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5G यूज़र्स सावधान: नेटवर्क इस्तेमाल से फोन की परफॉर्मेंस पर असर

5G यूज़र्स सावधान: नेटवर्क इस्तेमाल से फोन की परफॉर्मेंस पर असर

5G नेटवर्क की तेज़ स्पीड फोन का इंटरनेट अनुभव बेहतर बनाती है, लेकिन इसके साथ बैटरी तेजी से खत्म होने का खतरा भी बढ़ जाता है। भारत में 5G की सीमित उपलब्धता, नेटवर्क स्विचिंग और हाई-स्पीड डेटा ट्रांसफर के कारण कई यूजर्स को बार-बार चार्जिंग करनी पड़ रही है।

5G Network: भारत में 5G यूजर्स को तेजी से इंटरनेट का लाभ मिल रहा है, लेकिन इसके साथ फोन की बैटरी तेजी से खत्म होने की समस्या भी बढ़ रही है। 2020-23 में लॉन्च हुए कई स्मार्टफोन 5G इस्तेमाल के दौरान गरम हो जाते हैं और बार-बार चार्जर की जरूरत पड़ती है। भारत में 5G नेटवर्क हर जगह स्थिर नहीं है, जिससे फोन लगातार 4G और 5G के बीच स्विच करता है। इसके अलावा हाई-स्पीड वीडियो स्ट्रीमिंग और ऑप्टिमाइज्ड न होने वाले सॉफ्टवेयर बैटरी खपत को बढ़ाते हैं, जिससे यूजर्स को चार्जिंग की समस्या का सामना करना पड़ रहा है।

ज्यादा पावर खपत

5G नेटवर्क की उच्च स्पीड आपके इंटरनेट अनुभव को बेहतर बनाती है, लेकिन इसके साथ फोन की बैटरी पर दबाव भी बढ़ता है। शुरुआती 5G चिपसेट पूरी तरह ऑप्टिमाइज्ड नहीं थे, जिससे 2020-23 में लॉन्च हुए कई फोन इस्तेमाल के दौरान गरम हो जाते हैं। लगातार हाई-स्पीड डेटा ट्रांसफर और प्रोसेसिंग बैटरी की खपत को तेज कर देती है।

इसका मतलब है कि जब आप 5G पर गेम खेलते हैं या वीडियो स्ट्रीम करते हैं, तो फोन को ज्यादा एनर्जी खर्च करनी पड़ती है। यही वजह है कि 5G इस्तेमाल करते समय बार-बार चार्जर की तलाश करनी पड़ती है।

नेटवर्क स्थिरता और स्विचिंग का असर

भारत में 5G अभी हर जगह उपलब्ध नहीं है। ऐसे में फोन बार-बार 4G और 5G नेटवर्क के बीच स्विच करता है, जिससे बैटरी पर अतिरिक्त लोड पड़ता है। कमजोर सिग्नल में फोन लगातार नेटवर्क खोजने की कोशिश करता है, जिससे बैटरी और तेजी से खत्म होती है।

नेटवर्क पूरी तरह स्थिर होने पर यह समस्या कम हो सकती है। इसलिए यूजर्स को चार्जिंग के झंझट से बचने के लिए नेटवर्क कनेक्टिविटी और सिग्नल की स्थिति का ध्यान रखना जरूरी है।

सॉफ्टवेयर और डिस्प्ले का रोल

फोन का सॉफ्टवेयर और डिस्प्ले भी बैटरी ड्रेन में अहम भूमिका निभाते हैं। ऑप्टिमाइज्ड सॉफ्टवेयर पावर कंजम्प्शन को कम कर सकता है। Apple और अन्य कंपनियों ने ऐसे 5G मॉडम तैयार किए हैं जो बैटरी बैकअप बढ़ाते हैं।

हाई-रिजॉल्यूशन वीडियो स्ट्रीमिंग (4K/Ultra-HD) भी बैटरी तेजी से खत्म करने में योगदान देती है। वहीं, 720p या 1080p वीडियो देखने पर बैटरी पर कम दबाव पड़ता है।

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