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Crizac IPO 2025: 2 जुलाई से खुलेगा ₹723 Cr का इश्यू, जानें बिजनेस मॉडल की खासियत

Crizac IPO 2025: 2 जुलाई से खुलेगा ₹723 Cr का इश्यू, जानें बिजनेस मॉडल की खासियत

अंतरराष्ट्रीय शिक्षा सेवाओं में अग्रणी Crizac Ltd का 723 करोड़ रुपये का आईपीओ 2 जुलाई से 4 जुलाई 2025 तक निवेश के लिए खुला रहेगा। कंपनी B2B एजुकेशन कंसल्टिंग सेगमेंट में सक्रिय है और हाल ही में इसके राजस्व में 33% से अधिक की वृद्धि दर्ज की गई है।

शिक्षा क्षेत्र की तेजी से उभरती हुई कंपनी Crizac Limited अपना प्रारंभिक सार्वजनिक निर्गम यानी IPO 2 जुलाई 2025 से बाजार में उतारने जा रही है। तीन दिन तक चलने वाला यह इश्यू 4 जुलाई 2025 को बंद होगा। कुल 723 करोड़ रुपये के इस इश्यू के लिए कंपनी ने प्रति शेयर प्राइस बैंड 233 रुपये से 245 रुपये के बीच तय किया है। यह पूरी तरह से ऑफर फॉर सेल यानी OFS आधारित इश्यू होगा, जिसमें मौजूदा प्रमोटर अपनी हिस्सेदारी बेचेंगे।

इश्यू की संरचना और लॉट साइज

Crizac के IPO में निवेश करने के लिए इन्वेस्टर्स को कम से कम 61 शेयरों के एक लॉट के लिए बोली लगानी होगी। इसके बाद 61 के मल्टीपल में ही निवेश किया जा सकेगा। इस इश्यू में पिंकी अग्रवाल और मनीष अग्रवाल अपनी हिस्सेदारी बेच रहे हैं। पिंकी अग्रवाल 137 करोड़ रुपये के शेयर ऑफर कर रही हैं, जबकि बाकी राशि अन्य प्रमोटर्स द्वारा बेची जाएगी। कंपनी को इस इश्यू से सीधे तौर पर कोई फंड प्राप्त नहीं होगा।

IPO मैनेजमेंट और बुक रनिंग की जिम्मेदारी

Crizac के इस इश्यू का प्रबंधन इक्विरस कैपिटल प्राइवेट लिमिटेड और आनंद राठी एडवाइजर्स लिमिटेड कर रहे हैं। ये दोनों बुक रनिंग लीड मैनेजर की भूमिका निभा रहे हैं। वहीं, इश्यू का रजिस्ट्रार MUFG Intime India Private Limited को नियुक्त किया गया है। इश्यू को बुक बिल्डिंग प्रोसेस के जरिए लाया जाएगा। इसमें 50 प्रतिशत हिस्सा QIB (Qualified Institutional Buyers) के लिए, 15 प्रतिशत NII (Non-Institutional Investors) और 35 प्रतिशत रिटेल इन्वेस्टर्स के लिए आरक्षित रखा गया है।

Crizac का कारोबार और पहुंच

Crizac Limited एक B2B एजुकेशन प्लेटफॉर्म है, जो एजुकेशन कंसल्टिंग सेक्टर में एजेंट्स और अंतरराष्ट्रीय यूनिवर्सिटीज के बीच पुल का काम करती है। कंपनी मुख्य रूप से यूनाइटेड किंगडम, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, आयरलैंड और कनाडा जैसे देशों में काम करती है। Crizac इन देशों की यूनिवर्सिटीज के लिए भारतीय और अन्य विकासशील देशों के छात्रों के रिक्रूटमेंट में सहायक भूमिका निभाती है।

अब तक Crizac ने 7.11 लाख से ज्यादा स्टूडेंट एप्लिकेशन प्रोसेस की हैं और 173 से अधिक अंतरराष्ट्रीय यूनिवर्सिटीज के साथ पार्टनरशिप की है। भारत में इसके 2,237 एक्टिव एजेंट्स हैं, जबकि विदेशों में 39 देशों में 1,711 एजेंट्स कार्यरत हैं। ये देश मुख्यतः UK, नाइजीरिया, पाकिस्तान, बांग्लादेश, नेपाल, श्रीलंका, घाना, केन्या, वियतनाम और मिस्र जैसे बाजारों में फैले हैं।

यूनिवर्सिटी पार्टनर्स की लंबी लिस्ट

Crizac का नेटवर्क जिन प्रमुख यूनिवर्सिटीज से जुड़ा है, उनमें बर्मिंघम यूनिवर्सिटी, नॉटिंघम ट्रेंट यूनिवर्सिटी, पोर्ट्समाउथ यूनिवर्सिटी, ग्लासगो कैलेडोनियन यूनिवर्सिटी, कोवेंट्री यूनिवर्सिटी, डी मोंटफोर्ट यूनिवर्सिटी, स्वानसी यूनिवर्सिटी और डंडालक इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी जैसे प्रमुख नाम शामिल हैं। इन यूनिवर्सिटीज का अंतरराष्ट्रीय शिक्षा क्षेत्र में खासा नाम है।

ऑपरेशन्स और टीम संरचना

कंपनी का मुख्यालय भारत में स्थित है, लेकिन इसकी बड़ी टीम लंदन, UK में काम कर रही है। कंपनी के पास कुल 368 कर्मचारी हैं, जिनमें 12 अंतरराष्ट्रीय कंसल्टेंट्स भी शामिल हैं। ये कंसल्टेंट्स कैमरून, चीन, घाना और केन्या जैसे देशों में सक्रिय हैं। Crizac का यह इंटरनेशनल नेटवर्क इसे अन्य B2B एजुकेशन प्लेटफॉर्म्स से अलग करता है।

वित्तीय प्रदर्शन की झलक

Crizac की वित्तीय स्थिति भी तेजी से सुधरती नजर आ रही है। वित्त वर्ष 2024-25 में कंपनी का ऑपरेटिंग रेवेन्यू 849.49 करोड़ रुपये तक पहुंच गया, जो पिछले साल 2023-24 के 634.87 करोड़ रुपये की तुलना में 33.81 प्रतिशत ज्यादा है। वहीं शुद्ध लाभ यानी PAT भी इस दौरान 28.62 प्रतिशत बढ़कर 152.93 करोड़ रुपये हो गया है, जबकि पिछले वित्त वर्ष में यह 118.90 करोड़ रुपये रहा था।

यह ग्रोथ बताती है कि कंपनी न सिर्फ रेवेन्यू बल्कि प्रॉफिटबिलिटी के मोर्चे पर भी मजबूत प्रदर्शन कर रही है।

सेक्टर की खासियत और बाजार में संभावनाएं

शिक्षा सेक्टर खास तौर पर अंतरराष्ट्रीय एजुकेशन से जुड़ा B2B सेगमेंट भारत में अभी तेजी से बढ़ रहा है। बड़ी संख्या में भारतीय छात्र विदेशों में पढ़ाई के लिए आवेदन करते हैं और यूनिवर्सिटीज को इन योग्य छात्रों तक पहुंचने के लिए ऐसे कंसल्टिंग प्लेटफॉर्म्स की जरूरत होती है। Crizac इसी जरूरत को पूरा करता है और इसका मॉडल स्केलेबल माना जा रहा है।

IPO को लेकर बाजार में चर्चा

Crizac का IPO ऐसे समय पर आ रहा है जब बाजार में तेजी का रुख है और निवेशकों की रुचि B2B और टेक-एनेबल्ड प्लेटफॉर्म्स में काफी बढ़ी है। कंपनी की मजबूत वित्तीय स्थिति, इंटरनेशनल नेटवर्क, एजुकेशन कंसल्टिंग में विशेषज्ञता और ग्लोबल पार्टनरशिप्स इसे एक अलग पहचान देती हैं।

Crizac के इस IPO को लेकर रिटेल और संस्थागत निवेशकों के बीच चर्चा शुरू हो चुकी है। इसकी ग्लोबल मौजूदगी और तेजी से बढ़ती कमाई के चलते इसे आगामी इश्यूज में एक दिलचस्प ऑप्शन माना जा रहा है।

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