Sambhal: संभल में जामा मस्जिद सर्वे विवाद, हिंसा के दौरान दो की मौत, प्रशासन का हाई अलर्ट जारी

Sambhal: संभल में जामा मस्जिद सर्वे विवाद, हिंसा के दौरान दो की मौत, प्रशासन का हाई अलर्ट जारी
Last Updated: 2 घंटा पहले

उत्तर प्रदेश के संभल में जामा मस्जिद सर्वे के दौरान हुई पत्थरबाजी में दो लोगों की जान चली गई। पुलिस ने इस मामले में कार्रवाई करते हुए अब तक 10 संदिग्धों को हिरासत में लिया है।

Sambhal Jama Masjid: उत्तर प्रदेश के संभल में जामा मस्जिद के सर्वेक्षण के दौरान हिंसा भड़क गई, जिससे दो लोगों की मौत हो गई। रविवार को अदालत के आदेश पर सर्वे का कार्य शुरू हुआ, लेकिन अराजक तत्वों ने पत्थरबाजी शुरू कर दी, जिससे स्थिति तनावपूर्ण हो गई। पुलिस को भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागने पड़े और हल्का बल प्रयोग किया गया।

पुलिस ने 10 लोगों को लिया हिरासत में

पुलिस ने हिंसा के बाद स्थिति को नियंत्रण में लाने के लिए तत्परता दिखाते हुए 10 संदिग्धों को हिरासत में लिया। इन लोगों से पूछताछ की जा रही है। पुलिस अधीक्षक कृष्ण कुमार विश्नोई ने बताया कि पथराव में कई पुलिसकर्मी घायल हुए, जिनमें से कुछ को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इस घटना को लेकर पुलिस ने ड्रोन और सीसीटीवी फुटेज के जरिए उपद्रवियों की पहचान करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

ऐतिहासिक विवाद का असर

संभल में यह हिंसा उस विवाद के बाद हुई है, जिसमें दावा किया गया था कि जामा मस्जिद जिस स्थान पर स्थित है, वह पहले हरिहर मंदिर था। यह मामला एक स्थानीय अदालत में दायर याचिका पर आधारित था, जिसमें कहा गया था कि मुग़ल सम्राट बाबर ने 1529 में इस मंदिर को ध्वस्त किया था। इस विवाद के कारण पिछले कुछ दिनों से संभल में तनाव का माहौल था।

राजनीतिक नेताओं ने भी दिया बयान

इस हिंसा पर राजनीतिक नेताओं की भी प्रतिक्रियाएं आई हैं। बसपा प्रमुख मायावती ने प्रशासन की विफलता पर सवाल उठाते हुए कहा कि इस हिंसा के लिए जिम्मेदार अधिकारी हैं। वहीं, सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने इसे जानबूझकर करवाया गया कृत्य बताया।

अधिकारियों का बयान

जिला मजिस्ट्रेट राजेंद्र पेसिया ने कहा कि हिंसा के दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने बताया कि उपद्रवियों को खदेड़ दिया गया और अब उनसे सख्ती से निपटा जाएगा। राज्य के पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार ने भी कहा कि संभल में स्थिति नियंत्रण में है और पुलिस जल्द ही असामाजिक तत्वों के खिलाफ कार्रवाई करेगी।

29 नवंबर को रिपोर्ट प्रस्तुत होगी

सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने बताया कि जामा मस्जिद के सर्वेक्षण के दौरान वीडियोग्राफी और फोटोग्राफी की गई है। इस रिपोर्ट को 29 नवंबर तक अदालत में प्रस्तुत किया जाएगा।

इस इस दौरान मामले की अगली सुनवाई 29 जनवरी को होने वाली है, जिसमें जामा मस्जिद के स्थान को लेकर विवाद पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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