RBI के नीतिगत रुख में बदलाव से बैंक और NBFC स्टॉक्स में 4% की तेजी, बैंक निफ्टी 1% उछला

RBI के नीतिगत रुख में बदलाव से बैंक और NBFC स्टॉक्स में 4% की तेजी, बैंक निफ्टी 1% उछला
Last Updated: 7 घंटा पहले

भारतीय रिजर्व बैंक की ओर से नीतिगत रुख में बदलाव के बाद बैंकिंग सेक्टर और नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनियों के शेयरों में बंपर तेजी देखी जा रही है। इन शेयरों में 4 प्रतिशत से अधिक का उछाल आया है, जिससे निफ्टी बैंक इंडेक्स ने 1 प्रतिशत की बढ़त हासिल की है।

नई दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक ने बुधवार को मौद्रिक नीति समिति की बैठक के निर्णय की घोषणा की। आरबीआई ने लगातार 10वीं बार ब्याज दरों को बनाए रखने का फैसला लिया है। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने बताया कि समिति के 6 सदस्यों में से 5 ने ब्याज दरों को अपरिवर्तित रखने का समर्थन किया है।

आरबीआई ने अपने पॉलिसी स्टांस को 'नेट्रल फ्रॉम विथड्रॉल' से बदलकर 'तटस्थ' कर दिया है। इस खबर के आने के बाद शेयर मार्केट में हलचल तेज हो गई है, और बैंक व नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनियों के शेयरों में उछाल देखने को मिला है।

श्रीराम फाइनेंस और चोलामंडलम में 4% की बढ़त

बुधवार को श्रीराम फाइनेंस के शेयरों में 4 प्रतिशत की बढ़त देखने को मिली, जिससे यह टॉप गेनर्स की सूची में शामिल हो गया। वहीं, नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनी चोलामंडलम इंवेस्टमेंट और बजाज फाइनेंस के शेयरों में 3 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि दर्ज की गई।

एक्सिस बैंक, भारतीय स्टेट बैंक, पंजाब नेशनल बैंक और आईसीआईसी बैंक के शेयरों में 2 से 3 प्रतिशत का उछाल आया, जिसके चलते बैंक निफ्टी भी 1 प्रतिशत ऊपर उठ गया। इसके अलावा, ऑटो और रियल स्टेट जैसे ब्याज दरों से प्रभावित होने वाले स्टॉक्स में भी 6 प्रतिशत तक की वृद्धि देखी गई।

यस सिक्योरिटीज: आरबीआई के बदलाव से ब्याज दरों में कटौती की संभावना

यस सिक्योरिटीज के अमर अंबानी ने कहा, "आरबीआई के रुख में यह बदलाव दिसंबर या फरवरी में ब्याज दरों में संभावित कटौती के लिए दरवाजा खोलता है, बशर्ते कि तेल जैसे बाहरी कारकों से मुद्रास्फीति संबंधी कोई झटका न लगे।

विकास या मुद्रास्फीति के पूर्वानुमानों में कोई महत्वपूर्ण बदलाव न होने के बावजूद, नीति को केवल खाद्य मुद्रास्फीति पर ध्यान केंद्रित करने के बजाय वैश्विक केंद्रीय बैंकों के साथ समन्वय में बनाए रखना उचित है। हालांकि, उन्होंने कहा कि अगले साल के दौरान कोई भी कटौती लगभग 50 बीपीएस पर मामूली रहने की उम्मीद है, क्योंकि आरबीआई ने अनौपचारिक रूप से 1.5-1.9% की पसंदीदा वास्तविक ब्याज दर सीमा का संकेत दिया है।

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