है, जो अपनी पढ़ाई के दौरान आर्थिक मदद के लिए यहां नौकरियां करते हैं। इस फैसले से कनाडा में काम करने वाले विदेशी छात्रों के लिए नौकरी पाना और अधिक मुश्किल हो जाएगा।

यह कनाडा की शिक्षा प्रणाली पर भी असर डाल सकता है, क्योंकि छात्रों को अपनी पढ़ाई के लिए वित्तीय रूप से अधिक दबाव का सामना करना पड़ सकता है। इस फैसले के दूरगामी परिणाम क्या होंगे, यह अभी कहना मुश्किल है। लेकिन इतना तो तय है कि यह कनाडा में विदेशी छात्रों और अस्थायी कर्मचारियों के लिए एक बड़ा बदलाव होगा।

टुड्रो ने किया एलान

कनाड़ा पीएम जस्टिन ट्रूडो ने सोमवार यानि 26 अगस्त को, सोशल मीडिया के प्लेटफ़ॉर्म एक्स पर एलान करते हुए बताया कि कनाडा में कम वेतन वाले, अस्थायी विदेशी कर्मचारियों की संख्या कम की जाएगी। ट्रूडो ने लिखा, "हम कनाडा में कम वेतन वाले, अस्थायी विदेशी कर्मचारियों की संख्या कम कर रहे हैं। श्रम बाज़ार बदल गया है। अब हमारे व्यवसायों के लिए कनाडाई श्रमिकों और युवाओं में निवेश करने का समय गया है।" इस घोषणा से कनाडा के श्रम बाज़ार में बड़े बदलाव आने की उम्मीद है। यह कदम कनाडाई श्रमिकों के लिए अधिक अवसर पैदा करने और उन्हें बेहतर वेतन और कार्यस्थलों पर पहुंचने में मदद करेगा।

विदेशियों की संख्या में होगा नियंत्रण

कनाडा की जस्टिन ट्रूडो सरकार ने विदेशी कामगारों के लिए नियमों में बड़ा बदलाव किया है। इस बदलाव का मकसद विदेशियों की संख्या को नियंत्रित करना है। नए नियमों में छह प्रतिशत या उससे अधिक की बेरोजगारी दर वाले शहरों में कम वेतन वाली नौकरियों के लिए अस्थायी विदेशी कर्मचारी परमिट पर प्रतिबंध को लागू करना शामिल है।

इसका मतलब है कि ऐसे शहरों में, जहां पहले विदेशी कामगारों को आसानी से नौकरी मिल जाती थी, अब उन्हें परमिट मिलना मुश्किल होगा। यह कदम उन स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के अवसरों को बढ़ावा देने के लिए उठाया गया है, जिन्हें नौकरी ढूंढने में परेशानी हो रही है।

छात्रों के लिए चुनौतियां

यह फैसला कनाडा में पढ़ाई करने वाले भारतीय छात्रों के लिए कई चुनौतियां पैदा कर सकता है। उन्हें अपनी पढ़ाई के खर्च को पूरा करने के लिए नए रास्ते खोजने पड़ सकते हैं। नया नियम अस्थायी नौकरी करने वालों के लिए पात्रता मानदंडों को सख्त कर सकता है, जिससे उन्हें नौकरी पाने में मुश्किल हो सकती है।

 

 

 

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