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Mount Aconcagua Fatah: दक्षिण अमेरिका की सबसे ऊंची चोटी मांउट एकांकागुआ को 16 साल की काम्या ने किया फतह, अब माउंट एवरेस्ट..

Mount Aconcagua Fatah: दक्षिण अमेरिका की सबसे ऊंची चोटी मांउट एकांकागुआ को 16 साल की काम्या ने किया फतह, अब माउंट एवरेस्ट..
अंतिम अपडेट: 02-04-2024

मुंबई की रहने वाली 16 साल की काम्या ने  साल 2020 में दक्षिण अमेरिका की सबसे ऊंची चोटी 'माउंट एकांकागुआ' को फतह करके सभी के लिए एक मिशाल पेश की थी. महज 12 वर्ष की उम्र में ऐसा अद्भुत कारनामा करके सब को हैरान कर दिया था। माउंट एकॉन्कागुआ चोटी की कुल ऊंचाई 6965 मीटर हैं।

जमशेदपुर: मुंबई शहर की रहने वाली 16 साल की पर्वतारोही काम्या कुमारी कार्तिकेयन का लक्ष्य है कि दुनिया की सबसे उंची चोटी माउंट एवरेस्ट को फतह करेगी. इस मुकाम को हासिल करवाने के लिए टाटा स्टील एडवेंचर फाउंडेशन (TSAF) ने काम्या का पूरा सहयोग कर रहा है. काम्या 3 अप्रैल को काठमांडू जाएगी और वहां दो दिन ठहरने के बाद 6 अप्रैल से अपने लक्ष्य को पाने की शुरुआत करेगी।

अधिकारी ने Subkuz.com को बताया कि यह अभियान सात सप्ताह चलेगा जिसमे कुल 4 कैंप आएंगे. प्रथम कैंप 6000 मीटर की ऊंचाई पर, द्वितीय कैंप  6400 मीटर की ऊंचाई पर, तृतीय कैंप 7300 मीटर की ऊंचाई पर और चतुर्थ व आखरी कैंप 7,950 मीटर की उंचाई पर स्थित होगा।

काम्या ने Subkuz.com को बताया कि साल १ फरवरी 2020 को महज 12 साल की उम्र में दक्षिण अमेरिका की सबसे ऊंची चोटी माउंट एकांकागुआ पर चढ़ कर भारत का तिरंगा लहराकर सभी को आश्चर्य चकित कर दिया था. ऐसा महान काम करने वाली वो दुनिया की सबसे कम उम्र की युवा लड़की बन गई. यह चोटी एशिया के बाहर की सबसे ऊंची चोटी में से एक है, जिसकी ऊंचाई  6965 मीटर हैं. काम्या तीन साल की उम्र से पर्वतारोहण कर रही हैं जो लोगो के लिए अद्भुत हैं।

काम्या के पिता भारतीय नौसेना में है कमांडर

जानकारी के अनुसार काम्या को पर्वतारोहन की प्रेरणा अपने पिता एस कुमार कार्तिकेयन से मिली है. मुंबई शहर में अक्सर जाम की स्थिति उत्पन्न होती रहती थी. इसलिए उसके पिता ज्यादातर पहाड़ों में ही चढ़ना काफी पसंद करते थे. पिता श्री जब पर्वतारोहण पर जाते थे तो कई महिनों के बाद वापस घर लौटते थे. इन्ही सब बातों को समझकर और पिता को मार्गदर्शक मानकर उसने पर्वतारोहण की शुरुआत की. काम्या के लिए काम उम्र में माउंट एवरेस्ट के शिखर को छूने का प्रथम प्रयास है. हम सभी भगवान से आराधना करते है की काम्या सफलता पूर्वक हिमालय की चोटी में भारत का तिरंगा लहराएं और देश का नाम रोशन करके लौटे।

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