देश भर में TRAI ने मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी नियमों में बदलाव किये हैं। आज से यानि 1 जुलाई 2024 से SIM Swap को लेकर नियम लागू किया जा रहा हैं। बता दें कि TRAI ने दूरसंचार मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी (9वां संशोधन) विनियम, 2024 इस वर्ष 14 मार्च को जारी कर दिया था।
New Delhi: केंद्र सरकार ने धोखाधड़ी वाले SIM Swap को रोकने के लिए नए नियम लागू करते हुए Cyber Crime के खिलाफ एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। इसके दौरान भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (Telecom Regulatory Authority of India) के मुताबिक, मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी(9 वां संशोधन) विनिमय, 2024 के नए संशोधन में जारी नियमों में कई बदलाव किए गए। जो आज यानी 1 जुलाई 2024 से लागू होंगे। subkuz.com लेकर आया है इन नियमों की जानकारी......
नियमों में किये गए बदलाव
बता दें कि TRAI द्वारा 14 मार्च, 2024 को जारी किए गए दूरसंचार मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी (9वां संशोधन) नियम आज से लागू होंगे। दरअसल, मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी नियमों में ये बदलाव SIM Swap और रिप्लेसमेंट से जुड़ी धोखाधड़ियों को समाप्त करने के लिए किया गया है।
इस बदलाव के तहत बताया कि SIM Swap के बाद मोबाइल नंबर पोर्ट करने की वेटिंग पीरिड को 10 दिनों से घटाकर 7 दिन का कर दिया है। इससे पहले, SIM Swap के बाद 10 दिन की वेटिंग पीरिड लागू थी, लेकिन भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (Telecom Regulatory Authority of India) ने दूरसंचार मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी (9वां संशोधन) विनियम, 2024 में नए संशोधन में लागू किए नियमों के तहत इसे घटाकर 7 दिन कर दिया है।
SIM Swap क्या है?
TRAI के मुताबिक, SIM Swap या रिप्लेसमेंट का मतलब ऐसी प्रक्रिया से है, जिसमें पुरानी सिम खोने या काम न करने पर एक नई SIM खरीदा जाता है। इस सिम को पुराने सिम वाले नंबर पर ही ग्राहक को दिया जाता है। इस दौरान ग्राहक मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी नियमों के साथ एक सर्विस प्रोवाइडर से दूसरे में बिना नंबर बदले स्विच कर सकते हैं। बताया जा रहा है कि आज के दौर में SIM Swap फ्रॉड काफी हद तक बढ़ गए हैं, सरकार ने यह कदम उठाया है।
SIM को लेकर पहले भी हो चुके बदलाव
subkuz.com को मिली जानकारी के अनुसार, मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी प्रक्रिया को लेकर ट्राई ने दूरसंचार मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी विनियम, 2009 में समय समय पर बदलाव किये हैं। बता दें कि इस दूरसंचार मोबाइल नंबर पोर्टेबिलिटी विनियम, 2009 में अब तक 8 बार संशोधन किया जा चुकें है। इस बार का यह 9वा संशोधन जारी किया गया है।