बिहार सरकार किसानों की सुविधा और कृषि को बढ़ावा देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाने जा रही है। राज्य सरकार प्रखंड कृषि अधिकारियों (बीएओ) को अधिक स्वायत्तता देने की योजना बना रही है। अब बीएओ के सुपरवाइजर प्रखंड विकास अधिकारी (बीडीओ) के बजाय जिला कृषि अधिकारी होंगे। इस परिवर्तन से बीएओ को अपने कार्यों में बढ़ती स्वतंत्रता प्राप्त होगी।
पटना: किसानों की सुविधा और खेती-किसानी को बढ़ावा देने के उद्देश्य से सरकार प्रखंडों में तैनात प्रखंड कृषि अधिकारियों (बीएओ) को और अधिक स्वतंत्रता और शक्तिशाली बनाने की योजना बना रही है। अब बीएओ के नियंत्रक अधिकारी (बॉस) प्रखंड विकास अधिकारी (बीडीओ) नहीं रहेंगे।
इसके बजाय, जिला कृषि अधिकारियों को बीएओ का नियंत्रक अधिकारी बनाने की तैयारी की जा रही है। कृषि विभाग ने इसके लिए प्रस्ताव तैयार कर लिया है। सामान्य प्रशासन विभाग की मंजूरी के बाद इसे ग्रामीण विकास विभाग से सुझाव प्राप्त करने के लिए भेजा गया है। असल में, ग्रामीण विकास अधिकारी (आरडीओ) और राजस्व अधिकारी (अंचल निरीक्षक) ग्रामीण और राजस्व सेवा में नियुक्त किए जाते हैं। ये दोनों बीएओ के समकक्ष अधिकारी हैं। तीनों का वेतनमान और सेवा संवर्ग समान है।
बिहार में बीएओ पदों के लिए नए सुधार की तैयारी
तीन श्रेणी के अधिकारियों की नियुक्ति लंबे समय से 4600 ग्रेड पे और लेवल-7 श्रेणी में होती रही है। ये सभी पर्यवेक्षीय सेवा संवर्ग में चयनित होते हैं, लेकिन ग्रामीण विकास अधिकारी और राजस्व अधिकारी अब राजपत्रित अधिकारी घोषित कर दिए गए हैं। इसके विपरीत, बीएओ (ब्लॉक कृषि अधिकारी) इस प्रक्रिया से बाहर रह गए हैं। नियमावली में विसंगतियों और संशोधनों की कमी के कारण बीएओ की स्थिति कमजोर हो गई है।
शुरुआत में जब प्रखंडों की संरचना स्थापित की गई थी, तब बिहार प्रशासनिक सेवा के एडीएम रैंक के अधिकारी बीडीओ और सीओ के रूप में नियुक्त किए जाते थे। बाद में, सेवा नियमावली में संशोधन कर राजस्व सेवा से राजस्व अधिकारियों (अंचल निरीक्षण) और ग्रामीण विकास अधिकारियों को प्रोन्नत करके सीओ और बीडीओ का दायित्व सौंपा गया। हालांकि, बीएओ के पद को अपग्रेड नहीं किया गया, जिससे विसंगति उत्पन्न हुई। अब इस मामले में संशोधन करने की प्रक्रिया शुरू की जा रही है।
बिहार, डीसीएलआर और भू अर्जन पदों पर बिप्रसे अधिकारियों की नियुक्ति का विरोध
बिहार राजस्व सेवा संघ यूनाइटेड ने इस संवर्ग के लिए निर्धारित पदों पर बिहार प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों की तैनाती का विरोध किया है। रविवार को आयोजित बैठक में बताया गया कि डीसीएलआर और जिला भू अर्जन पदाधिकारियों के पद पर बिप्रसे के अधिकारियों की नियुक्ति के खिलाफ शीघ्र ही सरकार को ज्ञापन सौंपा जाएगा।
बैठक की अध्यक्षता संघ के अध्यक्ष कुंदन कुमार लाल ने की। उन्होंने कहा कि राजस्व सेवा संघ के अधिकारियों की तैनाती में मनमानी की जा रही है, जबकि एक साल पहले मिली प्रोन्नति के कारण इस संवर्ग के अधिकारी उच्चतर पदों पर नियुक्ति के लिए योग्य हो गए हैं। बैठक में संघ के उपाध्यक्ष शिवशंकर गुप्ता, महासचिव प्रवीण कुमार पांडेय सहित अन्य अधिकारी भी उपस्थित रहे।