भारत और जर्मनी के बीच संबंध पिछले कुछ वर्षों में काफी मजबूत हुए हैं, जो वैश्विक मंच पर भारत की प्रभावशाली उपस्थिति को भी दर्शाते हैं। जर्मनी के चांसलर ओलाफ शोल्ज की भारत यात्रा दोनों देशों के लिए महत्वपूर्ण है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ उनकी मुलाकात में आर्थिक सहयोग, रक्षा और सुरक्षा, स्वच्छ ऊर्जा, और डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन जैसे क्षेत्रों में चर्चा की गई।
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज़ के बीच नई दिल्ली में हुई सातवीं अंतर-सरकारी परामर्श (IGC) बैठक ने भारत-जर्मनी संबंधों को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है। इस बैठक में पीएम मोदी ने कहा कि दोनों देशों के बीच की रणनीतिक साझेदारी आज के वैश्विक तनाव और अनिश्चितता के समय में एक स्थिर और मजबूत सहारा बनकर उभरी हैं।
पीएम मोदी ने यह भी रेखांकित किया कि यह केवल औपचारिक साझेदारी नहीं है, बल्कि दो सशक्त और लोकतांत्रिक देशों के बीच एक परिवर्तनकारी गठबंधन है, जो वैश्विक चुनौतियों का सामना करने में सहयोग कर सकते हैं। ओलाफ शोल्ज़ की लगातार तीसरी भारत यात्रा इस बात का प्रमाण है कि जर्मनी भी भारत के साथ इस रिश्ते को नए आयाम देना चाहता हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि...
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत और जर्मनी की रणनीतिक साझेदारी की मजबूत भूमिका पर प्रकाश डालते हुए कहा कि दोनों देशों का यह सहयोग एक स्थिर समर्थन बनकर उभर रहा है, खासकर ऐसे समय में जब दुनिया संघर्ष और अनिश्चितता के दौर से गुजर रही है। हिंद-प्रशांत क्षेत्र में कानून के शासन और नौवहन की स्वतंत्रता पर गंभीर चिंताएं बनी हुई हैं, और इसी संदर्भ में भारत-जर्मनी साझेदारी की महत्ता और बढ़ जाती हैं।
पीएम मोदी ने चांसलर ओलाफ शोल्ज की भारत यात्रा को 'ट्रिपल जश्न' के प्रतीक के रूप में सराहा। उन्होंने यह भी याद दिलाया कि 2022 में बर्लिन में हुई पिछली IGC बैठक में दोनों देशों ने द्विपक्षीय सहयोग के लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए थे।
नए मुकाम पर पहुंची भारत-जर्मनी की दोस्ती
भारत और जर्मनी की साझेदारी अब रक्षा तक सीमित न रहते हुए प्रौद्योगिकी, ऊर्जा, हरित और सतत विकास जैसे विविध क्षेत्रों में विस्तार कर रही है। इस व्यापक सहयोग ने दोनों देशों के बीच आपसी विश्वास को और गहरा किया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जर्मनी की ‘फोकस ऑन इंडिया’ रणनीति का स्वागत करते हुए इसे साझेदारी में नई संभावनाओं का प्रतीक बताया। मोदी ने कहा कि दोनों देश "संपूर्ण सरकार से पूरे राष्ट्र के दृष्टिकोण" की ओर बढ़ रहे हैं, जो न केवल द्विपक्षीय सहयोग को बल्कि संपूर्ण रणनीतिक दृष्टिकोण को और मजबूत करेगा।
प्रधानमंत्री मोदी और जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज की बैठक में जर्मन-भारतीय हरित और सतत विकास साझेदारी (GSDP) पर सहमति बनी, जिससे दोनों देश पर्यावरणीय स्थिरता के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को बढ़ावा दे रहे हैं। IGC (इंटर-गवर्नमेंटल कंसल्टेशन) प्रक्रिया, जिसकी शुरुआत 2011 में हुई थी, भारत-जर्मनी साझेदारी की एक अनूठी पहल है और इसके माध्यम से दोनों देश सहयोग के नए क्षेत्रों को नियमित रूप से पहचानते हैं।