WAAREE Energies ने शुक्रवार को बाजार बंद होने के बाद जानकारी दी कि उसकी अनुषंगी इकाई को अमेरिका से 540 मेगावॉट सोलर मॉड्यूल की आपूर्ति का एक बड़ा ऑर्डर प्राप्त हुआ है।
सोलर एनर्जी सेक्टर की जानी-मानी कंपनी WAAREE Energies को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। शुक्रवार को शेयर बाजार बंद होने के बाद कंपनी ने एक्सचेंज को सूचित किया कि उसकी पूर्ण स्वामित्व वाली सहायक कंपनी Waaree Solar Americas Inc. को अमेरिका से 540 मेगावॉट के सोलर मॉड्यूल की आपूर्ति का ऑर्डर मिला है। यह ऑर्डर अमेरिका के एक बड़े यूटिलिटी-स्केल सोलर और एनर्जी स्टोरेज प्रोजेक्ट डेवलपर और ऑपरेटर से मिला है, जिसे दो चरणों में पूरा किया जाएगा।
ऑर्डर की डिटेल और आपूर्ति का टाइमलाइन
WAAREE Energies ने अपनी आधिकारिक फाइलिंग में बताया कि यह ऑर्डर 27 जून 2025 को मिला है। इसके तहत कंपनी की अमेरिकी सब्सिडियरी को कुल 540 मेगावॉट के सोलर मॉड्यूल की सप्लाई करनी है। सप्लाई दो चरणों में होगी: पहला चरण साल 2025 के दौरान पूरा किया जाएगा, जिसमें 270 मेगावॉट की मॉड्यूल डिलीवरी की जाएगी। वहीं दूसरा चरण 2027 से 2028 के बीच पूरा किया जाएगा, जिसमें बाकी 270 मेगावॉट की डिलीवरी की योजना है।
इस ऑर्डर को लेकर बाजार और एनर्जी सेक्टर में खासा उत्साह देखा जा रहा है, क्योंकि अमेरिका की यूटिलिटी-स्केल परियोजनाओं में भारतीय कंपनियों की भागीदारी बढ़ती जा रही है।
बढ़ता कारोबार, बढ़ती कमाई
WAAREE Energies ने हाल ही में मार्च 2025 में समाप्त तिमाही के नतीजे भी घोषित किए थे। इसमें कंपनी ने साल-दर-साल आधार पर 36.4 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 4,003.9 करोड़ रुपये की आय दर्ज की है, जो पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में 2,935.8 करोड़ रुपये थी।
इतना ही नहीं, कंपनी का शुद्ध मुनाफा भी 34.1 प्रतिशत बढ़कर 618.9 करोड़ रुपये पर पहुंच गया है, जो कि बीते वर्ष की इसी अवधि में 461.5 करोड़ रुपये था। इस प्रदर्शन से यह साफ है कि कंपनी अपने मौजूदा कारोबार को तेजी से बढ़ा रही है और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में भी पैर जमा रही है।
शेयर का हाल और बीते वर्ष की चाल
शुक्रवार को कंपनी का शेयर मामूली 0.19 फीसदी की गिरावट के साथ 2,941.30 रुपये पर बंद हुआ। हालांकि, यह गिरावट बाजार की सामान्य चाल का हिस्सा मानी जा रही है, क्योंकि ऑर्डर की खबर बाजार बंद होने के बाद सामने आई। इस वजह से सोमवार को शेयर पर निवेशकों की नजरें टिकी रहेंगी और इसमें हलचल देखी जा सकती है।
पिछले एक साल में वॉरी एनर्जीज के शेयर ने 25.76 फीसदी की तेजी दर्ज की है। यह दर्शाता है कि निवेशकों का कंपनी में भरोसा बना हुआ है, खासकर तब जब कंपनी लगातार विदेशों में ऑर्डर हासिल कर रही है।
अमेरिका से मिला यह ऑर्डर क्यों खास है
सोलर इंडस्ट्री में अमेरिका एक बड़ा बाजार है और वहां की यूटिलिटी-स्केल परियोजनाओं में गुणवत्ता, टेक्नोलॉजी और भरोसे को सबसे ज्यादा तवज्जो दी जाती है। ऐसे में वॉरी एनर्जीज की सब्सिडियरी को वहां से एक बड़ा ऑर्डर मिलना कंपनी की अंतरराष्ट्रीय स्वीकार्यता को दर्शाता है।
यह ऑर्डर ऐसे समय में आया है जब अमेरिका और यूरोप में ग्रीन एनर्जी पर फोकस बढ़ रहा है और कार्बन उत्सर्जन को कम करने के लिए सोलर और विंड एनर्जी जैसे विकल्पों को तेज़ी से अपनाया जा रहा है। भारत की कंपनियां भी इस मौके का फायदा उठाने के लिए अपने प्रोडक्ट्स और सेवाओं को ग्लोबल स्टैंडर्ड पर तैयार कर रही हैं।
कंपनी का वैश्विक विस्तार
WAAREE Energies भारत की अग्रणी सोलर कंपनियों में से एक है, जो सोलर मॉड्यूल मैन्युफैक्चरिंग से लेकर EPC (Engineering, Procurement, Construction) प्रोजेक्ट्स तक में काम करती है। कंपनी का विस्तार अब सिर्फ घरेलू बाजार तक सीमित नहीं है, बल्कि इसका फोकस अब अमेरिका, यूरोप, अफ्रीका और मिडिल ईस्ट जैसे ग्लोबल मार्केट्स पर भी है।
Waaree Solar Americas Inc. के जरिए कंपनी ने अमेरिकी बाजार में अपनी मजबूत उपस्थिति दर्ज कराई है और इस ऑर्डर के साथ यह उपस्थिति और मजबूत होने की उम्मीद की जा रही है।
रेवेन्यू बढ़ाने में मिल सकता है बड़ा सहारा
कंपनी के अनुसार यह नया ऑर्डर न सिर्फ उसे विदेशी राजस्व बढ़ाने में मदद करेगा, बल्कि वैश्विक ग्राहकों के साथ उसके संबंधों को और मजबूती भी देगा। 2025 की डिलीवरी के पहले चरण से कंपनी की आगामी तिमाहियों में आय और मुनाफे पर सीधा असर पड़ सकता है।
इस डील के बाद कंपनी को अन्य अंतरराष्ट्रीय ऑर्डर्स मिलने की संभावना भी बढ़ सकती है, क्योंकि अमेरिका जैसे बाजारों में सफलता हासिल करना कंपनियों की साख बढ़ाने में काफी मदद करता है।
क्लीन एनर्जी पर केंद्रित नीति का असर
भारत सरकार की ओर से भी पिछले कुछ वर्षों में क्लीन एनर्जी को लेकर गंभीर प्रयास किए गए हैं। प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (PLI) स्कीम, घरेलू मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा और एक्सपोर्ट में सहूलियत जैसे कदमों से कंपनियों को बड़ा फायदा मिल रहा है। WAAREE Energies जैसी कंपनियों ने इसका पूरा लाभ उठाते हुए देश के साथ-साथ विदेशों में भी तेजी से पैर फैलाए हैं।
अब अमेरिका से मिले इस ऑर्डर ने न सिर्फ कंपनी की वैश्विक क्षमता को उजागर किया है, बल्कि यह संकेत भी दिया है कि भारतीय कंपनियां ग्रीन एनर्जी की ग्लोबल रेस में पीछे नहीं हैं।
बाजार की निगाहें बनी रहेंगी वॉरी एनर्जीज पर
सोमवार को जब बाजार खुलेगा, तब वॉरी एनर्जीज के शेयर पर निवेशकों और ट्रेडर्स की खास नजर रहेगी। अमेरिका से मिले ऑर्डर की प्रतिक्रिया और कंपनी के भविष्य के संकेत इस बात को तय करेंगे कि शेयर किस दिशा में रुख करेगा। फिलहाल तो इतना तय है कि इस डील ने कंपनी के ग्लोबल फुटप्रिंट को और मजबूत बना दिया है।