Delhi Chunav 2025: दिल्ली की यह सीट बनी भाजपा के लिए चुनौती, कांग्रेस-आप का रहा है वर्चस्व, जानिए पूरी जानकारी 

Delhi Chunav 2025: दिल्ली की यह सीट बनी भाजपा के लिए चुनौती, कांग्रेस-आप का रहा है वर्चस्व, जानिए पूरी जानकारी 
Last Updated: 16 घंटा पहले

मालवीय नगर विधानसभा सीट पर भाजपा, आप और कांग्रेस के बीच कड़ा मुकाबला है। भाजपा 1993 में जीती, लेकिन 1998 से कांग्रेस और 2013 से आप का दबदबा है।

Delhi Chunav 2025: मालवीय नगर विधानसभा सीट पर इस बार भाजपा, कांग्रेस और आम आदमी पार्टी (आप) ने अपनी पूरी ताकत झोंक दी है। भाजपा ने 1993 में हुए पहले चुनाव में जीत हासिल की थी, लेकिन इसके बाद पार्टी यहां अपनी पकड़ खोती रही। कांग्रेस ने तीन बार लगातार जीत दर्ज की, जबकि 2013 से इस सीट पर आम आदमी पार्टी का दबदबा है।

भाजपा के लिए चुनौतियां, आप का दबदबा बरकरार

मालवीय नगर विधानसभा सीट पर भाजपा ने 1993 में पहला चुनाव जीता था। उस समय भाजपा के राजेंद्र गुप्ता ने कांग्रेस के डॉ. योगानंद शास्त्री को महज 258 वोटों के अंतर से हराया था। गुप्ता को 19,319 और शास्त्री को 19,061 वोट मिले थे। इसके बाद से भाजपा यहां वापसी नहीं कर सकी।

कांग्रेस ने 1998, 2003 और 2008 में लगातार तीन बार जीत दर्ज की। 2013 से आप के सोमनाथ भारती यहां से लगातार तीन बार विधायक बने हैं। अब भाजपा और कांग्रेस अपनी खोई हुई जमीन वापस पाने के लिए संघर्ष कर रही हैं, जबकि आप चौथी बार जीत हासिल करने की कोशिश में है।

उम्मीदवारों का समीकरण

इस बार भाजपा और कांग्रेस ने अपने उम्मीदवार बदले हैं।

भाजपा: सतीश उपाध्याय को मैदान में उतारा गया है।
कांग्रेस: जितेंद्र कुमार कोचर को प्रत्याशी बनाया गया है।
आप: चौथी बार सोमनाथ भारती को उम्मीदवार बनाया गया है।

पिछले चुनाव में भाजपा और कांग्रेस को उम्मीदवार बदलने के बावजूद कोई खास फायदा नहीं मिला। भाजपा 1998 से लगातार दूसरे नंबर पर रही है। कांग्रेस की स्थिति पिछले तीन चुनावों में और खराब हुई है।

2020 के चुनाव में किसे कितने वोट मिले?

2020 के विधानसभा चुनाव में आप के सोमनाथ भारती ने 57.97% वोट हासिल किए थे।

भाजपा के शैलेंद्र सिंह को 37.76% वोट मिले।
कांग्रेस को सिर्फ 3.18% वोट हासिल हुए।
इससे साफ है कि कांग्रेस का प्रभाव लगातार कमजोर होता जा रहा है, जबकि भाजपा दूसरे स्थान पर बनी हुई है।

कांग्रेस का इतिहास और चुनौतियां

कांग्रेस के डॉ. योगानंद शास्त्री ने इस सीट से दो बार जीत दर्ज की थी। वह दिल्ली विधानसभा के स्पीकर और दिल्ली सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं। हालांकि, 2013 के बाद से कांग्रेस इस सीट पर संघर्ष कर रही है।

भाजपा का प्रदर्शन और उम्मीदवार बदलाव

भाजपा ने पिछले छह चुनावों में कई बार उम्मीदवार बदले, लेकिन कोई भी जीत नहीं दिला सका।

1998: राजेंद्र गुप्ता
2003: मोनिका अरोड़ा
2008: रामभज
2013: आरती मेहरा
2015: नंदनी शर्मा
2020: शैलेंद्र सिंह

इस बार सतीश उपाध्याय को टिकट दिया गया है। देखना होगा कि यह बदलाव भाजपा को फायदा पहुंचा पाता है या नहीं।

क्या कहते हैं समीकरण?

मालवीय नगर सीट पर भाजपा और कांग्रेस अपनी खोई जमीन वापस पाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। वहीं, आप ने लगातार जीत के बाद अपनी स्थिति मजबूत कर रखी है। यह देखना दिलचस्प होगा कि इस बार किसके सिर जीत का ताज सजेगा।

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