ISRO Nodal Center: उत्तराखंड के एमबीपीजी कालेज बना ISRO का नोडल सेंटर, जल्द शुरू होंगे आउटरीच कोर्स; जॉब प्रोफाइल के लिए भी होगा लाभदायक

ISRO Nodal Center: उत्तराखंड के एमबीपीजी कालेज बना ISRO का नोडल सेंटर, जल्द शुरू होंगे आउटरीच कोर्स; जॉब प्रोफाइल के लिए भी होगा लाभदायक
Last Updated: 05 सितंबर 2024

उत्तराखंड में कुमाऊं के सबसे बड़े एमबीपीजी कालेज हल्द्वानी को भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का नोडल केंद्र बना दिया गया है। साथ ही इसरो से संबंधित आउटरीच कार्यक्रम में शामिल होने के लिए पंजीकरण प्रक्रिया प्रारंभ कर दी गई हैं।

हल्द्वानी: उत्तराखंड में कुमाऊं के सबसे बड़े एमबीपीजी (मोतीराम बाबूराम राजकीय स्नातकोत्तर) कालेज हल्द्वानी को भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का नोडल केंद्र बना दिया गया है। बता दें केंद्र स्थापित करने के साथ ही अगस्त महीने के अंतिम सप्ताह से विद्यार्थियों के लिए आउटरीच प्रोग्राम प्रारंभ कर दिए जाएंगे। इनमें सभी पाठ्यक्रम आनलाइन संचालित किए जाएंगे।

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन नोडल केंद्र के समन्वयक डा. नरेंद्र कुमार सिजवाली ने मीडिया को बताया कि रिमोट सेंसिंग एंड डिजिटल इमेज एनालिसिस में चार सप्ताह और बेसिक्स कार रिमोट सेंसिंग, ज्योग्राफिकल इनफॉरमेशन सिस्टम (जीआइएस), ग्लोबल नेवीगेशन सेटेलाइट सिस्टम (जीएनएसएस) में 13 सप्ताह का पाठ्यक्रम शुरू किया जाएगा।

शैक्षणिक योग्यता और कोर्स अवधि

डा. नरेंद्र कुमार सिजवाली ने बताया कि इसरो के संबंधित आउटरीच कार्यक्रम में पंजीकरण प्रक्रिया शनिवार से प्रारंभ हो गई हैं। इसमें आवेदन करने वाले उम्मीदवार की न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता इंटरमीडिएट तय की गई है। ऐसे में कोर्स को स्नातक, स्नातकोत्तर (सामान्य एवं प्रोफेशनल) के साथ ही पीएचडी कर रहे विद्यार्थी भी आसानी से कर सकते हैं। बता दें चार सप्ताह का आनलाइन कोर्स 27 अगस्त से 20 सितंबर तक और 13 सप्ताह का कोर्स 27 अगस्त से 22 नवंबर तक संचालित होंगे। इसमें एमबीपीजी कालेज में पढ़ने वाले छात्र के अलावा क्षेत्र के सरकारी एवं निजी शिक्षण संस्थानों में अध्ययनरत विद्यार्थी आनलाइन माध्यम से आवेदन कर सकते हैं।

* दी गई लिंक: https://elearning.iirs.gov.in/edusatregistration/ से डायरेक्ट आवेदन कर सकते हैं।

जॉब प्रोफाइल के लिए लाभदायक

डा. सिजवाली ने जानकारी देते हुए बताया कि रिमोट सेंसिंग एंड डिजिटल इमेज एनालिसिस, बेसिक्स कार रिमोट सेंसिंग, ज्योग्राफिकल इनफॉरमेशन सिस्टम (जीआइएस), ग्लोबल नेवीगेशन सेटेलाइट सिस्टम (जीएनएसएस) जैसे विषयों को पसंद करने वाले विद्यार्थियों के लिए यह जॉब की दृष्टि से लाभकारी है। बता दे अन्य परंपरागत डिग्री पाठ्यक्रम करते हुए भी इन विषय में कोर्स किया जा सकता है। इन कोर्स का लाभ छात्रों को करियर में मिलेगा।

 

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