शिवसेना यूबीटी के एमएलसी मिलिंद नार्वेकर के पोस्ट पर असहमति जताते हुए अबू आजमी ने कहा कि शिवसेना यूबीटी की सांप्रदायिक विचारधारा का हिस्सा बनना उनके लिए स्वीकार्य नहीं है।
Maharashtra News: महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव के बाद महाविकास अघाडी में दरारें नजर आने लगी हैं। शिवसेना यूबीटी के एमएलसी मिलिंद नार्वेकर द्वारा बाबरी विध्वंस से जुड़ी पोस्ट किए जाने के बाद सियासी बवाल मच गया है। उनकी पोस्ट पर समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता अबू आजमी ने कड़ा विरोध जताया और कहा कि शिवसेना यूबीटी की सांप्रदायिक विचारधारा का हिस्सा बनना अब उनके लिए स्वीकार्य नहीं है।
अबू आजमी का ट्वीट
अबू आजमी ने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, "समाजवादी पार्टी को महाराष्ट्र में अकेले चलना गवारा है, लेकिन महाविकास अघाडी में रहते हुए शिवसेना यूबीटी की सांप्रदायिक विचारधारा का हिस्सा बनना हरगिज गवारा नहीं।" इससे स्पष्ट हुआ कि वे शिवसेना यूबीटी की विचारधारा से असहमत हैं और पार्टी के साथ अलग होने की बात कह चुके हैं।
शिवसेना यूबीटी के एमएलसी ने किया था पोस्ट
शिवसेना यूबीटी के नेता मिलिंद नार्वेकर ने अपने ट्विटर हैंडल पर बाबरी विध्वंस की एक तस्वीर पोस्ट की थी। इस पोस्ट में शिवसेना के संस्थापक बाल ठाकरे का एक कथन भी था, जिसमें उन्होंने कहा था, "मुझे उन लोगों पर गर्व है जिन्होंने ऐसा किया।" नार्वेकर की इस पोस्ट में उद्धव ठाकरे और आदित्य ठाकरे की तस्वीरें भी शामिल थीं, जो विवाद का कारण बनीं।
नार्वेकर की टिप्पणी पर जताया विरोध
इससे पहले, समाजवादी पार्टी के विधायक रईस शेख ने भी मिलिंद नार्वेकर की इस टिप्पणी पर नाराजगी जताई थी। रईस शेख ने कहा, "मिलिंद नार्वेकर ने 6 दिसंबर को बाबरी मस्जिद की शहादत को लेकर गर्व जाहिर किया। शिवसेना-यूबीटी को सभी धर्मों के लोगों का समर्थन मिला था, लेकिन इस तरह का कट्टर हिंदुत्ववादी रुख अपनाना गलत है। हमें इस पर गंभीरता से सोचना होगा।"