पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख इमरान खान ने मंगलवार को कहा कि सार्थक परिणाम के लिए सरकार और पार्टी के बीच वार्ता से पहले उन्हें अपनी पार्टी की वार्ता टीम से मिलकर मुद्दों को समझने की आवश्यकता है। वे फिलहाल हिरासत में हैं।
Pakistan: पाकिस्तान सरकार ने विपक्षी पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख और पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान से राजनीतिक विवादों को सुलझाने के लिए बातचीत करने का फैसला किया है। डॉन अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक, इमरान खान, जो फिलहाल जेल में बंद हैं, ने मंगलवार को कहा कि सरकार और उनकी पार्टी के बीच सार्थक वार्ता से पहले उन्हें अपनी पार्टी की वार्ता टीम से मिलकर मुद्दों को पूरी तरह समझने की आवश्यकता है।
इमरान खान का अपनी पार्टी से मिलकर चर्चा
इमरान खान ने कहा कि वार्ता प्रक्रिया में प्रभावी रूप से भाग लेने के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे मुख्य मुद्दों को समझें। इमरान को कई मामलों में दोषी ठहराए जाने के बाद फिलहाल हिरासत में रखा गया है। उनका यह बयान ऐसे समय में आया है जब पाकिस्तान में राजनीतिक माहौल तनावपूर्ण बना हुआ है, खासकर पिछले साल उनकी गिरफ्तारी के बाद।
सरकार के बीच बढ़ते तनाव के कारण
इमरान खान की गिरफ्तारी के बाद से पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के और सरकार के बीच संबंध खराब हो गए हैं, जिसके कारण कई विरोध प्रदर्शन भी हुए। पिछले महीने, पीटीआई ने "फाइनल कॉल" पावर शो आयोजित किया था, जिसके बाद राजनीतिक माहौल और भी तनावपूर्ण हो गया। इसके बाद से पार्टी पर प्रतिबंध लगाने की मांग फिर से उठने लगी है।
पार्टी का आरोप और सरकार का खंडन
पीटीआई ने सरकार पर आरोप लगाया है कि उसने एक दर्जन से ज्यादा पीटीआई समर्थकों की कथित हत्या के बाद "दुर्भावनापूर्ण अभियान" चलाया। हालांकि, सरकार ने इन आरोपों का आधिकारिक तौर पर खंडन किया है। इसके बावजूद, पीटीआई ने पांच सदस्यीय समिति गठित की है, जो सरकार से बातचीत के लिए तैयार है। इस समिति के गठन के बाद पार्टी ने अपना रुख नरम कर लिया है।
वार्ता के लिए नई समिति का गठन
प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने नेशनल असेंबली के स्पीकर अयाज सादिक की सिफारिश पर सत्तारूढ़ गठबंधन के सदस्यीय समिति बनाई। दोनों पक्षों के बीच पहली बैठक कल हुई, जिसमें राजनीतिक तनाव को कम करने के लिए वार्ता की शुरुआत हुई। इमरान खान ने अपनी पार्टी की वार्ता समिति के प्रयासों को स्वीकार करते हुए इसे एक "अच्छी बात" बताया, हालांकि उन्होंने मुद्दों को गहनता से समझने के लिए समिति के साथ बैठक के महत्व पर जोर दिया।
इमरान खान की प्रमुख मांगें
इमरान खान ने सरकार से दो मुख्य मांगें की हैं: पहली, विचाराधीन राजनीतिक कैदियों की रिहाई, और दूसरी, 9 मई और 26 नवंबर, 2023 की घटनाओं की जांच के लिए एक न्यायिक आयोग का गठन, जिसमें वरिष्ठ न्यायाधीश शामिल हों। इमरान ने कहा कि यदि सरकार इन मांगों को मानती है, तो पीटीआई अपना सविनय अवज्ञा आंदोलन (civil disobedience movement) स्थगित कर सकती है। हालांकि, उन्होंने यह भी चिंता व्यक्त की कि सरकार उनकी इस मांग को नजरअंदाज कर सकती है।
सैन्य अदालतों द्वारा सजा पर इमरान का ऐतराज
इमरान खान ने 9 मई के दंगों के दौरान सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमलों में शामिल होने के लिए दोषी ठहराए गए 25 व्यक्तियों को सैन्य अदालतों द्वारा दी गई सजा को राजनीति से प्रेरित करार दिया और उसे खारिज कर दिया।
इमरान खान के साथ बैठक के बाद, पीटीआई के अध्यक्ष गौहर खान ने मीडिया से बात करते हुए खुलासा किया कि इमरान ने सरकार से वार्ता के लिए एक निश्चित समय सीमा की मांग की थी और पार्टी की मांगों पर एक तय अवधि में प्रगति की उम्मीद जताई थी।