अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूस के पूर्व राष्ट्रपति दिमित्री मेदवेदेव के बीच एक बार फिर तीखी बयानबाज़ी देखने को मिली है। यूक्रेन युद्ध को लेकर ट्रंप द्वारा रूस को दी गई नई डेडलाइन और टैरिफ की धमकी के जवाब में मेदवेदेव ने कटाक्ष करते हुए इसे खतरनाक खेल बताया। इस जुबानी टकराव ने दोनों देशों के संबंधों में और तनाव भर दिया है।
कहां से शुरू हुआ यह नया टकराव?
यूक्रेन संकट के बीच अमेरिका और रूस के रिश्ते लगातार तनावपूर्ण बने हुए हैं, लेकिन अब यह टकराव नेताओं के तीखे शब्दों तक पहुंच गया है।
14 जुलाई को अमेरिकी राष्ट्रपति Donald Trump ने रूस को चेतावनी दी थी कि यदि सितंबर की शुरुआत तक यूक्रेन के साथ कोई peace deal नहीं होता, तो वह रूस पर severe tariffs लगाएंगे।
हालांकि, महज़ दो हफ्ते के भीतर 28 जुलाई को ट्रंप ने अपनी डेडलाइन और सख्त कर दी। उन्होंने रूस को अब केवल 10 से 12 दिन की मोहलत देते हुए कहा कि उन्हें 7 से 9 अगस्त तक शांति प्रक्रिया में ठोस प्रगति चाहिए।
मेदवेदेव ने दिया करारा जवाब
ट्रंप की इस घोषणा पर रूस के पूर्व राष्ट्रपति और वर्तमान में रूस की सुरक्षा परिषद के उपाध्यक्ष Dmitry Medvedev ने तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा:
“Trump is playing the ultimatum game with Russia: 50 days or 10...
उन्हें याद रखना चाहिए कि:
- Russia न तो Israel है और न ही Iran।
- हर नया अल्टीमेटम युद्ध की ओर एक कदम है – केवल रूस-यूक्रेन के बीच नहीं, बल्कि अमेरिका के भीतर भी।
Don’t go down the Sleepy Joe road!”
मेदवेदेव ने ट्रंप की तुलना Joe Biden से करते हुए साफ संकेत दिए कि यह रणनीति अमेरिका को नुकसान पहुंचा सकती है।
ट्रंप ने दी कड़ी चेतावनी
मेदवेदेव के इस बयान के जवाब में ट्रंप ने भी तीखी टिप्पणी करते हुए लिखा:
“I don’t care what India does with Russia.
वे अपनी dead economies को साथ लेकर डूबें, मुझे फर्क नहीं पड़ता।
Tell Medvedev – the failed former President of Russia – who thinks he’s still President, to watch his words.
He’s entering very dangerous territory!”
इस बयान में ट्रंप ने न केवल मेदवेदेव को निशाने पर लिया, बल्कि भारत-रूस के बढ़ते व्यापारिक रिश्तों पर भी अप्रत्यक्ष टिप्पणी की।
पुरानी बयानबाज़ी भी बनी चर्चा का विषय
यह कोई पहली बार नहीं है जब Dmitry Medvedev ने ट्रंप की नीतियों पर तंज कसा हो।
8 जुलाई को उन्होंने Telegram पर लिखा था:
“The top American is riding his favorite political rollercoaster again…
‘I am pleased with my conversation with Putin.’ / ‘I’m very disappointed.’
‘We are not supplying weapons to Ukraine.’ / ‘We will send more.’”
इसके अलावा, 27 मई को भी उन्होंने ट्रंप के उस बयान पर कटाक्ष किया था जिसमें ट्रंप ने कहा था कि Putin is playing with fire.
क्या फिर बढ़ेगा अमेरिका-रूस का तनाव?
ट्रंप और मेदवेदेव के बीच इस नई war of words ने संकेत दे दिए हैं कि अमेरिका और रूस के बीच राजनीतिक और कूटनीतिक स्तर पर टकराव फिर से गहरा सकता है। यूक्रेन युद्ध, NATO की भूमिका और भारत-रूस व्यापार जैसे मुद्दे इन तनावों को और बढ़ा सकते हैं।
ट्रंप का ये सख्त रुख आगामी अमेरिकी चुनावों से पहले उनकी "b leader" की छवि को मजबूत करता है, वहीं रूस की तरफ से मेदवेदेव जैसे नेता अमेरिका को लगातार चुनौती देते नज़र आ रहे हैं।