हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश और बादल फटने से अब तक 78 लोगों की जान जा चुकी है। मंडी, चंबा और ऊना में बाढ़ जैसे हालात हैं। 243 सड़कें बंद, प्रशासन अलर्ट पर है।
Himachal Flood: हिमाचल प्रदेश में पिछले कुछ दिनों से लगातार हो रही बारिश ने तबाही मचा दी है। कई जिलों में बादल फटने, बाढ़ और भूस्खलन की घटनाएं सामने आ चुकी हैं। अब तक 78 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है और कई लोग लापता बताए जा रहे हैं। राज्य के विभिन्न हिस्सों में सड़कें बंद हैं, पुल बह गए हैं और लाखों की संपत्ति का नुकसान हुआ है।
चंबा और मंडी में बादल फटने की घटनाएं
रविवार को चंबा जिले की बघेईगढ़ पंचायत के कंगेला नाला और टिकरीगढ़ पंचायत के बंधा नाला में बादल फटने की घटना हुई। इसके अलावा मंडी की चौहार घाटी की सिल्हबुधाणी पंचायत के कोरतंग गांव में शनिवार रात बादल फटने से बाढ़ जैसे हालात बन गए।
इन घटनाओं के चलते चंबा और मंडी जिले में कुल पांच पुल बह गए। इससे कई गांवों का संपर्क पूरी तरह कट गया। नकरोड़-चांजू मार्ग पर बना पुल बहने से इलाके की यातायात व्यवस्था बुरी तरह प्रभावित हुई है।
मंडी में आधी रात को मची अफरा-तफरी
कोरतंग गांव में शनिवार देर रात अचानक बाढ़ आ गई। ग्रामीणों ने पानी और पत्थरों की तेज आवाजें सुनीं तो तुरंत घरों से बाहर निकलकर जान बचाई। बाढ़ में चार फुटब्रिज और लोक निर्माण विभाग की एक पुलिया बह गई। यहां की उपजाऊ जमीन भी बर्बाद हो गई। सिल्ह, बुधाणी और कोरतंग के कई मकानों को भी नुकसान पहुंचा है। छह मकान पूरी तरह खतरे की जद में हैं।
ऊना जिले में बाढ़ जैसे हालात
जिला ऊना में हालात गंभीर बने हुए हैं। भारी बारिश के कारण कई सड़कें पानी में डूब गई हैं और घरों के अंदर पानी भर गया है। नंगल सलांगड़ी के एक उद्योग में जलभराव होने से 45 मजदूर फंस गए थे, जिन्हें अग्निशमन विभाग और होमगार्ड की टीम ने सुरक्षित बाहर निकाला।
झलेड़ा गांव में एक पेट्रोल पंप जलमग्न हो गया है। गगरेट क्षेत्र के कई उद्योगों में भी पानी भर गया, जिससे करोड़ों रुपये का नुकसान हुआ है। ऊना में प्रशासन पूरी तरह अलर्ट पर है और राहत कार्य जारी हैं।
शवों की बरामदगी और लापता लोग
हमीरपुर जिले के बड़सर क्षेत्र की शुक्र खड्ड में एक महिला पानी में बह गई। इस खड्ड में राशन से भरा एक ट्रक भी फंस गया है। वहीं, सुजानपुर के पास गांव बजाहर के निकट ब्यास नदी में एक 14-15 वर्षीय किशोरी का शव मिला है। प्रशासन को आशंका है कि यह शव मंडी जिले से बहकर आया हो सकता है।
243 सड़कें अभी भी बंद
हिमाचल प्रदेश में बारिश और भूस्खलन के कारण कुल 243 सड़कें बंद पड़ी हैं। मंडी जिले में सबसे अधिक 183 सड़कें बाधित हैं। कुल्लू में 36, कांगड़ा में 12, ऊना में 6, चंबा में 4 और सिरमौर में 2 सड़कें अब भी यातायात के लिए बंद हैं। इससे आम जनता और पर्यटकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
बिजली और पानी की आपूर्ति पर भी असर
भारी बारिश और भूस्खलन के कारण प्रदेश में कई ट्रांसफॉर्मर खराब हो गए हैं। मंडी में 182, ऊना में 41, किन्नौर में 12, कुल्लू और चंबा में तीन-तीन ट्रांसफॉर्मर प्रभावित हुए हैं। इसके अलावा राज्य की 278 पेयजल योजनाएं भी बाधित हैं, जिससे पानी की भारी किल्लत हो रही है।
मौसम विभाग ने फिर जारी किया अलर्ट
भारतीय मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि हिमाचल प्रदेश में आने वाले दिनों में मौसम और खराब हो सकता है। सोमवार 7 जुलाई को चंबा और कुल्लू जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया गया है। वहीं, राज्य के अन्य जिलों के लिए ऑरेंज अलर्ट घोषित किया गया है। केवल लाहुल-स्पीति और किन्नौर को इस चेतावनी से फिलहाल बाहर रखा गया है। बाढ़ और भूस्खलन की आशंका को देखते हुए प्रशासन ने सभी जिला अधिकारियों को सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं। लोगों को नदी-नालों के पास न जाने की सलाह दी गई है।
राहत और बचाव कार्य तेज
राज्य सरकार और जिला प्रशासन प्रभावित इलाकों में राहत और बचाव कार्य में जुटा है। एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें मौके पर तैनात हैं। हेलिकॉप्टर के जरिए राहत सामग्री पहुंचाई जा रही है। प्राथमिकता उन गांवों को दी जा रही है जो पूरी तरह से कट गए हैं।