मीरजापुर में पशुवध की शिकायतों को गंभीरता से न लेने के कारण पुलिस अधीक्षक अभिनंदन ने कठोर कार्रवाई की है। उन्होंने अस्पताल पुलिस चौकी के प्रभारी के साथ-साथ पूरी चौकी को निलंबित कर दिया है। साथ ही, शहर कोतवाल के खिलाफ भी जांच शुरू की गई है। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए एक मोहल्ले में दो मकानों से तीन बोरियों में पशुओं का मांस बरामद किया है।
Mirzapur: पशुवध की शिकायत को गंभीरता से न लेने के कारण पुलिस अधीक्षक अभिनंदन ने रविवार को अस्पताल पुलिस चौकी के प्रभारी हरिशंकर यादव, बीट सिपाही समेत पूरी चौकी को निलंबित कर दिया है। इसके अलावा, शहर कोतवाल बालमुकुंद मिश्रा के खिलाफ भी जांच बैठा दी गई है। इस पूरे मामले की जांच अपर पुलिस अधीक्षक ऑपरेशन ओपी सिंह को सौंपी गई है। इससे पहले, पुलिस अधीक्षक अभिनंदन की अगुवाई में पुलिस, प्रशासन और
क्राइम ब्रांच की एक संयुक्त टीम ने मोहल्ले में दबिश देकर दो मकानों से तीन बोरियों में पशुओं का मांस बरामद किया।
फॉरेंसिक लैब के लिए भेजा गया नमूना
मांस के नमूने को जांच के लिए रामनगर स्थित फॉरेंसिक लैब में भेजा गया है। पुलिस ने इस मामले में मुकदमा दर्ज कर आठ व्यक्तियों को हिरासत में लिया है और उनसे पूछताछ कर रही है। पुलिस को शिकायत प्राप्त हुई थी कि रामबाग मोहल्ले में मांस की बिक्री के लिए गोवंश की हत्या की गई है। इस शिकायत के आधार पर पुलिस ने रामबाग में छापेमारी की और प्रत्येक मकान की तलाशी ली। एक दुकान से मांस की दो बोरियां जब्त की गईं।
एसपी ने दिए जांच के आदेश
एक अन्य आवास की दूसरी मंजिल की तलाशी लेने पर एक फ्रिज में एक बोरी में रखा मांस बरामद हुआ। मांस का नमूना जब्त कर जांच के लिए भेज दिया गया है। बंद पड़े स्लाटर हाउस की भी जांच की गई, जहां पशुओं की हड्डियाँ और सड़ा हुआ मांस पाया गया। एसपी ने लाइसेंस की जांच के लिए आदेश दिए।
अधिशासी अधिकारी जी. लाल ने जानकारी दी कि नगर पालिका ने 2017 से पशुवध का लाइसेंस जारी करना बंद कर दिया है। खाद्य विभाग द्वारा ही लाइसेंस प्रदान किया जाता है। सहायक आयुक्त (खाद्य) डा. मंजुला सिंह ने बताया कि यदि जांच में गाय का मांस पाया जाता है, तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी। नगर विधायक रत्नाकर मिश्रा ने इस मामले में पुलिसकर्मियों की संलिप्तता की आशंका जताते हुए उनके खिलाफ भी कार्रवाई की मांग की।