जनवरी 2020 में, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अगुआई में ब्रू-रियांग समझौता हुआ, जो भारत के पूर्वोत्तर क्षेत्र में लंबे समय से चले आ रहे एक महत्वपूर्ण मानवाधिकार और शरणार्थी संकट का समाधान लाने के लिए किया गया था।
त्रिपुरा: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह आज, 22 दिसंबर 2024, को त्रिपुरा के ढलाई इलाके में ब्रू-रियांग समुदाय के पुनर्वास बसावटों का दौरा करेंगे। जनवरी 2020 में हुए ऐतिहासिक ब्रू-रियांग समझौते के तहत मिजोरम से विस्थापित करीब 37,000 लोगों को त्रिपुरा में स्थायी रूप से बसाने की योजना तैयार की गई थी। इस समझौते में भारत सरकार, त्रिपुरा सरकार, मिजोरम सरकार और ब्रू-रियांग जनजाति के प्रतिनिधि शामिल थे।
चार साल बाद, गृहमंत्री इस दौरे के दौरान पुनर्वास योजनाओं की प्रगति का जायजा लेंगे और समुदाय के विकास के लिए आवश्यक परियोजनाओं पर ध्यान देंगे। इस अवसर पर गृहमंत्री कई नई पुनर्वास योजनाओं का शिलान्यास भी करेंगे। इन परियोजनाओं का उद्देश्य ब्रू-रियांग समुदाय को बेहतर जीवन यापन, शिक्षा, स्वास्थ्य और बुनियादी सुविधाओं की उपलब्धता सुनिश्चित करना हैं।
अमित शाह का त्रिपुरा दौरा क्यों है खास?
जनजातीय हिंसा के कारण वर्षों पहले विस्थापित हुए ब्रू-रियांग समुदाय के लिए त्रिपुरा में नई शुरुआत का मौका जनवरी 2020 में भारत सरकार के ऐतिहासिक ब्रू-रियांग समझौते के तहत मिला। इस समझौते की अगुआई केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने की थी, जिसमें भारत सरकार, त्रिपुरा और मिजोरम सरकारों के साथ-साथ ब्रू-रियांग जनजाति के प्रतिनिधि शामिल थे। इसके तहत मिजोरम से विस्थापित 37,000 ब्रू-रियांग समुदाय के लोगों को त्रिपुरा के ढलाई इलाके में बसाने और उनके पुनर्वास के लिए ठोस योजना तैयार की गई थी।
आज, 22 दिसंबर 2024 को, गृह मंत्री अमित शाह त्रिपुरा के ढलाई इलाके का दौरा करेंगे और इन पुनर्वास बसावटों में समुदाय की जिंदगी का जायजा लेंगे। चार साल की विकास यात्रा में ब्रू-रियांग समुदाय को बेहतर जीवन स्तर, शिक्षा, स्वास्थ्य और बुनियादी सुविधाएं देने के लिए जो प्रयास हुए हैं, उनके परिणामों का आकलन भी इस दौरे का हिस्सा होगा। साथ ही, अमित शाह कई नई परियोजनाओं का शिलान्यास करेंगे, जो समुदाय के भविष्य को बेहतर बनाने के लिए महत्वपूर्ण होंगी।
सरकार की हैं ये योजनाएं
ब्रू-रियांग समुदाय के पुनर्वास और उनके जीवनस्तर को बेहतर बनाने के लिए केंद्र सरकार ने कई अहम योजनाओं की शुरुआत की है। इन योजनाओं के तहत, विस्थापित ब्रू-रियांग परिवारों को त्रिपुरा में स्थायी रूप से बसाने के लिए व्यापक उपाय किए गए हैं। प्रमुख योजनाएं इस प्रकार हैं:
* आवासीय प्लॉट: प्रत्येक परिवार को 40 फीट लंबा और 30 फीट चौड़ा आवासीय प्लॉट दिया जाएगा, जहां वे अपना घर बना सकेंगे।
* फिक्स डिपॉजिट: प्रत्येक परिवार को 4 लाख रुपये का फिक्स डिपॉजिट दिया जाएगा, जो उनकी आर्थिक सुरक्षा को सुनिश्चित करेगा।
* मासिक सहायता: पुनर्वास के पहले दो वर्षों के दौरान, हर परिवार को हर महीने 5,000 रुपये की नकद सहायता दी जाएगी, जिससे उनकी दैनिक जरूरतें पूरी हो सकें।
* मुफ्त राशन: परिवारों को निर्धारित मात्रा में मुफ्त राशन उपलब्ध कराया जाएगा, ताकि उनके खाद्य सुरक्षा की चिंता कम हो सके।
* घर बनाने के लिए सहायता: डेढ़ लाख रुपये का वित्तीय सहयोग दिया जाएगा, ताकि वे अपने घर का निर्माण कर सकें और स्थायी रूप से बस सकें।