आदित्य बिड़ला सन लाइफ म्यूचुअल फंड ने निवेशकों को ध्यान में रखते हुए दो नए इंडेक्स फंड लॉन्च किए हैं. ये फंड्स फैक्टर-बेस्ड स्ट्रैटेजी पर आधारित हैं, जो बाजार में तेजी से बढ़ रहे ट्रेंड्स और मजबूत कंपनियों को ध्यान में रखकर बनाए गए हैं.
इन दोनों स्कीमों का न्यू फंड ऑफर यानी एनएफओ 21 जुलाई 2025 से शुरू हो चुका है और 4 अगस्त 2025 को बंद होगा. इस अवधि में निवेशक बेहद कम रकम से भी इन योजनाओं में निवेश कर सकते हैं.
दो नए इंडेक्स फंड – एक तेज़ी, एक गुणवत्ता पर आधारित
पहला फंड है आदित्य बिड़ला सन लाइफ बीएसई 500 मोमेंटम 50 इंडेक्स फंड. इस फंड का उद्देश्य ऐसे शेयरों में निवेश करना है जो हाल के महीनों में सबसे अधिक तेजी में रहे हैं. यानी वो कंपनियां जिनके स्टॉक्स ट्रेंडिंग में हैं और जिन्होंने कम समय में तेज़ रिटर्न दिया है.
दूसरा फंड है आदित्य बिड़ला सन लाइफ बीएसई 500 क्वालिटी 50 इंडेक्स फंड. यह उन कंपनियों पर फोकस करता है जो मजबूत फंडामेंटल्स के साथ बाजार में टिके हुए हैं. जैसे कि जिनकी बैलेंस शीट अच्छी है, रिटर्न ऑन इक्विटी ऊंचा है और कर्ज़ का स्तर बेहद कम है. ऐसे स्टॉक्स बाजार की गिरावट में भी स्थिरता बनाए रखते हैं.
न्यूनतम निवेश की जरूरत – केवल ₹500
इन दोनों स्कीमों में निवेश शुरू करने के लिए निवेशकों को केवल ₹500 की जरूरत है. इसके बाद ₹100 के गुणक में और निवेश किया जा सकता है. जो लोग नियमित रूप से निवेश करना चाहते हैं, उनके लिए SIP (सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान) का विकल्प भी है. इसमें हर हफ्ते या हर महीने ₹500 से SIP शुरू की जा सकती है.
फंड का प्रबंधन और एक्जिट लोड की जानकारी
इन दोनों फंडों का संचालन अनुभवी फंड मैनेजर प्रिया श्रीधर करेंगी. निवेशक अगर फंड में पैसे लगाने के 15 दिन के भीतर पैसा निकालते हैं, तो उन्हें 0.10 प्रतिशत का एक्ज़िट लोड देना होगा. लेकिन अगर वे 16वें दिन के बाद पैसा निकालते हैं, तो कोई चार्ज नहीं लिया जाएगा.
मोमेंटम फंड किसके लिए है
जो निवेशक बाजार में तेजी वाले स्टॉक्स से तेज़ मुनाफा कमाना चाहते हैं और कुछ जोखिम उठाने के लिए तैयार हैं, उनके लिए मोमेंटम 50 इंडेक्स फंड उपयुक्त माना जा रहा है. यह फंड तेजी से ऊपर जा रहे शेयरों में निवेश करता है और बाजार के ट्रेंड को पकड़ने की कोशिश करता है.
क्वालिटी फंड किनके लिए है
जो निवेशक लंबी अवधि के लिए स्थिरता और सुरक्षा चाहते हैं, उनके लिए क्वालिटी 50 इंडेक्स फंड एक बेहतर विकल्प माना जा रहा है. यह फंड ऐसी कंपनियों में निवेश करता है जिनका बैलेंस शीट मजबूत है, जिनका घाटा कम होता है और जो बाजार की गिरावट में भी बेहतर प्रदर्शन करने में सक्षम होती हैं.
AMC ने क्या कहा
आदित्य बिड़ला सन लाइफ एसेट मैनेजमेंट कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर और सीईओ ए. बालसुब्रमण्यम ने कहा कि ये दोनों फंड्स निवेशकों को फैक्टर-बेस्ड स्ट्रैटेजी में निवेश का मौका देते हैं. उन्होंने बताया कि मोमेंटम फंड तेज़ी वाले शेयरों का फायदा उठाने में मदद करता है, जबकि क्वालिटी फंड ऐसे शेयरों में निवेश करता है जो स्थिर और मजबूत होते हैं.
उनका कहना है कि फैक्टर-बेस्ड निवेश मॉडल समय के साथ अच्छे नतीजे देता है और इसे ग्लोबल लेवल पर भी अपनाया गया है.
फंड्स का उद्देश्य और निवेश की रणनीति
इन दोनों फंड्स की रणनीति है कि BSE 500 इंडेक्स के तहत मौजूद 500 कंपनियों में से अलग-अलग फैक्टर्स के आधार पर टॉप 50 कंपनियों को चुना जाए.
मोमेंटम फंड पिछली कीमतों और रिटर्न ट्रेंड को देखकर टॉप 50 तेजी वाले स्टॉक्स में निवेश करता है.
क्वालिटी फंड कंपनियों के मुनाफे, कर्ज़ के स्तर और रिटर्न ऑन इक्विटी जैसे पहलुओं को देखकर निवेश करता है.
जोखिम का स्तर क्या है
इन दोनों फंड्स को 'बहुत उच्च जोखिम' यानी Very High Risk की श्रेणी में रखा गया है. इसका मतलब यह है कि बाजार की अस्थिरता का असर इन फंड्स पर तेज़ी से पड़ सकता है.
फैक्टर बेस्ड फंड क्यों हो रहे हैं लोकप्रिय
हाल के वर्षों में फैक्टर बेस्ड इंडेक्स फंड्स की लोकप्रियता बढ़ी है. ये फंड बाजार के किसी एक सेक्टर या इंडेक्स की बजाय अलग-अलग मापदंडों जैसे मोमेंटम, वैल्यू, लो वोलैटिलिटी या क्वालिटी पर ध्यान केंद्रित करते हैं. इससे निवेशकों को बेहतर पोर्टफोलियो डाइवर्सिफिकेशन और अलग-अलग बाजार स्थितियों में अलग-अलग प्रदर्शन का फायदा मिल सकता है.
फंड ऑफर की अवधि सीमित
इन दोनों फंड्स का न्यू फंड ऑफर (NFO) 21 जुलाई 2025 से शुरू हुआ है और यह 4 अगस्त 2025 को बंद होगा. यानी निवेशकों के पास सीमित समय है, जिसमें वे इन योजनाओं में शुरुआती कीमत पर यूनिट्स खरीद सकते हैं.