अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने 2 अप्रैल से भारत पर रेसिप्रोकल टैरिफ लगाने का ऐलान किया। इस पर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा कि यह पहले से अपेक्षित था, कोई हैरानी नहीं।
Trade War: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Trump Tariff Plan) ने हाल ही में भारत समेत कई देशों पर रेसिप्रोकल टैरिफ लगाने की घोषणा की है। इस फैसले पर विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अमेरिका की नीतियों में यह बदलाव पहले से अपेक्षित था और इसमें कोई हैरानी की बात नहीं है। लंदन में एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने अमेरिका की विदेश नीति और वैश्विक परिदृश्य पर अपनी राय रखी।
अमेरिकी नीतियों में बदलाव पहले से तय था: जयशंकर
लंदन में एक कार्यक्रम के दौरान विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अमेरिका की विदेश नीति में हो रहे बदलावों पर बात की। उन्होंने कहा, "अगर आप राजनीति को समझते हैं तो आपको पता होगा कि नेता अपने चुनावी वादों को पूरा करने का प्रयास करते हैं। वे हमेशा पूरी तरह सफल नहीं होते, लेकिन उनके फैसलों में एक स्पष्टता होती है। अमेरिका जो कर रहा है, वह पूरी तरह से अपेक्षित था, इसलिए इस पर आश्चर्य नहीं होना चाहिए।"
जयशंकर ने आगे कहा कि पिछले कुछ हफ्तों में ट्रंप प्रशासन ने जो भी निर्णय लिए हैं, वे किसी को चौंकाने वाले नहीं होने चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि कुछ लोग इस पर अनावश्यक रूप से आश्चर्यचकित हो रहे हैं, जबकि यह बदलाव पहले से ही अनुमानित थे।
ट्रंप-जेलेंस्की विवाद पर भी दिया बयान
हाल ही में अमेरिका में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की के बीच तीखी बहस देखने को मिली थी। इस पर प्रतिक्रिया देते हुए जयशंकर ने कहा, "यूरोप को अब यह समझने की जरूरत है कि उनकी समस्या केवल उनकी नहीं है, बल्कि यह वैश्विक समस्या बन सकती है। लेकिन अक्सर वे यह सोचते हैं कि उनकी समस्याएं दुनिया की समस्याएं हैं, जबकि वैश्विक मुद्दे उनकी चिंता का विषय नहीं होते।"
उन्होंने कहा कि वैश्विक राजनीति में संतुलन बनाए रखना जरूरी है और अंतरराष्ट्रीय संबंधों में पारदर्शिता महत्वपूर्ण है।
भारत-चीन संबंधों पर क्या बोले जयशंकर?
भारत और चीन के बीच संबंधों को लेकर पूछे गए सवाल पर विदेश मंत्री ने कहा कि दोनों देशों के बीच संबंध ऐतिहासिक और अनोखे हैं। उन्होंने कहा, "हम दोनों दुनिया की सबसे बड़ी आबादी वाले देश हैं और हमारे संबंधों का एक लंबा इतिहास है, जिसमें समय के साथ कई उतार-चढ़ाव आए हैं।"
जयशंकर ने यह भी स्पष्ट किया कि भारत अपने राष्ट्रीय हितों को प्राथमिकता देता है और चीन के साथ संतुलित संबंध बनाए रखना चाहता है।
ब्रिटेन-आयरलैंड दौरे पर हैं जयशंकर
गौरतलब है कि विदेश मंत्री एस. जयशंकर ब्रिटेन-आयरलैंड के छह दिवसीय आधिकारिक दौरे पर हैं। इस दौरान वे कई उच्च स्तरीय बैठकों में हिस्सा लेंगे और भारत की विदेश नीति, व्यापारिक समझौतों और वैश्विक संबंधों को लेकर बातचीत करेंगे। उनका यह दौरा भारत के कूटनीतिक प्रयासों को और मजबूती देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।