फर्जी दस्तावजे का इस्तेमाल कर पायी सिपाही की नौकरी, दोनों आरोपियों को किया गिरफ्तार

फर्जी दस्तावजे का इस्तेमाल कर पायी सिपाही की नौकरी, दोनों आरोपियों को किया गिरफ्तार
Last Updated: 02 जुलाई 2023

उत्तर प्रदेश पुलिस एवं परीक्षा बोर्ड की तरफ से 2018 में जो भर्ती परीक्षा आयोजित कराई गयी थी, उसमे दो सिपाहियों ने फर्जी प्रमाण पत्र के सहारे सिपाही की नौकरी को अपने नाम कर लिया। इसके बाद दोनों आरोपियों को कौशांबी और कानपुर PAC में पोस्टिंग भी मिल गई। इस बीच फर्जी जाति प्रमाण पत्र लगाकर बोर्ड के साथ धोखाधड़ी करने के आरोप में दोनों सिपाहियों के खिलाफ एक शिकायती पत्र भर्ती बोर्ड को मिला। इस लेटर के आधार पर मामले की जांच की गयी और पुरे मामले का खुलासा हुआ | CO सैय्यद मोहम्मद असगर के आदेश पर दोनों के खिलाफ हुसैनगंज थाना में धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया।

एक शिकायती पत्र से हुआ खुलासा, दोनों की नियुक्त रद्द

CO सैय्यद मोहम्मद असगर ने आर्डर दिया की फर्जी जाति प्रमाण पत्र लगाकर सिपाही की नौकरी पाने वाले दोनों युवको की नियुक्ति तुरंत रद्द की जाये और दोनों के खिलाफ FIR भी दर्ज की गयी। साल 2018 में पुलिस भर्ती परीक्षा में कानपुर नगर के चकेरी निवासी अमन कुमार और चकेरी न्यू आजाद नगर निवासी अमित कुमार दोनों ने ही फर्जी दस्तावजे का इस्तेमाल करके अपनी लिखित परीक्षा को पास की और फिजिकल को पार करने के बाद दोनों को नियुक्ति भी दे दी गयी थी। अमन कुमार ने लिखित और शारीरिक परीक्षा पास करने के बाद कौशांबी में ड्यूटी ज्वाइन कर ली। वहीं, अमित कुमार का 37वीं वाहिनी कानपुर पीएसी में प्रशिक्षण शुरू हो गया था।

दोनों आरोपी बिलकुल चिंतामुक्त हो गए थे, लेकिन इसी  बीच नरेंद्र कुमार उर्फ बाबा नाम के एक युवक का शिकायती पत्र भर्ती बोर्ड को मिला। जिसमें अमित और अमन के खिलाफ फर्जी दस्तावेजों का इस्तेमाल करके नौकरी पाने का आरोप था, पत्र के आधार पर पुरे मामले की जांच की गयी और पाया की यह बिलकुल सच हैं और दोनों ही युवको के दस्तावेजों बिलकुल फर्जी है । जब दोनों युवको के प्रमाण पत्रों को जांच कराई गई तो राजस्व निरीक्षक और लेखपाल ने उसके फर्जी होने की पुष्टि की। पुलिस दोनों ही युवको के खिलाफ जल्द ही कड़ी कार्यवाही करेगी |

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