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पंजाब सदन में हंगामा! वित्तमंत्री और विपक्षी नेता की तीखी बहस, स्पीकर ने स्थगित की कार्यवाही

पंजाब सदन में हंगामा! वित्तमंत्री और विपक्षी नेता की तीखी बहस, स्पीकर ने स्थगित की कार्यवाही

पंजाब विधानसभा सत्र में वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा और विपक्षी नेता प्रताप सिंह बाजवा के बीच जमीन और भ्रष्टाचार को लेकर तीखी बहस हुई। सदन में हंगामा बढ़ा और स्पीकर ने कार्यवाही दस मिनट के लिए स्थगित कर दी।

Punjab Assembly Session 2025: पंजाब विधानसभा सत्र के दौरान वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा और विपक्ष के नेता प्रताप सिंह बाजवा के बीच तीखी बहस देखने को मिली। यह बहस पंजाब पुनर्वास को लेकर चल रही थी, लेकिन अचानक आरोप-प्रत्यारोप के रूप में बदल गई। चीमा ने बाजवा पर गुरदासपुर के गांव फूलां और अन्य गांवों में धुस्सी बांध के पास जमीन खरीदने का आरोप लगाया और कहा कि पिछली सरकार ने इस जमीन को बचाने के लिए 1.18 करोड़ रुपये खर्च किए।

चीमा ने लगाए गंभीर आरोप

वित्तमंत्री हरपाल सिंह चीमा ने आरोप लगाया कि प्रताप सिंह बाजवा सरकार के काम में लगातार नुक्स निकालते रहते हैं। उन्होंने कहा कि बाजवा ने धुस्सी बांध के साथ लगती जमीन खरीदी और इसके साथ आने वाली रेत का फायदा उठाया। चीमा ने बताया कि सरकार को यह जमीन बचाने में भारी राशि खर्च करनी पड़ी।

बाजवा ने आरोपों को किया खारिज

विपक्ष के नेता प्रताप सिंह बाजवा ने चीमा के आरोपों को पूरी तरह खारिज किया। उन्होंने कहा कि उन्होंने जमीन प्राइवेट व्यक्तियों से खरीदी थी और सभी स्टांप ड्यूटी का भुगतान किया गया। बाजवा ने यह भी आरोप लगाया कि आबकारी घोटाले में कांग्रेस के कई नेताओं को जेल में डाल दिया गया, लेकिन चीमा को छोड़ा गया क्योंकि उनकी पार्टी की भाजपा के साथ सांठगांठ है।

वित्तमंत्री पर जवाबी आरोप

बाजवा ने यह भी कहा कि हर डिस्टलरी से कांग्रेस हर महीने 35 लाख रुपये लेती है। उन्होंने चीमा पर भ्रष्टाचार और अनियमितताओं के गंभीर आरोप लगाए। इसके बाद सदन में माहौल और तनावपूर्ण हो गया।

सदन में हंगामा और स्पीकर की प्रतिक्रिया

स्पीकर कुलतार सिंह संधवां ने दोनों पक्षों को शांत रहने और अपनी सीटों पर बैठने का निर्देश दिया। लेकिन कांग्रेस के विधायक अवतार सिंह जूनियर हैनरी ने स्पीकर पर पक्षपात का आरोप लगाते हुए कहा कि विपक्ष के नेता को बोलने का मौका नहीं दिया जा रहा है।

दोनों पक्षों के विधायक आमने-सामने

इस दौरान प्रताप सिंह बाजवा और हरपाल सिंह चीमा के बीच बहस जारी रही। माइक बंद होने के कारण सदन में कुछ सुनाई नहीं दे रहा था। चीमा अपनी सीट छोड़कर आगे आए और इसके बाद दोनों ओर के विधायक भी उनके पीछे बढ़ गए। माहौल इतना तनावपूर्ण हो गया कि स्पीकर ने सदन की कार्यवाही को दस मिनट के लिए स्थगित कर दिया।

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