उत्तर भारत के कई राज्यों में भारी बारिश और बाढ़ से जनजीवन प्रभावित हुआ है। इस बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज हिमाचल प्रदेश के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण किया और प्रभावित इलाकों में राहत एवं पुनर्वास के लिए कई अहम घोषणाएं कीं।
शिमला: उत्तर भारत के कई राज्यों में बाढ़ और बारिश के कारण जनजीवन काफी प्रभावित हुआ है। इसी बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज बाढ़ प्रभावित इलाकों का जायजा लेने के लिए हिमाचल प्रदेश पहुंचे। उन्होंने प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण किया और साथ ही एनडीआरएफ और एसडीआरएफ के कर्मियों से मुलाकात की। प्रधानमंत्री ने अपने एक्स अकाउंट पर भी इस दौरे की तस्वीरें साझा की हैं।
पीएम मोदी ने हवाई सर्वेक्षण और राहत कार्यों का लिया जायजा
प्रधानमंत्री मोदी ने मंडी और कुल्लू जिलों में बाढ़ और लैंडस्लाइड से प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण किया। इसके बाद वे कांगड़ा पहुंचे, जहां उन्होंने एनडीआरएफ और एसडीआरएफ कर्मियों से मुलाकात की और उनकी सराहना की। मोदी ने अपने आधिकारिक एक्स (पूर्व ट्विटर) अकाउंट पर तस्वीरें शेयर करते हुए लिखा,
'हवाई सर्वेक्षण के जरिए हिमाचल प्रदेश में बाढ़ और लैंडस्लाइड की स्थिति का जायजा लिया। इस कठिन समय में हम प्रदेश के अपने भाई-बहनों के साथ पूरी मजबूती से खड़े हैं। प्रभावित लोगों की मदद के लिए कोई कोर-कसर नहीं छोड़ रहे हैं।'
प्रधानमंत्री के आगमन पर राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ला, मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू और उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने उनका स्वागत किया। इसके अलावा विपक्ष के नेता जयराम ठाकुर, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष राजीव बिंदल और अन्य भाजपा विधायक भी गग्गल एयरपोर्ट पर मौजूद रहे।
पीएम मोदी ने की 1500 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता की घोषणा
पीएम मोदी ने हिमाचल प्रदेश के लिए 1500 करोड़ रुपये की वित्तीय सहायता देने की घोषणा की। इसके तहत प्रभावित लोगों और किसानों के लिए कई उपाय किए जाएंगे:
- प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत क्षतिग्रस्त घरों का पुनर्निर्माण
- राष्ट्रीय राजमार्गों और सड़क संपर्कों का जीर्णोद्धार
- स्कूलों का पुनर्निर्माण और शिक्षा के निरंतर प्रवाह के लिए जियोटैगिंग
- प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष (PMNRF) के तहत तुरंत राहत वितरण
- पशुधन के लिए मिनी किट और किसानों को अतिरिक्त सहायता
प्रधानमंत्री ने कहा कि प्रभावित क्षेत्रों में घरों, स्कूलों और इन्फ्रास्ट्रक्चर की जियोटैगिंग से सटीक नुकसान का आकलन होगा और मदद तुरंत प्रभावित लोगों तक पहुंचेगी।
मुआवजा राशि का ऐलान
पीएम मोदी ने प्रभावित परिवारों से मिलकर कहा कि इस कठिन समय में केंद्र सरकार राज्य सरकार के साथ मिलकर काम कर रही है। उन्होंने मृतकों के परिजनों के लिए 2-2 लाख रुपये और गंभीर रूप से घायलों के लिए 50,000 रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की। प्रधानमंत्री ने कहा कि वर्षा जल संचयन के लिए पुनर्भरण संरचनाओं का निर्माण किया जाएगा। इससे भूजल स्तर में सुधार होगा और बेहतर जल प्रबंधन संभव होगा। केंद्रीय दलों ने पहले ही हिमाचल प्रदेश का दौरा कर नुकसान का आकलन किया है, और रिपोर्ट के आधार पर आगे की सहायता प्रदान की जाएगी।
राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र के अनुसार, हिमाचल प्रदेश में 20 जून से 8 सितंबर 2025 तक भारी बारिश, बादल फटने और भूस्खलन से 4,122 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। इस दौरान 370 लोगों की मौत हुई, जिनमें से 205 बारिश से संबंधित घटनाओं के कारण, 43 भूस्खलन, 17 बादल फटने और 9 अचानक आई बाढ़ में हुई। इसके अलावा 41 लोग अभी भी लापता हैं और सड़क दुर्घटनाओं में 165 मौतें हुई।