दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता राजस्थान के रणथंभौर में बैठक करेंगे। इस बैठक में अरविंद केजरीवाल के मुख्यमंत्री पद छोड़ने के बाद दिल्ली की बदलती राजनीतिक परिस्थितियों पर चर्चा की जाएगी। इसके अलावा, आगामी विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा की रणनीति पर भी विचार किया जाएगा।
Delhi: दिल्ली विधानसभा चुनाव में अब पांच महीने से भी कम समय बचा है, और सभी राजनीतिक दल चुनावी तैयारी में जुट गए हैं। पार्टियां अपनी रणनीति बनाने के साथ-साथ जनता के बीच सक्रिय रूप से पहुंच बना रही हैं। इसी बीच अरविंद केजरीवाल के मुख्यमंत्री पद छोड़ने से दिल्ली की राजनीतिक परिस्थितियों में बड़ा बदलाव आया है। यह परिवर्तन चुनावी समीकरणों को प्रभावित कर सकता है, और राजनीतिक दल अब नई परिस्थितियों के अनुसार अपनी योजनाएं बना रहे हैं।
भाजपा की आगामी बैठक राजस्थान में
भाजपा के रणनीतिकार आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव को लेकर 28 और 29 सितंबर को राजस्थान के रणथंभौर में बैठक करेंगे। इस बैठक में नई रणनीति पर मंथन किया जाएगा। अरविंद केजरीवाल के मुख्यमंत्री पद छोड़ने और पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की जेल से बाहर आने के बाद, आम आदमी पार्टी (आप) को राजनीतिक रूप से नई ऊर्जा मिली है। केजरीवाल ने अपने पद छोड़ने के बाद भाजपा नेतृत्व पर लगातार आक्रमण तेज कर दिया है, जिससे भाजपा के लिए चुनावी मुकाबला और चुनौतीपूर्ण हो गया है। भाजपा इस नई परिस्थिति को ध्यान में रखते हुए अपनी रणनीति को मजबूत करने पर विचार कर रही है।
केजरीवाल की राजनीतिक रणनीति
अरविंद केजरीवाल ने जंतर-मंतर पर जनता अदालत लगाकर चुनाव प्रचार की एक तरह से शुरुआत कर दी है। इस अभियान के तहत वह दिल्लीवासियों को यह बताने का प्रयास कर रहे हैं कि भाजपा उन्हें और उनके साथियों को झूठे मामलों में फंसाने की कोशिश कर रही है। उनके आक्रामक रुख ने आम आदमी पार्टी (आप) के कार्यकर्ताओं में उत्साह भर दिया है। दूसरी ओर, भाजपा ने भी आप नेताओं को जवाब देने और दिल्ली के मतदाताओं को अपनी ओर आकर्षित करने के लिए कई कार्यक्रम शुरू किए हैं।
70 विधानसभा सीटों को लेकर अभियान जारी
भाजपा ने आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए सभी 70 विधानसभा क्षेत्रों को लेकर एक विस्तृत योजना बनाने का निर्णय लिया है। पार्टी ने आम आदमी पार्टी (आप) के मजबूत गढ़ माने जाने वाले झुग्गी बस्तियों में विस्तारक अभियानों को तेज कर दिया है। इसके साथ ही, दूसरे राज्यों के नेताओं को भी दिल्ली के सभी विधानसभा क्षेत्रों में तैनात किया गया है।
लोगों की समस्याओं को सुनने के लिए जनता दरबार लगाने की घोषणा की गई है, जिससे पार्टी स्थानीय मुद्दों को समझ सके। सभी विधानसभा क्षेत्रों में नागरिकों से मुद्दे पूछने के लिए अभियान चलाया जा रहा है। इन विस्तारकों और आम नागरिकों से मिले सुझावों पर 28 और 29 सितंबर को रणथंभौर में होने वाली बैठक में विस्तार से चर्चा की जाएगी।
भाजपा की विस्तारित कोर कमेटी की बैठक
भाजपा की आगामी बैठक एक विस्तारित कोर कमेटी की बैठक के रूप में आयोजित की जाएगी, जिसमें पार्टी के बड़े नेता शामिल होंगे। इस बैठक में प्रदेश अध्यक्ष, तीनों प्रदेश महामंत्री, संगठन महामंत्री, भारतीय जनता युवा मोर्चा और महिला मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष, राष्ट्रीय भाजपा में शामिल दिल्ली के नेता, दिल्ली के सातों सांसद, विधायक, पूर्व सांसद सहित लगभग 30 वरिष्ठ नेता शामिल होंगे।
बैठक का एक उद्देश्य यह भी है कि सभी नेता दो दिनों तक संगठन और चुनाव की रणनीति पर गहन चर्चा कर सकें। दिल्ली से बाहर यह बैठक आयोजित करने से नेताओं को ध्यान केंद्रित करने और महत्वपूर्ण मुद्दों पर विचार करने का अवसर मिलेगा।