डोनल्ड ट्रम्प की नई टैरिफ नीति से ग्लोबल ट्रेड में 3% तक गिरावट आ सकती है। भारत, ब्राजील जैसे देशों के लिए यह बड़ा एक्सपोर्ट अवसर साबित हो सकता है।
Trump Tariffs: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प द्वारा पिछले हफ्ते घोषित बड़े पैमाने पर टैरिफ योजना ने वैश्विक व्यापार पर भारी असर डालने की चेतावनी दी है। संयुक्त राष्ट्र की प्रमुख अर्थशास्त्री पामेला कोक-हैमिल्टन के अनुसार, इन टैरिफ के कारण वैश्विक व्यापार में 3 प्रतिशत की कमी हो सकती है। इसके साथ ही निर्यात के पैटर्न में भी बदलाव देखने को मिल सकता है, जहां अमेरिका और चीन जैसे प्रमुख बाजारों के बजाय भारत, ब्राजील और कनाडा जैसे देशों का व्यापार बढ़ सकता है।
संयुक्त राष्ट्र की अर्थशास्त्री की चेतावनी
पामेला कोक-हैमिल्टन ने जिनेवा में कहा कि अमेरिका द्वारा लगाए गए टैरिफ से वैश्विक व्यापार में बदलाव आएगा। उदाहरण के लिए, मैक्सिको का निर्यात पहले अमेरिका और चीन पर निर्भर था, लेकिन अब यह कनाडा, ब्राजील और भारत जैसे देशों की ओर बढ़ रहा है, जो इन टैरिफों से लाभ उठा सकते हैं। इसी तरह, वियतनाम का निर्यात भी अमेरिका और चीन से हटकर नए बाजारों में जा रहा है, जैसे मध्य पूर्व, उत्तरी अफ्रीका और यूरोप।
विकासशील देशों के लिए खतरा और अवसर
कोक-हैमिल्टन ने बताया कि विकासशील देशों के लिए यह टैरिफ आर्थिक गतिविधि और रोजगार के नए अवसर प्रदान कर सकते हैं। उदाहरण के लिए, बांग्लादेश को 37 प्रतिशत का जवाबी टैरिफ झेलना पड़ सकता है, जिसका असर उसके निर्यात पर पड़ेगा। ऐसे में बांग्लादेश और अन्य विकासशील देशों को अपने निर्यात पैटर्न में विविधीकरण और मूल्यवर्धन पर ध्यान केंद्रित करने की आवश्यकता है।
टैरिफ से वैश्विक जीडीपी में गिरावट की संभावना
फ्रांस के CEPII शोध संस्थान के साथ किए गए अनुमानों के अनुसार, 2040 तक इन टैरिफ और जवाबी टैरिफ से वैश्विक जीडीपी में 0.7 प्रतिशत की कमी हो सकती है। अमेरिका, मैक्सिको, चीन और दक्षिणी अफ्रीका जैसे देशों को इसका नुकसान हो सकता है।
चीन का रणनीतिक जवाब
चीन ने अमेरिकी टैरिफों के जवाब में 125 प्रतिशत टैरिफ लगाया है, और इस व्यापार युद्ध में पीछे हटने के बजाय अपनी रणनीति को लंबी अवधि के लिए मजबूत कर रहा है। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग अपने आर्थिक प्रभाव को बढ़ाने के लिए दक्षिण-पूर्व एशिया में अपने कूटनीतिक रिश्तों को मजबूत करने की योजना पर काम कर रहे हैं।