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इनकम टैक्स रिफंड अभी तक नहीं मिला? जानें देरी के 5 मुख्य कारण

इनकम टैक्स रिफंड अभी तक नहीं मिला? जानें देरी के 5 मुख्य कारण

कई टैक्सपेयर्स ने जून और जुलाई 2025 में अपना Income Tax Return (ITR) फाइल किया, लेकिन उन्हें अब तक इनकम टैक्स रिफंड नहीं मिला है। रिफंड में देरी के प्रमुख कारणों में बैंक विवरण में त्रुटि, आय विवरण का मिलान न होना और ITR में गलतियां शामिल हैं। टैक्सपेयर्स ऑनलाइन रिफंड स्टेटस चेक कर सकते हैं।

ITR Refund: जून और जुलाई 2025 में ITR फाइल करने वाले कई टैक्सपेयर्स को अब तक इनकम टैक्स रिफंड नहीं मिला है। देरी के पीछे मुख्य कारणों में आय विवरण का मिलान न होना, बैंक अकाउंट जानकारी में त्रुटि और ITR में तकनीकी गलतियां शामिल हैं। कई टैक्सपेयर्स इस स्थिति से परेशान होकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर शिकायत कर रहे हैं। टैक्सपेयर्स अपने रिफंड स्टेटस को इनकम टैक्स विभाग की वेबसाइट या मोबाइल एप पर आसानी से चेक कर सकते हैं।

ITR रिफंड: क्या है और क्यों आता है देरी

Income Tax Refund वह राशि है जो टैक्सपेयर्स ने जरूरत से ज्यादा भरा हो, उसे टैक्स विभाग वापस करता है। अगर आपने सालाना आय के अनुसार अतिरिक्त टैक्स जमा किया है, तो यह राशि सीधे आपके बैंक खाते में क्रेडिट हो जाती है।

अधिक टैक्स भरने की वजहें कई हो सकती हैं, जैसे TDS का अधिक कटना, अनुमानित टैक्स जमा करना, टैक्स डिडक्शन का पूरा फायदा न लेना, या ITR भरते समय गणना में त्रुटियां होना। इन मामलों में टैक्सपेयर्स को रिफंड मिलना स्वाभाविक है।

रिफंड प्रोसेसिंग और समय सीमा

ITR रिफंड प्रोसेसिंग आमतौर पर तभी शुरू होती है जब रिटर्न ई-वेरीफाई हो जाता है। इनकम टैक्स विभाग के अनुसार, सामान्यतः 4-5 सप्ताह में रिफंड खाते में क्रेडिट हो जाता है।

अगर इस अवधि में रिफंड नहीं आता है, तो टैक्सपेयर्स को ई-फाइलिंग पोर्टल पर जाकर अपने रिफंड स्टेटस को चेक करना चाहिए। समय पर स्टेटस चेक करने से किसी भी तकनीकी या बैंकिंग समस्या की पहचान जल्दी की जा सकती है।

ITR रिफंड स्टेटस कैसे चेक करें

  1. Income Tax e-Filing पोर्टल पर जाएं।
  2. PAN/Aadhaar और पासवर्ड से लॉगिन करें।
  3. e-File > Income Tax Returns > View Filed Returns पर क्लिक करें।
  4. संबंधित Assessment Year चुनकर रिफंड स्टेटस देखें।

रिफंड स्टेटस के प्रकार:

  • Refund Issued: रिफंड सफलतापूर्वक बैंक खाते में क्रेडिट हो गया।
  • Refund Partially Adjusted: रिफंड का कुछ हिस्सा बकाया टैक्स के खिलाफ एडजस्ट किया गया।
  • Refund Fully Adjusted: पूरा रिफंड पिछली टैक्स देनदारियों में एडजस्ट।
  • Refund Failed: रिफंड क्रेडिट नहीं हुआ, आमतौर पर बैंक डिटेल्स या PAN/Aadhaar लिंकिंग की वजह से।

रिफंड में देरी के आम कारण

  • PAN/Aadhaar लिंक न होना या इनऑपरेटिव PAN।
  • बैंक अकाउंट प्री-वलिडेटेड न होना या बंद अकाउंट।
  • बैंक अकाउंट में नाम PAN कार्ड से मेल न करना।
  • गलत IFSC कोड या अधूरी ई-वेरिफिकेशन।
  • रिटर्न में घोषित आय और AIS (Annual Information Statement) में अंतर।
  • छोटी-मोटी गलतियां जैसे पुराना पता या बैंक विवरण में अंतर भी रिफंड में देरी का कारण बन सकते हैं।

ITR रिफंड समय पर न मिलने की स्थिति में टैक्सपेयर्स को ई-फाइलिंग पोर्टल पर स्टेटस चेक करना चाहिए और अपने बैंक व PAN/Aadhaar विवरण सही रखना चाहिए। सही जानकारी और समय पर वेरिफिकेशन से रिफंड प्रक्रिया तेज और सुरक्षित बन सकती है।

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