भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा के घर आज एनडीए नेताओं की बैठक होगी। इसमें अंबेडकर विवाद, एक राष्ट्र-एक चुनाव, वक्फ संशोधन विधेयक, और गठबंधन के भीतर समन्वय जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है।
NDA Meeting: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के आवास पर आज, 25 दिसंबर को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के नेताओं की एक महत्वपूर्ण बैठक होने जा रही है। इस बैठक में एनडीए शासित राज्यों के मुख्यमंत्री, केंद्रीय मंत्री, और गठबंधन में शामिल दलों के वरिष्ठ नेता भाग लेंगे। बैठक का उद्देश्य विभिन्न राजनीतिक और सामाजिक मुद्दों पर चर्चा करना है। यह बैठक उस समय हो रही है जब विपक्ष अंबेडकर विवाद, एक राष्ट्र एक चुनाव (ONOE), और वक्फ (संशोधन) विधेयक जैसे कई मुद्दों पर सरकार को घेरने की कोशिश कर रहा है। ऐसे में यह बैठक एनडीए के लिए अपनी रणनीति को मजबूत करने का एक अहम अवसर है।
अंबेडकर विवाद पर हो सकती है चर्चा
बैठक में गृह मंत्री अमित शाह के संसद में दिए गए बयान से उठे विवाद पर चर्चा होना तय माना जा रहा है। शाह ने राज्यसभा में संविधान के 75 साल पूरे होने पर कहा था, "आजकल अंबेडकर का नाम लेना एक फैशन बन गया है। इतना नाम भगवान का लेते तो सात जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता।"
इस बयान को विपक्ष ने डॉ. भीमराव अंबेडकर का अपमान करार दिया है। कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों ने इसके खिलाफ कड़ा विरोध जताया और गृह मंत्री के इस्तीफे की मांग की है। बीते दिन कांग्रेस ने ‘बाबा साहेब अंबेडकर सम्मान मार्च’ निकाला, जिसमें कई वरिष्ठ नेताओं ने भाग लिया। एनडीए की बैठक में इस विवाद पर विस्तार से चर्चा होगी, और इस पर विपक्ष के हमले का जवाब देने के लिए रणनीति बनाई जाएगी।
अमित शाह के बयान पर विपक्ष हमलावर
गृह मंत्री अमित शाह के बयान को लेकर विपक्ष ने सरकार को घेर लिया है। कांग्रेस ने शाह के बयान को अंबेडकर का अपमान बताते हुए सड़कों पर विरोध प्रदर्शन किया। कांग्रेस के साथ अन्य विपक्षी दलों ने भी इस मुद्दे को तूल देते हुए शाह के माफी मांगने और इस्तीफा देने की मांग की। इस विवाद को शांत करने और विपक्ष को जवाब देने के लिए एनडीए के नेताओं के बीच इस मुद्दे पर चर्चा जरूरी हो गई है।
एनडीए के घटक दलों में तालमेल पर फोकस
एनडीए की इस बैठक में गठबंधन में शामिल दलों के बीच बेहतर तालमेल बनाने और मजबूत समन्वय स्थापित करने पर भी चर्चा होगी। आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 को ध्यान में रखते हुए सीट बंटवारे की रणनीति बनाई जाएगी। जनता दल (यू) और लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) जैसे प्रमुख सहयोगी दलों को संतुष्ट करने के लिए कुछ सीटें देने पर सहमति बनने की संभावना है।
इसके साथ ही, गठबंधन के भीतर किसी भी तरह के मतभेद को सुलझाने और संयुक्त रूप से आगामी चुनावों में सफलता हासिल करने के प्रयास किए जाएंगे।
एक राष्ट्र, एक चुनाव पर मंथन
बैठक में एक राष्ट्र, एक चुनाव (ONOE) के मुद्दे पर भी विचार-विमर्श होगा। यह एक ऐसा प्रस्ताव है जिसे लेकर केंद्र सरकार लंबे समय से जोर दे रही है, लेकिन विपक्ष इसका कड़ा विरोध कर रहा है। इसके अलावा, वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 जैसे प्रमुख कानूनों पर भी सहयोगी दलों के विचार लिए जाएंगे। एनडीए की इस बैठक में इन मुद्दों पर चर्चा कर एक संयुक्त रणनीति बनाई जाएगी ताकि इन कानूनों को प्रभावी रूप से लागू किया जा सके।
अटल बिहारी वाजपेयी की 100वीं जयंती
एनडीए की यह बैठक उस दिन हो रही है, जब पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की 100वीं जयंती मनाई जा रही है। वाजपेयी एनडीए के संस्थापक थे और उनकी नीतियां आज भी गठबंधन के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं। बैठक में वाजपेयी के योगदान को याद किया जाएगा और उनकी विचारधारा को आगे बढ़ाने पर जोर दिया जाएगा।